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This Article is From May 31, 2017

पीएम नरेंद्र मोदी के सपनों को पूरा करने के लिए गरीब लोहार ने तोड़ा पक्का मकान, फैसले को सभी कर रहे सलाम

धमतरी के नगरी ब्लॉक की ग्राम पंचायत सांकरा के आश्रित नवागांव में रामसुंदर लोहार रहते हैं. उनके परिवार का गुजारा गांव मजदूरी से चलता है. उसने जैसे-तैसे कई साल में पैसे जुटाकर पक्का मकान बनवाया था. उन्होंने घर में शौचालय बनवाने की तैयारी शुरू कर दी.घर में इतने पैसे नहीं थे कि वह ईंट खरीद सके. आखिरकार उसने अपना पक्के मकान की दीवारें तोड़ दी.

पीएम नरेंद्र मोदी के सपनों को पूरा करने के लिए गरीब लोहार ने तोड़ा पक्का मकान, फैसले को सभी कर रहे सलाम
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तस्वीर.
नई दिल्ली: साल 2014 में प्रधानमंत्री बनने के बाद अपने पहले ही भाषण में नरेंद्र मोदी ने देशवासियों से शौचालय बनवाने और साफ-सफाई पर ध्यान देने की अपील की थी. इसके बाद से पीएम मोदी न जाने कितनी बार अलग-अलग मंचों से लोगों को सफाई के लिए प्रेरित करते रहे हैं. पीएम की इस अपील पर कई गरीब लोगों ने ऐसे काम किए जो किसी भी समाज के लिए मिसाल है. छत्तीसगढ़ के धमतरी जिले के एक गांव में रहने वाले लोहार पर स्वच्छता अपील का इतना असर हुआ कि उसने अपना पक्का घर तोड़कर शौचालय बनवाया है. फिलहाल वह झोपड़ी में रहने को मजबूर है, लेकिन उसे इस बात की खुशी है कि उसके घर में अब शौचालय है. लोहार के इस फैसले  की स्थानीय मीडिया से लेकर सोशल मीडिया पर चर्चा हो रही है.

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक धमतरी के नगरी ब्लॉक की ग्राम पंचायत सांकरा के आश्रित नवागांव में रामसुंदर लोहार रहते हैं. उनके परिवार का गुजारा गांव मजदूरी से चलता है. उसने जैसे-तैसे कई साल में पैसे जुटाकर पक्का मकान बनवाया था. कुछ महीने उन्होंने भारत सरकार के स्वच्छता अभियान के बारे में सुना. एक दिन उसने प्रधानमंत्री नरेंद्र के अपील सुनी, जिसमें पीएम घर में शौचालय बनवाने की बात कह रहे थे. रामसुंदर लोहार के मन में यह बात बैठ गई. उन्होंने घर में शौचालय बनवाने की तैयारी शुरू कर दी..

घर में शौचालय बन ही रहा था, तभी उसके सामने पैसों की किल्लत हो गई. घर में इतने पैसे नहीं थे कि वह ईंट खरीद सके. आखिरकार उसने अपना पक्के मकान की दीवारें तोड़ दी. उन्हीं ईंटों से रामसुंदर लोहरा ने शौचालय बनवाया है. जब वह घर की दीवारें तोड़ रहा था तो गांव के लोग उसका मजाक बना रहे थे. उसके फैसले को गलत बता रहे थे. घर टूटने के बाद रामसुंदर और उसका परिवार कच्ची झोपड़ी में रह रहा है. हालांकि उसे संतोष है कि अब उसके घर की बहू-बेटियां शौच के लिए घर के बाहर नहीं जाती हैं.

रामसुंदर का शौचालय जब बनकर तैयार हो गया तो इलाके में इस बात की चर्चा होने लगी, लोगे उनके इस फैसले की तारीफ कर रहे हैं. स्वच्छता अभियान से जुडे़ सरकारी कर्मचारी भी रामसुंदर की तारीफ कर चुके हैं. इलाके के लोगों का कहना है कि भारत सरकार स्वच्छता अभियान के प्रचार-प्रसार पर करोड़ों रुपए खर्च करती है. वहीं रामसुंदर भी इलाके के लोगों के सामने स्वच्छता अभियान की मिसाल बनकर उभरे हैं. ऐसे में सरकार को चाहिए कि वह रामसुंदर लोहार का घर दोबारा से पक्का बनवा दें. स्थानीय बीजेपी नेता रामू रोहरा ने भी केंद्र और राज्य सरकार से रामसुंदर लोहार का घर पक्का बनवाने की अपील की है.

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