खास बातें
- साइबर फारेंसिक विशेषज्ञ का कहना है कि महाराष्ट्र सचिवालय में लगी आग से नष्ट हुए कंप्यूटर हार्ड डिस्कों में मौजूद डेटा को मैग्नेटिक फेरस माइक्रोस्कोप (एमएफएम) के जरिए फिर से हासिल किया जा सकता है।
नागपुर: एक जानेमाने साइबर फारेंसिक विशेषज्ञ का कहना है कि महाराष्ट्र सचिवालय में लगी आग से नष्ट हुए कंप्यूटर हार्ड डिस्कों में मौजूद डेटा को मैग्नेटिक फेरस माइक्रोस्कोप (एमएफएम) के जरिए फिर से हासिल किया जा सकता है।
‘इंटेलिजेंट कोशंट सिक्योरिटी सिस्टम’ के मुख्य कार्यपालक अधिकारी डॉ. हैराल्ड डिकोस्टा ने बताया कि हार्ड डिस्क के पानी में डूबने के बावजूद उसमें मौजूद डेटा फिर से हासिल किए जा सकते हैं। हार्ड डिस्क को दुर्घटनास्थल से सावधानी पूर्वक एंटी-स्टैटिक थलों में लाकर उनकी फारेंसिक जांच होनी चाहिए।
डिकोस्टा ने बताया कि अगर महाराष्ट्र सचिवालय में आपदा से निपटने की योजना बनाई होती, तो सभी नष्ट हुए डेटा सहायक यंत्रों में सुरक्षित होते। उन्होंने बताया कि इससे हार्ड डिस्क के जल जाने के बाद भी डेटा सुरक्षित रह सकते हैं।
साइबर अपराध के मामलों में महाराष्ट्र और गोवा सरकार के वरिष्ठ सलाहकार एवं प्रशिक्षक डिकोस्टा ने कहा कि सचिवालय को इस तरह की आपदा से बचाव के कदम उठाने चाहिए।
उन्होंने बताया कि मूल स्थल से 100 किलोमीटर दूर या किसी अन्य शहर में एक ऐसा संग्रह बनाना चाहिए, जहां डेटा के मुख्य सर्वर पर दर्ज होते ही सुरक्षित करने की सुविधा हो। उन्होंने यह भी कहा कि सरकार को डेटा फिर से हासिल करने के लिए हादसा प्रतिक्रिया दल बनाना चाहिए।