
अमेरिका ने पाकिस्तान के प्रधानमंत्री नवाज शरीफ का कश्मीर मामले में हस्तक्षेप का आग्रह यह कहते हुए खारिज कर दिया है कि उसका रुख इस मामले में नहीं बदला है और वह बातचीत के लिए नई दिल्ली तथा इस्लामाबाद को प्रोत्साहित करेगा।
विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता जेन साकी ने शुक्रवार को पहली बार ट्विटर के जरिये सवालों के जवाब में बताया, (हमारा) रुख नहीं बदला है। (यह) भारत और पाकिस्तान पर निर्भर है, अमेरिका दोनों देशों के बीच बातचीत को लगातार प्रोत्साहित करेगा। उनसे शरीफ की इस सप्ताह वाशिंगटन यात्रा के दौरान दिए गए बयानों के बारे में पूछा गया था। इस यात्रा में शरीफ ने बार-बार ओबामा प्रशासन से कश्मीर मुद्दे के हल के लिए भारत पर उसके (ओबामा प्रशासन के) बढ़ते प्रभाव का इस्तेमाल करने का आग्रह किया था।
शरीफ के दौरे से पहले ओबामा प्रशासन ने कहा था कि कश्मीर पर उसका रुख 'जरा भी नहीं' बदला है और वह कश्मीर को भारत और पाकिस्तान के बीच द्विपक्षीय मुद्दा मानता है। 'यूएस इंस्टीट्यूट ऑफ पीस' में अपने संबोधन में नवाज शरीफ ने अमेरिका से भारत पर उसके प्रभाव का इस्तेमाल कश्मीर मुद्दे के हल के लिए करने का आग्रह किया था।
इस सप्ताह के शुरू में शरीफ ने कहा था, भारत पर अपने बढ़ते प्रभाव के साथ ही अमेरिका के पास और प्रयास करने, कश्मीर सहित प्रमुख मुद्दों के हल में दोनों पक्षों की मदद करने तथा सहयोग की संस्कृति को बढ़ावा देने की क्षमता है।
शरीफ के दौरे के समापन के बाद पाकिस्तानी संवाददाताओं से बातचीत के दौरान 'एसोसिएटेड प्रेस ऑफ पाकिस्तान' ने विदेश मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी को यह कहते हुए उद्धृत किया, '(भारत-पाकिस्तान के बीच) संबंधों में सुधार को हम गहरा समर्थन देते हैं और इसी दिशा में बढ़ने के लिए प्रेरित करने के उद्देश्य से दोनों सरकारों पर अपने प्रभाव का उपयोग हम जारी रखेंगे।
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