भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उनके पाकिस्तानी समकक्ष नवाज शरीफ ने सार्क सम्मेलन की समाप्ति पर काठमांडू के बाहर धुलीखेल में आयोजित अनौपचारिक रिट्रीट के दौरान हाथ मिलाकर एक-दूसरे का अभिवादन जरूर किया, लेकिन सूत्रों के मुताबिक दोनों नेताओं के बीच किसी तरह की कोई बातचीत नहीं हुई।
उल्लेखनीय है कि सार्क शिखर सम्मेलन पाकिस्तान द्वारा भारत समर्थित प्रस्तावों को ठुकराने की वजह से ही नाकाम माना जा रहा है। मोदी और शरीफ ने सम्मेलन के शुरू होने के बाद से ही न सिर्फ एक-दूसरे से दूरी बनाए रखी है, बल्कि आमना-सामना होने के बावजूद एक-दूसरे से नजरें बचाते दिखे।
माना जा रहा था कि यह अनौपचारिक रिट्रीट बाकी सभी सार्क नेताओं के लिए एक मौका है, जब वे नवाज शरीफ को भारतीय प्रस्तावों को समर्थन देने के लिए मना सकेंगे।
उल्लेखनीय है कि भारत ने सार्क देशों के बीच कनेक्टिविटी बढ़ाने का प्रस्ताव रखा था, जिसका पाकिस्तान ने विरोध किया। नवाज शरीफ की दलील थी कि इस मुद्दे पर उन्होंने अपने मुल्क में उचित चर्चाएं नहीं की हैं।
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