इस्लामाबाद:
पाकिस्तानी प्रधानमंत्री यूसुफ रजा गिलानी ने गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट के सामने पेश होकर अवमानना मामले में अपना पक्ष रखा। सुप्रीम कोर्ट ने भ्रष्टाचार के आरोपों में घिरे राष्ट्रपति जरदारी और दूसरे कई नेताओं को मिली आम माफी के मामले की सुनवाई करते हुए गिलानी को अवमानना नोटिस भेजा था।
गिलानी ने कोर्ट से कहा है कि राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी को संविधान के आधार पर आपराधिक मामलों से छूट मिली हुई है इसीलिए उन्होंने स्विस बैंक को चिट्ठी नहीं लिखी। गिलानी ने कहा कि कोर्ट की अवमानना करने की कभी सोच भी नहीं सकते क्योंकि वह कोर्ट का सम्मान करते हैं। इस पर कोर्ट ने गिलानी से सवाल किया कि अगर राष्ट्रपति को छूट हासिल है तो ये बात कोर्ट को बताते खुद ही चिट्ठी न लिखने का फैसला क्यों कर लिया। बाद में कोर्ट ने इस मामले की सुनवाई दो हफ्ते के लिए टाल दी। अब एक फरवरी को अगली सुनवाई होगी लेकिन उस दिन कोर्ट ने गिलानी को हाजिर न होने की छूट दे दी है।
गिलानी ने कोर्ट से कहा है कि राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी को संविधान के आधार पर आपराधिक मामलों से छूट मिली हुई है इसीलिए उन्होंने स्विस बैंक को चिट्ठी नहीं लिखी। गिलानी ने कहा कि कोर्ट की अवमानना करने की कभी सोच भी नहीं सकते क्योंकि वह कोर्ट का सम्मान करते हैं। इस पर कोर्ट ने गिलानी से सवाल किया कि अगर राष्ट्रपति को छूट हासिल है तो ये बात कोर्ट को बताते खुद ही चिट्ठी न लिखने का फैसला क्यों कर लिया। बाद में कोर्ट ने इस मामले की सुनवाई दो हफ्ते के लिए टाल दी। अब एक फरवरी को अगली सुनवाई होगी लेकिन उस दिन कोर्ट ने गिलानी को हाजिर न होने की छूट दे दी है।
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं
Gilani And Supreme Court, Gilani Gilani In Supreme Court, Memogate, Pak Crisis, Yousuf Raza Gilani, गिलानी और सुप्रीम कोर्ट, सुप्रीम कोर्ट में गिलानी, मेमोगेट, पाकिस्तान संकट, यूसुफ रजा गिलानी