इस्लामाबाद:
पाकिस्तान में नारकोटिक्स रोधी अदालत द्वारा गुरुवार को गैर जमानती वारंट जारी होने पर प्रधानमंत्री पद की दौड़ से मखदूम शहाबुद्दीन के हटने के बाद अब चार उम्मीदवार सामने रह गए हैं, जिसमें से दो सत्तारुढ़ पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी के एवं एक-एक पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज एवं जमायत उलेमा-ए-इस्लाम-फज्ल (जेयूआई-एफ) के हैं।
तेजी से बदलते घटनाक्रम के तहत पीपीपी ने अदालत द्वारा गिरफ्तारी वारंट जारी करने पर प्रधानमंत्री पद के लिए अपने प्रमुख उम्मीदवार शहाबुद्दीन की जगह अभी तक रिजर्व उम्मीदवार माने जा रहे राजा परवेज अशरफ का नाम आगे बढ़ाने का फैसला किया था।
ज्ञात हो कि पाकिस्तानी राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी ने पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) की ओर से औपचारिक तौर पर मखदूम शहाबुद्दीन को गुरुवार को प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार घोषित किया था।
इससे पहले अशरफ को रिजर्व उम्मीदवार के तौर पर चुना गया था। पीपीपी के एक अन्य नेता कमर जमां कैरा ने प्रधानमंत्री पद के लिए नामांकन दाखिल किया है। प्रधानमंत्री का चुनाव शुक्रवार को होना प्रस्तावित है।
इसके अलावा जेयूआई-एफ प्रमुख मौलाना फजलुर रहमान एवं पीएमएल-एन की तरफ से सरदार महताब अब्बासी ने अपना नामांकन दाखिल किया।
शहाबुद्दीन रहीम यार खान से, अशरफ रावलपिंडी और कैरा गुजरात से नेशनल असेम्बली के सदस्य हैं। तीनों संसदीय क्षेत्र पंजाब में पड़ता है।
खैबर पख्तूनख्वा प्रांत के मुख्यमंत्री अब्बासी एबटाबाद से नेशनल असेम्बली के सदस्य हैं। फजलुर रहमान खैबर पख्तूनख्वा प्रांत के अब्दुलखेल बनियाला से नेशनल असेम्बली के सदस्य हैं।
अदालत ने पूर्व प्रधानमंत्री यूसुफ रजा गिलानी के पुत्र अली मूसा के खिलाफ दवा घोटाले के मामले में गैर जमानती वारंट जारी किया था।
यह वारंट मुख्य न्यायाधीश इफ्तिखार मोहम्मद चौधरी की अध्यक्षता में सर्वोच्च न्यायालय की पीठ द्वारा एंटी नारकोटिक्स फोर्स (एएनएफ) को शहाबुद्दीन की गिरफ्तारी का आदेश देने के बाद जारी किया गया।
शहाबुद्दीन पर सात अरब रुपये लेकर स्वास्थ्य मंत्री के पद पर रहते हुए दो दवा कम्पनियों के उत्पादन कोटे को बढ़ाने में अपने प्रभाव के दुरुपयोग करने का आरोप है।
प्रधानमंत्री पद के लिए चुनाव शुक्रवार शाम 5.30 बजे नेशनल असेम्बली के एक विशेष सत्र के दौरान होगा। संसद के निचले सदन नेशनल असेम्बली में पीपीपी अपने 342 सदस्यों के साथ बहुमत में है।
तेजी से बदलते घटनाक्रम के तहत पीपीपी ने अदालत द्वारा गिरफ्तारी वारंट जारी करने पर प्रधानमंत्री पद के लिए अपने प्रमुख उम्मीदवार शहाबुद्दीन की जगह अभी तक रिजर्व उम्मीदवार माने जा रहे राजा परवेज अशरफ का नाम आगे बढ़ाने का फैसला किया था।
ज्ञात हो कि पाकिस्तानी राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी ने पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) की ओर से औपचारिक तौर पर मखदूम शहाबुद्दीन को गुरुवार को प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार घोषित किया था।
इससे पहले अशरफ को रिजर्व उम्मीदवार के तौर पर चुना गया था। पीपीपी के एक अन्य नेता कमर जमां कैरा ने प्रधानमंत्री पद के लिए नामांकन दाखिल किया है। प्रधानमंत्री का चुनाव शुक्रवार को होना प्रस्तावित है।
इसके अलावा जेयूआई-एफ प्रमुख मौलाना फजलुर रहमान एवं पीएमएल-एन की तरफ से सरदार महताब अब्बासी ने अपना नामांकन दाखिल किया।
शहाबुद्दीन रहीम यार खान से, अशरफ रावलपिंडी और कैरा गुजरात से नेशनल असेम्बली के सदस्य हैं। तीनों संसदीय क्षेत्र पंजाब में पड़ता है।
खैबर पख्तूनख्वा प्रांत के मुख्यमंत्री अब्बासी एबटाबाद से नेशनल असेम्बली के सदस्य हैं। फजलुर रहमान खैबर पख्तूनख्वा प्रांत के अब्दुलखेल बनियाला से नेशनल असेम्बली के सदस्य हैं।
अदालत ने पूर्व प्रधानमंत्री यूसुफ रजा गिलानी के पुत्र अली मूसा के खिलाफ दवा घोटाले के मामले में गैर जमानती वारंट जारी किया था।
यह वारंट मुख्य न्यायाधीश इफ्तिखार मोहम्मद चौधरी की अध्यक्षता में सर्वोच्च न्यायालय की पीठ द्वारा एंटी नारकोटिक्स फोर्स (एएनएफ) को शहाबुद्दीन की गिरफ्तारी का आदेश देने के बाद जारी किया गया।
शहाबुद्दीन पर सात अरब रुपये लेकर स्वास्थ्य मंत्री के पद पर रहते हुए दो दवा कम्पनियों के उत्पादन कोटे को बढ़ाने में अपने प्रभाव के दुरुपयोग करने का आरोप है।
प्रधानमंत्री पद के लिए चुनाव शुक्रवार शाम 5.30 बजे नेशनल असेम्बली के एक विशेष सत्र के दौरान होगा। संसद के निचले सदन नेशनल असेम्बली में पीपीपी अपने 342 सदस्यों के साथ बहुमत में है।
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