वॉशिंगटन:
अमेरिका के घरेलू सुरक्षा मंत्री जॉन केली ने कहा है कि राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने अपने उस कार्यकारी आदेश में सुधार किया है, जिसके तहत सात मुस्लिम बहुल देशों के नागरिकों को अमेरिका प्रवेश पर अस्थायी तौर पर प्रतिबंध लगा दिया गया था. केली ने कहा कि इस नए आदेश में ग्रीन-कार्ड धारकों को छूट दी जा सकती है. केली ने शनिवार को म्युनिख सुरक्षा संवाद में कहा, "राष्ट्रपति अपने पहले कार्यकारी आदेश का एक अधिक चुस्त, अधिक व्यवस्थित संस्करण जारी करने पर विचार कर रहे हैं."
उन्होंने कहा, "मेरे पास इस समय खासतौर से यह सुनिश्चित करने वाली योजना जारी करने के लिए काम करने का अवसर है कि दूसरे देशों से हमारे हवाईअड्डों पर आने वाले किसी भी व्यक्ति के मन में यह बात न रहे कि उसे पकड़ लिया जाएगा, जैसा कि पहले आदेश के कारण हुआ था." उन्होंने यह भी कहा कि यह एक अच्छा अनुमान है कि ग्रीनकार्ड धारकों को देश में प्रवेश की अनुमति दी जाएगी.
ट्रंप ने 27 जनवरी को अपना प्रारंभिक यात्रा प्रतिबंध जारी किया था, जिसके बाद शरणार्थियों और ग्रीनकार्ड धारकों को अमेरिकी हवाईअड्डों पर हिरासत में लिए जाने की घटनाएं सामने आईं. बाद में न्यायालय ने इस प्रतिबंध पर रोक लगा दी. 'द हिल' नामक पत्रिका के अनुसार, अमेरिकी प्रशासन ने आदेश लागू होने के प्रथम दो दिन के बाद स्पष्ट करने की कोशिश की थी कि ग्रीनकार्ड धारकों पर इसका कोई असर नहीं हुआ है.
कई कनूनी संस्थाओं ने प्रशासन के इस आदेश के खिलाफ मुकदमें दायर किए, जिसके बाद सिएटल के एक संघीय न्यायाधीश ने यात्रा प्रतिबंध पर अस्थायी रोक लगा दी. उसके बाद सैन फ्रांसिस्को की नौवीं सर्किट अपीली अदालत ने इस महीने के प्रारंभ में संघीय न्यायाधीश के आदेश को बरकरार रखा. ट्रंप ने संकेत दिया है कि उनका प्रशासन एक नए कार्यकारी आदेश पर काम करेगा, जो आसानी से कानूनी बाधाओं को पार कर जाएगा.
राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार के रूप में ट्रंप ने विदेशी मुसलमानों के अमेरिका में प्रवेश को पूरी तरह प्रतिबंधित करने का आह्वान किया था और देश के शरणार्थी पुनर्वास कार्यक्रम की बार-बार आलोचना की थी, जिसे उन्होंने राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए नुकसानदायक बताया था.
उन्होंने कहा, "मेरे पास इस समय खासतौर से यह सुनिश्चित करने वाली योजना जारी करने के लिए काम करने का अवसर है कि दूसरे देशों से हमारे हवाईअड्डों पर आने वाले किसी भी व्यक्ति के मन में यह बात न रहे कि उसे पकड़ लिया जाएगा, जैसा कि पहले आदेश के कारण हुआ था." उन्होंने यह भी कहा कि यह एक अच्छा अनुमान है कि ग्रीनकार्ड धारकों को देश में प्रवेश की अनुमति दी जाएगी.
ट्रंप ने 27 जनवरी को अपना प्रारंभिक यात्रा प्रतिबंध जारी किया था, जिसके बाद शरणार्थियों और ग्रीनकार्ड धारकों को अमेरिकी हवाईअड्डों पर हिरासत में लिए जाने की घटनाएं सामने आईं. बाद में न्यायालय ने इस प्रतिबंध पर रोक लगा दी. 'द हिल' नामक पत्रिका के अनुसार, अमेरिकी प्रशासन ने आदेश लागू होने के प्रथम दो दिन के बाद स्पष्ट करने की कोशिश की थी कि ग्रीनकार्ड धारकों पर इसका कोई असर नहीं हुआ है.
कई कनूनी संस्थाओं ने प्रशासन के इस आदेश के खिलाफ मुकदमें दायर किए, जिसके बाद सिएटल के एक संघीय न्यायाधीश ने यात्रा प्रतिबंध पर अस्थायी रोक लगा दी. उसके बाद सैन फ्रांसिस्को की नौवीं सर्किट अपीली अदालत ने इस महीने के प्रारंभ में संघीय न्यायाधीश के आदेश को बरकरार रखा. ट्रंप ने संकेत दिया है कि उनका प्रशासन एक नए कार्यकारी आदेश पर काम करेगा, जो आसानी से कानूनी बाधाओं को पार कर जाएगा.
राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार के रूप में ट्रंप ने विदेशी मुसलमानों के अमेरिका में प्रवेश को पूरी तरह प्रतिबंधित करने का आह्वान किया था और देश के शरणार्थी पुनर्वास कार्यक्रम की बार-बार आलोचना की थी, जिसे उन्होंने राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए नुकसानदायक बताया था.
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