विज्ञापन
This Article is From Feb 22, 2012

एजाज ने अपना ब्लैकबेरी फोन और ‘अन्य सबूत’ सौंपे

इस्लामाबाद: विवादास्पद पाकिस्तानी अमेरिकी कारोबारी मंसूर एजाज ने बुधवार को मैमो कांड की जांच कर रहे पाक सुप्रीम कोर्ट द्वारा नियुक्त न्यायिक आयोग को अपना ब्लैकबेरी फोन तथा ‘अन्य सबूत’ सौंप दिए।

इस कांड ने पाकिस्तान की शाक्तिशाली सेना तथा राजनीतिक संस्थाओं को हिला कर रख दिया है। इस मैमो में आतंकवादी ओसामा बिन लादेन के पिछले साल मई में एक अमेरिकी अभियान में मारे जाने के बाद पाकिस्तान में संभावित तख्तापलट टालने के लिए कथित रूप से अमेरिका से मदद मांगी गयी थी।

सुरक्षा कारणों से आयोग के समक्ष हाजिर होने के लिए पाकिस्तान आने से इनकार करने वाले एजाज ने लंदन से वीडियो लिंक के जरिए गवाही दी। मैमो कांड ने देश में गतिरोध की स्थिति पैदा कर दी थी और प्रधानमंत्री युसूफ रजा गिलानी ने इस मामले से निपटने के तौर तरीकों को लेकर सेना और आईएसआई प्रमुखों की आलोचना की थी।

एजाज वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए अपना बयान दर्ज कराने के लिए लंदन में पाकिस्तान उच्चायोग आए जबकि तीन जजों के आयोग ने इस्लामाबाद से कार्यवाही संचालित की।

डान न्यूज नेटवर्क ने बताया है कि एजाज ने अपना ब्लैकबेरी फोन और अन्य सबूत मामले की जांच कर रहे आयोग के सचिव को सौंप दिए। उन्होंने साथ ही पाकिस्तानी नेताओं और आईएसआई अधिकारियों के साथ अपने संबंधों की विस्तृत जानकारी भी उपलब्ध करायी।

एजाज ने वह बयान भी पढ़ा जो वह पहले ही सुप्रीम कोर्ट को सौंप चुके हैं। उन्होंने दावा किया है कि अमेरिका में पाकिस्तान के पूर्व दूत के साथ कथित मैमो को लेकर उनके संबंध पिछले साल तीन मई से शुरू हुए थे। इससे एक दिन पहले ही ऐबटाबाद में अमेरिकी कमांडो ने लादेन को मार गिराया था। उनका दावा है कि पूर्व दूत हुसैन हक्कानी ने उनसे कहा था कि सेना जरदारी तथा सरकार पर दबाव डाल रही है।

पाकिस्तानी नेताओं के साथ अपने संबंधों का ब्यौरा देते हुए एजाज ने कहा कि वह 2003 में ब्रसेल्स में तत्कालीन आईएसआई प्रमुख जनरल अहसान उल हक से मिले थे। उन्होंने कहा कि पूर्व सैन्य शासक जनरल परवेज मुशर्रफ से उनकी मुलाकात लंदन में 2005 में हुई थी और वह राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी से वर्ष 2009 में आखिरी बार मिले थे।

यहां अटार्नी जनरल अनवार उल हक ने आयोग को बताया कि ब्लैकबेरी संदेशों का फोरेंसिक परीक्षण कराना जरूरी है जो एजाज ने अपने दावों के संबंध में पेश किए हैं। हक ने कहा कि वीडियो कांफ्रेंसिंग के लिए लंदन में मौजूद आयोग के सचिव इलैक्ट्रोनिक उपकरणों के विशेषज्ञ नहीं हैं और वह ब्लैकबेरी संदेशों की सत्यता की पुष्टि नहीं कर सकते।

हक्कानी के वकील जाहिद बुखारी ने गवाही के दौरान एजाज के व्यवहार पर आपत्ति जतायी और कहा कि वह लगातार अपने ब्लैकबेरी फोन से खेल रहे हैं। इससे पूर्व, सच बोलने की शपथ लेने के बाद एजाज ने एक सवाल के जवाब में आयोग को सूचित किया कि वह उूर्द नहीं बोल सकते।

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे:
Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com