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बमों का ‘रक्तबीज’! ईरान-इजरायल जंग में पहली बार बरसे क्लस्टर बम क्या हैं? यह वॉर क्राइम है या नहीं

Israel Iran War, Cluster Bomb Attack: पिछले 8 दिनों से जारी इजरायल-ईरान युद्ध में क्लस्टर हथियारों के इस्तेमाल की यह पहली रिपोर्ट आई है. जानिए आखिर क्लस्टर बम होते क्या हैं और इसे किसी भी जंग में हद से बुरा क्यों माना जाता है.

बमों का ‘रक्तबीज’! ईरान-इजरायल जंग में पहली बार बरसे क्लस्टर बम क्या हैं? यह वॉर क्राइम है या नहीं
Israel Iran War, Cluster Bomb Attack: ईरान-इजरायल जंग में पहली बार बरसे क्लस्टर बम
  • इजरायल ने ईरान पर क्लस्टर बम गिराने का दावा किया है.
  • यह इजरायल-ईरान युद्ध में क्लस्टर हथियारों का पहला उपयोग है.
  • क्लस्टर बम एक साथ कई छोटे बमों का समूह होते हैं.
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इजरायली सेना ने गुरुवार, 20 जून को दावा किया कि ईरान ने उसके नागरिकों को अधिक से अधिक संख्या में मारने के उद्देश्य से इजरायल पर कम से कम एक ऐसी मिसाइल दागी है जिसमें क्लस्टर बम लगे थे. पिछले 8 दिनों से जारी इजरायल-ईरान युद्ध में क्लस्टर हथियारों के इस्तेमाल की यह पहली रिपोर्ट है. इजरायल से आ रहीं न्यूज रिपोर्टों में इजरायली सेना के हवाले से कहा गया है कि इस ईरानी मिसाइल का वारहेड लगभग 7 किमी की ऊंचाई पर खुल गया और मध्य इजरायल के ऊपर लगभग 8 किमी के दायरे में लगभग 20 बम इसमें से गिरे.

सवाल है कि आखिर क्लस्टर बम होते क्यों हैं और इसे किसी भी जंग में हद से बुरा क्यों माना जाता है. क्या किसी जंग में इसके इस्तेमाल को वॉर क्राइम माना जाता है. चलिए आपको बताते हैं.

क्लस्टर बम क्या होते हैं?

क्लस्टर म्यूनिशन एक ऐसा बम है जिसमें कई सारे छोटे बम होते हैं. ये क्लस्टर बम हवा में खुलता है और एक बहुत बड़े क्षेत्र में इसमें से निकले छोटे "बम" गिरते हैं और ब्लास्ट होते हैं. बमों को एक ही समय में कई टारगेट पर हमला करते हुए टैंकों और सैन्य हथियारों के साथ-साथ सैनिकों को तबाह करने के लिए डिजाइन किया गया है. हालांकि कई बार इसका इस्तेमाल आम नागरिकों को भी मार गिराने के लिए किया जाता है.

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इन क्लस्टर बमों को मिसाइलों या ड्रोन्स की मदद से ही लॉन्च किया जाता है. पहले के जंगों में तो क्लस्टर बम के अंदर आज से कहीं ज्यादा बम हुआ करते थे और जंग में इनका इस्तेमाल भी बडे़ पैमाने पर होता था. कई बार वो गिरने के बाद फटते भी नहीं थे. इसकी वजह से हजारों ऐसे छोटे बम जो फटे नहीं थे वो अलग-अलग इलाकों में जमीन के अंदर दबे रह गए. दशकों बाद इनके फटने से लोग मारे गए और अपंग हो गए. अलजजीरा कि रिपोर्ट के अनुसार अमेरिका ने आखिरी बार 2003 में इराक में अपने क्लस्टर हथियारों का इस्तेमाल किया था. लेकिन उसके बाद उसने उनका उपयोग जारी नहीं रखने का फैसला किया.

क्या क्लस्टर बम का प्रयोग वॉर क्राइम (युद्ध अपराध) है?

क्लस्टर बमों का उपयोग अपने आप में अंतरराष्ट्रीय कानून का उल्लंघन नहीं करता है, लेकिन नागरिकों के खिलाफ उनका उपयोग करना इन कानूनों का उल्लंघन हो सकता है. किसी भी हमले की तरह, वॉर क्राइम का निर्धारण करने के लिए यह देखना आवश्यक है कि क्या उन बमों के लिए जो टारगेट बनाए गए थे, वे वैध थे. क्या नागरिक को इसकी जद में आने से बचाने के लिए तमाम सावधानियां बरती गई थीं या नहीं.

एसोसिएटेड प्रेस की पुरानी रिपोर्ट के अनुसार ह्यूमन राइट्स वॉच के एसोसिएट आर्म डायरेक्टर मार्क हिजने ने बताया था कि अगर बम को नागरिकों को निशाना बनाकर किए जाने वाले अंधाधुंध हमले के लिए इस्तेमाल किया जाता है तो यह  अंतर्राष्ट्रीय कानून का उल्लंघन होगा. "तो यह आवश्यक रूप से हथियारों से संबंधित नहीं है, बल्कि हथियारों के इस्तेमाल के तरीके से संबंधित है."

ईरान और इजराल दोनों के पास हैं क्लस्टर बम

रॉयटर्स की रिपोर्ट के अनुसार ईरान और इजरायल, दोनों ने क्लस्टर बमों को बनाने,  उन्हें स्टोर करने, उनको एक जगह से दूसरे जगह ट्रांसफर करने और उनके उपयोग पर साल 2008 के अंतर्राष्ट्रीय प्रतिबंध में शामिल होने से इनकार कर दिया था. क्लस्टर बमों पर इस बैन पर 111 देशों और 12 अन्य संस्थाओं द्वारा हस्ताक्षर किए गए हैं.

याद रहे कि 2023 में अमेरिका ने रूसी कब्जे वाली ताकतों के खिलाफ उपयोग के लिए यूक्रेन को क्लस्टर बम की सप्लाई की थी. यूक्रेन ने दावा किया था कि रूसी सैनिकों ने भी उन पर क्लस्टर बम गिराए हैं. याद रहे कि 2008 में इन तीनों देश- अमेरिका, रूस और यूक्रेन ने भी क्लस्टर बम के खिलाफ अंतर्राष्ट्रीय प्रतिबंध में शामिल होने से इनकार कर दिया था.

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