विज्ञापन

इजरायल-ईरान के अलावा पश्चिम एशिया को महायुद्ध के मुहाने पर पहुंचाने के गुनहगार कौन?

Iran Israel Conflict: ईरान और इजरायल की जंग अगर बढ़ती है तो इसका असर पूरी दुनिया पर दिखेगा. ईरान के हमले के बाद इजरायल ने बदले की कसम खाई है. जानिए कौन हैं इस महाविनाश के असली गुनहगार...

Middle East Conflict: मध्य पूर्व में तनाव में बढ़ता जा रहा है.

Iran Israel War: पश्चिम एशिया इस वक्त महायुद्ध की ऐसी ज्वालामुखी पर बैठा है कि अगर वह फटा तो बर्बादी और तबाही की राख पूरी दुनिया पर छा सकती है. इस वक्त इजरायल (Israel) से लेकर फिलिस्तीन (Palestine), लेबनान (Lebanon), सीरिया (Syria), यमन (Yaman) से होते हुए ईरान (Iran) तक बदले का खेल चल रहा है. पिछले एक साल से जो कुछ हो रहा है, उसमें यही सवाल है कि अरब में वॉर के गुनहगार कौन हैं? कैसे कुछ लोगों की अपनी सत्ता की चाहत और वर्चस्व की लड़ाई ने पश्चिम एशिया को वॉर सेंटर बना दिया है?

ईरान का कसूर

Latest and Breaking News on NDTV

एक अक्टूबर की रात जब यरुशलम और तेल अवीव समेत इजरायल के कई ठिकानों पर ईरानी मिसाइल बरस रहे थे तो क्या ईरान को पता नहीं था कि इजरायल इसका बदला लेगा? इजरायल बदले की बात भी कर रहा है तो ईरान को भी देख लेने की.  ईरान के सशस्त्र बल इस ऑपरेशन को कई गुना तीव्रता के साथ दोहराने के लिए रक्षात्मक और आक्रामक दोनों तरह से तैयार हैं. उनका कहना है कि यदि इजरायल का शासन और अमेरिका व यूरोप उनकी संप्रभुता या क्षेत्रीय अखंडता के खिलाफ कुछ भी करते हैं तो इस तरह का ऑपरेशन बहुत अधिक परिणाम के साथ दोहराया जाएगा. ईरान उनके सभी बुनियादी ढांचों पर हमला करेगा.

हिजबुल्लाह की गलती

हिजबुल्लाह के आतंकवादियों के नाम पर जब इजरायल ने लेबनान में आसमान से धरती तक हमला बोला तो क्या इजरायल को पता नहीं था कि कितने मासूम बच्चे और महिलाएं इसमें मारे जाएंगे? कितने निर्दोष लोग मारे जाएंगे? कितनी बर्बादियां इंसानियत की छाती पर नंगा नाच करेंगी? लेबनान में बर्बादी का दंश भोग रहे एक शख्स ने बताया कि सुबह तीन बजे मैंने बच्चों को कार में बैठाया. मेरे पास ठीक से कपड़े पहनने का भी समय नहीं था. मैंने घर से कुछ भी नहीं निकाला. मैंने सोचा कि शायद चेतावनी सटीक थी. मैं बच्चों को लेकर इस चौराहे पर पहुंचा ही था कि बमबारी की आवाज सुनी. इजरायल सोचता है कि इस तरह वो प्रतिशोध के माहौल को खत्म कर सकता है. हम उस वादे और शपथ के प्रति प्रतिबद्ध रहेंगे, जो हमने शहीद नेता सैय्यद हसन नसरल्लाह के साथ किया था कि हमारे जीवन हमारे बच्चे और हमारी संपत्ति उनके लिए बलिदान की जाती है.

ये 10 गुनहगार

Latest and Breaking News on NDTV

फिलिस्तीन के वजूद के लिए लड़ने की दुहाई देने वाले हमास ने ही कहां सोचा था कि 7 अक्टूबर 2023 को इजरायल पर किया गया हमला कितना महंगा होने जा रहा है और फिर हमास के समर्थन में इजरायल पर हमला करते हुए क्या हिजबुल्लाह और उसके समर्थकों ने इस पर सोचा कि इसका अंजाम क्या होगा? वो अंजाम अब लेबनान की राजधानी से लेकर सीमावर्ती इलाकों तक मौत और तबाही के रूप में दिख रहा है. तो सवाल है कि अरब में जो युद्ध की आग लगी है जिस तरह अरब में वॉर छिड़ा है, उस वॉर के कितने गुनहगार हैं? अरब में वॉर के दस गुनहगार हैं. बात अब युद्ध के लिए जिम्मेदारी की नहीं, बात अब गुनहगारी पर आ चुकी है, क्योंकि एक तरफ इजराइल है तो दूसरी तरफ ईरान से लेकर हिजबुल्लाह और हमास हैं, लेकिन गुनाहगार यही चार नहीं है. इसमें दस दस गुनहगार दिखते हैं . इसमें इजरायल है तो उसके समर्थन में अमेरिका (America) भी है । इसमें नाटो (NATO) है तो संयुक्त राष्ट्र भी है, इसमें हूती (Houthi) है तो सीरिया भी है. वहीं रूस (Russia) का ईरान के पीछे होना भी एक कारण है. अरब में वॉर के इन गुनहगारों को शायद आभास ही नहीं कि उन्होंने दुनिया को किस बर्बादी के ज्वालामुखी पर बिठा दिया है.

इजरायल से लेकर ईरान और हमास से लेकर हिजबुल्लाह तक सबके पास अपने अपने तर्क हैं कि वो युद्ध क्यों कर रहे हैं? अमेरिका भी शांति का जाप करते करते इजरायल के पक्ष में हो गया, लेकिन इन सभी देशों और संगठनों ने अपने को सही ठहराने के चक्कर में इंसानियत को धोखा दिया है. पिछले साल सात अक्टूबर को इजरायल पर हमास के हमले के बाद से खुनी जंग ने हजारों लोगों को मौत के घाट उतारा है, लेकिन ये खूनी प्यास कब बुझेगी? कोई नहीं जानता.

हजारों लोग मारे गए

Latest and Breaking News on NDTV

ये तस्वीर युद्ध के गुनहगारों की निर्ममता का सबूत है. ऐसी न जाने कितनी तस्वीरें बर्बादियों के रूप में पश्चिम एशिया के माथे पर घूम रही हैं. इजरायल का तर्क है कि हिजबुल्लाह और हमास से उसको खतरा है, इसीलिए वो उनको बर्बाद करना चाहता है, लेकिन हमास का तर्क है कि वो इजरायल से फिलिस्तीन को बचाने और अल अक्सा मस्जिद पर इसरायली हमले को रोकने के लिए लड़ रहा है. उधर, हिजबुल्लाह का तर्क है कि 1982 में इजरायल ने जिस तरह लेबनान पर हमला बोला था, उसकी प्रतिक्रिया में हिजबुल्लाह बना और पिछली बार उसने फिलिस्तीन के लोगों के हितों के लिए हमला बोला था. उधर, ईरान का तर्क है कि हिजबुल्लाह को उसने बनाया है और हिजबुल्लाह एक धर्म युद्ध लड़ रहा है. इसलिए ईरान उनके पक्ष में है. ईरान दुनिया को यही संदेश देना चाहता है कि जिस तरह इजराइल लेबनान में घुसकर हिजबुल्लाह को बर्बाद करने में लगा है, उसमें हिजबुल्लाह की रक्षा के लिए उसने इजरायल पर मिसाइल दागे.  पिछले साल सात अक्टूबर को इजरायल पर हमास के हमले के बाद क्रिया और प्रतिक्रिया की हजारों लोगों की जान ले चुकी है. 

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे:
डार्क मोड/लाइट मोड पर जाएं
Previous Article
अमेरिका और यूरोप की उपस्थित पश्चिमी एशिया में समस्याओं का मूल कारण : ईरानी सर्वोच्च नेता
इजरायल-ईरान के अलावा पश्चिम एशिया को महायुद्ध के मुहाने पर पहुंचाने के गुनहगार कौन?
ईरान के हमलों के बाद अमेरिका ने जी 7 देशों के साथ की बैठक, इजरायल के लिए खींची लक्ष्मण रेखा
Next Article
ईरान के हमलों के बाद अमेरिका ने जी 7 देशों के साथ की बैठक, इजरायल के लिए खींची लक्ष्मण रेखा
Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com