अमेरिका ने शुक्रवार को इस बात की पुष्टि की कि अमेरिकियों को बचाने के लिए उसके सशस्त्र ड्रोन बगदाद के ऊपर उड़ान भर रहे हैं, वहीं इराकी बलों ने तिकरित में एक रणनीतिक महत्व वाले विश्वविद्यालय के परिसर पर कब्जा पाने के लिए संघर्ष किया और दहशतगर्दों के कब्जे वाले तिकरित में हवाई हमले किए।
सैन्य कार्रवाई ऐसे समय में हुई है, जब शियाओं के शीर्ष गुरु ने देश के नेताओं से एकजुट होने का अनुरोध किया है। इससे पहले प्रधानमंत्री नूरी अल मलिकी ने स्वीकार किया था कि जिहादियों के हौसलों को नेस्तानाबूद करने के लिए राजनीतिक कदम उठाने की जरूरत है।
आतंकवादियों के हमलों में अब तक 1,000 से ज्यादा लोग मारे जा चुके हैं और पांच प्रांतों के बड़े हिस्सों पर उन्होंने कब्जा कर लिया है। इस बीच अंतरराष्ट्रीय एजेंसियों ने हिंसा के मानवीय निष्कर्षों को लेकर चेतावनी दी।
पिछले दिनों उत्तर में इसाई बहुल एक कस्बे से करीब 10,000 लोगों ने पलायन किया और इस साल इराक में अशांति से अब तक 12 लाख लोग पलायन कर चुके हैं।
अमेरिका के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि अमेरिकी सेना बगदाद में मौजूद अमेरिकी जवानों और राजनयिकों को जरूरत पड़ने पर बचाने के लिए कुछ सशस्त्र ड्रोनों को उड़ा रही है। लेकिन अधिकारियों ने कहा कि ड्रोनों का इस्तेमाल आतंकवादियों के खिलाफ हमलों के लिए नहीं किया जाएगा।
इराकी बलों ने गुरुवार को हेलीकॉप्टरों के माध्यम से तिकरित यूनिवर्सिटी पर धावा बोला और पुलिस के एक अधिकारी के अनुसार शुक्रवार को परिसर में कई बार संघर्ष की स्थिति पैदा हुई।
सेना के एक आला अधिकारी ने कहा कि इराकी बल तिकरित में हवाई हमले करके आतंकवादियों पर निशाना साध रहे हैं और यूनिवर्सिटी में तैनात जवानों को संरक्षण देने का प्रयास कर रहे हैं। अधिकारी ने बताया कि तिकरित के आसपास हमलों के लिए जवानों को तैनात किया गया है।
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