अमेरिका की नेशनल स्पेस सोसाइटी (एनएसएस) ने मंगल अभियान से जुड़े भारतीय दल को विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी श्रेणी में स्पेस पायनियर अवॉर्ड-2015 से सम्मानित करने की घोषणा की है।
वाशिंगटन में सोमवार को जारी बयान के अनुसार, एनएसएस ने कहा कि विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी श्रेणी में स्पेस पायनियर अवॉर्ड 2015 भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) के मार्स ऑर्बिटर प्रोग्राम को दिया जाता है।
बयान में कहा गया, 'यह पुरस्कार कनाडा के टोरंटो में आयोजित एनएसएस के 34वें इंटरनेशनल स्पेस डेवलपमेंट कांफ्रेंस 2015 के दौरान इसरो के प्रतिनिधि को सौंपा जाएगा।'
एनएसएस की कॉन्फ्रेंस 20 से 24 मई तक आयोजित की जाएगी। एनएसएस के मुताबिक, भारत का मार्स ऑर्बिटर पांच नवंबर 2013 को लांच किया गया था, जो 24 सितंबर 2014 को मंगल ग्रह के कक्ष में पहुंच गया। इसके साथ ही भारत पहले ही प्रयास में मंगल के कक्ष में सफलतापूर्वक यान भेजने वाला विश्व का पहला राष्ट्र बन गया। इसके अलावा भारत का मार्स ऑर्बिटर पहला अंतरिक्ष यान है, जो हाई रेजोल्यूशन कैमरे से युक्त है और मंगल की रंगीन तस्वीरें लेने में सक्षम है।
बयान में यह भी जानकारी दी गई कि बेंगलुरु स्थित भारत के मार्स ऑर्बिटर प्रोग्राम दल का नेतृत्व माइलस्वामी अन्नादुरै ने किया था। एनएसएस एक स्वतंत्र गैर-लाभकारी शिक्षण सदस्यता संगठन है।
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