मेटा के सीईओ मार्क जुकरबर्ग ने कंपनी से 11,000 कर्मचारियों के निकाले जाने के बाद एक बड़ा बयान दिया है. उन्होंने बुधवार को एक वीडियो कॉल में इस छटनी को लेकर खुदको जिम्मेदार ठहराया है. उन्होंने इस कॉल के दौरान कहा कि जिन कर्मचारियों को नौकरी से निकाला गया है उनकी जमकर तारीफ भी की. मेटा ने बीते दिनों 13फीसदी कर्मचारियों को नौकरी से निकाल दिया था.
मार्क जुकरबर्ग के वीडियो कॉल की लीक हुई रिकॉर्डिंग के अनुसार इस वीडियो कॉल में जुकरबर्ग ने कर्मचारियों को निकाले जाने के लिए खुदको जिम्मेदार माना है. उन्होंने इस वीडियो कॉल के दौरान कहा कि मैं ये स्वीकार करना चाहता हूं कि जिन भी लोगों जाने दिए गया है, उसके लिए मैं जिम्मेदार हूं.
#Zuckerberg: "I want to say, upfront, that I take full responsibility."
— Cory Provost (@coryprovost) November 9, 2022
Then fires 11,000 employees instead of himself. #Meta pic.twitter.com/7XWxUQaKno
बता दें कि कंपनी से हटाए जाने वाले स्टाफ को 16 सप्ताह की बेस पे के साथ ही प्रत्येक वर्ष की सर्विस के लिए दो अतिरिक्त सप्ताह की बेस पे दी जाएगी। इसके अलावा छह महीने की हेल्थकेयर कॉस्ट का भी कंपनी भुगतान करेगी। मेटा ने बताया कि वह गैर जरूरी खर्च को घटाने के साथ ही अगले वर्ष की पहली तिमाही तक हायरिंग को रोकने की भी योजना बना रही है।
मेटा ने कई वर्षों से लगातार ग्रोथ की थी लेकिन इस वर्ष की शुरुआत में उसके प्रति दिन के यूजर्स में पहली बार कमी हुई थी। कंपनी की शुरुआत से यह पहली बार है कि जब इतनी बड़ी संख्या में स्टाफ को बाहर किया जा रहा है। Zuckerberg ने एनालिस्ट्स को बताया था, "यह मुश्किल दौर है और मुझे कम रिसोर्सेज के साथ अधिक काम करने की उम्मीद है।" इकोनॉमिक स्लोडाउन के कारण बड़ी टेक कंपनियों के बिजनेस पर असर पड़ा है.
इस वजह से मार्केटिंग के बजट में भी कमी की जा रही है। बड़ी ई-कॉमर्स कंपनियों में शामिल Amazon ने भी इस वर्ष वर्कफोर्स घटाने की घोषणा की थी। जकरबर्ग को कंपनी की रीब्रांडिंग और मेटावर्स पर फोकस बढ़ाने से भारी नुकसान हुआ है। इस वर्ष उनकी वेल्थ लगभग आधी कम हो गई है।
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