वॉशिंगटन:
अफगानिस्तान में भारत की भूमिका के बारे में चक हेगल की टिप्पणियों से उठे विवाद के बाद स्थिति को सुधारने की कोशिश के तहत पेंटागन ने गुरुवार को कहा कि नए रक्षामंत्री भारत के साथ रणनीतिक साझेदारी तथा करीबी रक्षा संबंध बनाने के लिए प्रतिबद्ध हैं।
पेंटागन के प्रवक्ता जॉर्ज लिटल ने ऑनलाइन अखबार वॉशिंगटन फ्री बेकन से कहा ‘रक्षामंत्री हेगल भारत के साथ रणनीतिक साझेदारी तथा उन रक्षा संबंधों को और गहरा करने के लिए प्रतिबद्ध हैं जो उनके पूर्ववर्ती लियोन पैनेटा, उपमंत्री एश्टन कार्टर तथा उनके भारतीय समकक्षों ने बनाए।’
लिटल को यह कहते हुए उद्धृत किया गया है ‘रक्षामंत्री हेगल भारतीय राष्ट्रीय सुरक्षा और रक्षा अधिकारियों के साथ मिल कर काम करने के लिए उत्सुक हैं।’ दक्षिणपंथी ऑनलाइन अखबार फ्री बेकन ने इसी सप्ताह हेगल का वर्ष 2011 का जारी न किया गया वह भाषण अपलोड किया था जिसमें उन्होंने अफगानिस्तान में भारत की भूमिका की कड़ी आलोचना की थी।
अफगानिस्तान में भारत की भूमिका को लेकर अमेरिकी नजरिये से ठीक विपरीत हेगल ने आरोप लगाया था कि भारत ने अफगानिस्तान में वित्तीय सहायता के माध्यम से पाकिस्तान के लिए समस्या खड़ी की।
यह टिप्पणियां हेगल ने ओकलाहोमा के कैमरन विश्वविद्यालय में वर्ष 2011 में की थीं। इस पर भारत ने कड़ी प्रतिक्रिया जताई थी। भारत ने कहा था कि ऐसी टिप्पणियां अफगान लोगों के कल्याण के लिए उसके समर्पित भाव से किए गए काम की सच्चाई से परे हैं।
हेगल ने भाषण में कहा था ‘कुछ समय से भारत ने अफगानिस्तान को एक दूसरे मोर्चे के तौर पर उपयोग किया और अफगानिस्तान में वित्तीय सहायता के माध्यम से भारत ने पाकिस्तान के लिए समस्या खड़ी की।’
इस पर प्रतिक्रिया में यहां स्थित भारतीय दूतावास ने कहा था ‘सीनेटर हेगल लंबे समय से भारत के मित्र रहे हैं और भारत अमेरिका संबंधों की उन्होंने पुरजोर वकालत भी की। उनकी ओर से की गई ऐसी टिप्पणियां अफगान लोगों के कल्याण के लिए भारत के समर्पित भाव से किए गए काम की सच्चाई से परे हैं।’
पेंटागन के प्रवक्ता जॉर्ज लिटल ने ऑनलाइन अखबार वॉशिंगटन फ्री बेकन से कहा ‘रक्षामंत्री हेगल भारत के साथ रणनीतिक साझेदारी तथा उन रक्षा संबंधों को और गहरा करने के लिए प्रतिबद्ध हैं जो उनके पूर्ववर्ती लियोन पैनेटा, उपमंत्री एश्टन कार्टर तथा उनके भारतीय समकक्षों ने बनाए।’
लिटल को यह कहते हुए उद्धृत किया गया है ‘रक्षामंत्री हेगल भारतीय राष्ट्रीय सुरक्षा और रक्षा अधिकारियों के साथ मिल कर काम करने के लिए उत्सुक हैं।’ दक्षिणपंथी ऑनलाइन अखबार फ्री बेकन ने इसी सप्ताह हेगल का वर्ष 2011 का जारी न किया गया वह भाषण अपलोड किया था जिसमें उन्होंने अफगानिस्तान में भारत की भूमिका की कड़ी आलोचना की थी।
अफगानिस्तान में भारत की भूमिका को लेकर अमेरिकी नजरिये से ठीक विपरीत हेगल ने आरोप लगाया था कि भारत ने अफगानिस्तान में वित्तीय सहायता के माध्यम से पाकिस्तान के लिए समस्या खड़ी की।
यह टिप्पणियां हेगल ने ओकलाहोमा के कैमरन विश्वविद्यालय में वर्ष 2011 में की थीं। इस पर भारत ने कड़ी प्रतिक्रिया जताई थी। भारत ने कहा था कि ऐसी टिप्पणियां अफगान लोगों के कल्याण के लिए उसके समर्पित भाव से किए गए काम की सच्चाई से परे हैं।
हेगल ने भाषण में कहा था ‘कुछ समय से भारत ने अफगानिस्तान को एक दूसरे मोर्चे के तौर पर उपयोग किया और अफगानिस्तान में वित्तीय सहायता के माध्यम से भारत ने पाकिस्तान के लिए समस्या खड़ी की।’
इस पर प्रतिक्रिया में यहां स्थित भारतीय दूतावास ने कहा था ‘सीनेटर हेगल लंबे समय से भारत के मित्र रहे हैं और भारत अमेरिका संबंधों की उन्होंने पुरजोर वकालत भी की। उनकी ओर से की गई ऐसी टिप्पणियां अफगान लोगों के कल्याण के लिए भारत के समर्पित भाव से किए गए काम की सच्चाई से परे हैं।’
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