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This Article is From Nov 12, 2020

राष्ट्रपति चुनाव में जो बाइडेन से हारने के बाद पहली बार सामने आए डोनाल्ड ट्रम्प

वॉशिंगटन में बरिश के बीच राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प अर्लिंग्टन नेशनल कब्रिस्तान में एक समारोह में पहुंचे

राष्ट्रपति चुनाव में जो बाइडेन से हारने के बाद पहली बार सामने आए डोनाल्ड ट्रम्प
राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प चुनाव के बाद आधिकारिक तौर पर पहली बार लोगों के सामने आए.
वाशिंगटन:

अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प चुनाव के बाद बुधवार को आधिकारिक तौर पर पहली बार लोगों के सामने आए. यह राष्ट्रीय एकता के प्रतीक वेटरन्स डे का मौका था, हालांकि ट्रम्प जो बायडेन की जीत को स्वीकार करने के लिए तैयार नहीं हैं. वॉशिंगटन में बरिश के बीच राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प अर्लिंग्टन नेशनल कब्रिस्तान में एक समारोह में पहुंचे. चार दिन पहले ही अमेरिकी मीडिया ने उनके डेमोक्रेटिक प्रतिद्वंद्वी के व्हाइट हाउस में जाने का रास्ता साफ होने की घोषणा की थी. 

ट्रम्प ने चुनाव के परिणाम आने के बाद से ट्विटर के जरिए राष्ट्र को संबोधित नहीं किया है. वेटरन्स डे पर उन्होंने  बयान जारी करके बाइडेन की जीत स्वीकार नहीं की, जबकि अमेरिकी चुनाव के बाद ऐसा करने की परंपरा है.

कोविड 19 के मामले में देश भर में रिकॉर्ड टूट रहे हैं और सर्दी आने से पहले कोरोना वायरस को रोकने के लिए नए प्रतिबंध लगाए गए हैं. ट्रम्प ने अर्लिंग्टन का काफी संक्षिप्त दौरा किया और उन्होंने राष्ट्रपति पद के सभी सामान्य कर्तव्य पूरे किए. उन्होंने कोई सार्वजनिक टिप्पणी नहीं की.

ट्रम्प प्रेसेंडीशियल मेंशन में खुद को बंद किए हैं और वास्तविकता से मुंह मोड़ते हुए खुद के जीतने का दावा कर रहे हैं. वे मतदान में धोखाधड़ी का आरोप लगाते हुए मुकदमे दायर कर रहे हैं. इस बारे में उनके अब तक के दावे सिर्फ छिछले सबूतों पर आधारित हैं.

राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के रक्षा मंत्री मार्क एस्पर को हटाने के एक दिन बाद उनके तीन विश्वासपात्र लोगों को रक्षा मंत्री पद के लिए नामित किया गया है. इन तीन लोगों में ‘फॉक्स न्यूज' के पूर्व कमेंटेटर भी शामिल हैं जो इस्लाम सहित अन्य मुद्दों पर आक्रामक टिप्पणी के कारण सीनेट के लिए नहीं चुने जा सके. इस अचानक बदलाव से नागरिक एवं सैन्यकर्मी आशंकित हैं कि पता नहीं, अगला नंबर किसका हो सकता है. साथ ही जो लोग ट्रंप के वफादार नहीं हैं वे भी इस घटनाक्रम को लेकर चिंतित हैं.

निर्वाचित राष्ट्रपति जो बाइडन के शपथ लेने से एक महीने पहले ट्रंप प्रशासन द्वारा उठाए जाने वाले कदमों को लेकर पेंटागन में चिंता बनी हुई है. इस बात को लेकर भी कयास लगाए जा रहे हैं कि क्या ऐतिहासिक रूप से गैर राजनीतिक रही सेना का राजनीतिकरण करने का बृहद् प्रयास होगा? 20 जनवरी को नए राष्ट्रपति के शपथ ग्रहण से पहले हालांकि नीतिगत निर्णयों में बड़े बदलाव की उम्मीद नहीं है. बहरहाल, चुनाव में हार स्वीकार करने से ट्रंप के मना करने के कारण सत्ता हस्तांतरण में बाधा आने की संभावना और बढ़ गई है.

नीति के लिए कार्यवाहक उपमंत्री जेम्स एंडरसन ने मंगलवार की सुबह इस्तीफा दे दिया और उनकी जगह सेना के सेवानिवृत्त जनरल एंथनी टाटा को नियुक्त किया गया. कुछ समय बाद ही नौसेना से सेवानिवृत्त वायस एडमिरल जोसफ करनन ने खुफिया विभाग के उपमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया. करनन के स्थान पर एजरा कोहेन वाटनिक को नियुक्त किया गया.

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