यंगून:
अमेरिका के राष्ट्रपति बराक ओबामा सोमवार को म्यांमार पहुंचे। वह इस दक्षिण एशियाई देश का दौरा करने वाले पहले अमेरिकी राष्ट्रपति हैं। उन्होंने लोकतंत्र समर्थक नेता आंग सान सू ची से मुलाकात की और कहा कि यह देश सुधार के पथ पर आगे बढ़ रहा है।
ओबामा का म्यांमार दौरा ऐसे समय में हो रहा है, जब अमेरिका द्वारा प्रतिबंधों में ढील दिए जाने के बाद दोनों देशों के बीच सम्बंधों में गरमाहट आ गई है। अमेरिका ने प्रतिबंधों में यह ढील राष्ट्रपति यू थेन सेन की सरकार द्वारा शुरू किए गए लोकतांत्रिक सुधारों की प्रतिक्रिया में दी है। राष्ट्रपति थेन सेन ने 30 मार्च, 2011 को पदभार सम्भाला था।
समाचार एजेंसी सिन्हुआ के अनुसार शनिवार को शुरू हुए दक्षिण पूर्व एशियाई देशों- थाईलैंड, म्यांमार और कम्बोडिया- के अपने चार दिवसीय दौरे के हिस्से के रूप में ओबामा दौरे के प्रथम पड़ाव में थाईलैंड से म्यांमार पहुंचे।
ओबामा ने कहा कि म्यांमार सुधार के पथ पर है और उसे काफी आगे जाना है।
बीबीसी के मुताबिक उन्होंने कहा कि वह वहां दोस्ती का हाथ बढ़ाने के लिए गए हैं।
ओबामा ने सोमवार को विपक्षी पार्टी नेशनल लीग फॉर डेमोक्रैसी की नेता और सांसद आंग सान सू ची से उनके यांगून स्थित आवास पर मुलाकात की।
इससे पहले उन्होंने यांगून क्षेत्र संसद भवन में राष्ट्रपति यू थेन सेन से मुलाकात की।
नोबेल पुरस्कार विजेता सू ची ने कहा कि म्यांमार और अमेरिका की दोस्ती दीर्घकालिक है और उन्होंने उम्मीद जताई की अमेरिका म्यांमार में लोकतांत्रिक बदलाव का समर्थन करता रहेगा।
दोबारा राष्ट्रपति बनने के बाद ओबामा शनिवार को अपने पहले आधिकारिक विदेश दौरे पर निकले हैं। ओबामा और विदेश मंत्री हिलेरी क्लिंटन को लेकर एयर फोर्स वन विमान यांगून अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर उतरा।
म्यांमार के विदेश मंत्री यू वुन्ना मौंग ल्विंग, यांगून क्षेत्र के मुख्यमंत्री यू मिंट स्वे और म्यांमार में अमेरिकी राजदूत डेरेक माइकल ने हवाई अड्डे पर ओबामा की अगवानी की।
यांगून रीजनल पार्लियामेंट इमारत में पहुंचने पर ओबामा ने म्यांमार के राष्ट्रपति यू थेन सेन से मुलाकात की। राष्ट्रपति थेन सेन ओबामा का स्वागत करने के लिए एक दिन पहले ही नोम पेन्ह में आयोजित आसियान शिखर सम्मेलन से स्वदेश लौटे हैं।
ओबामा ने थेन सेन के साथ द्विपक्षीय सम्बंध और प्रजातांत्रिक सुधारों पर बात की।
ओबामा का म्यांमार दौरा ऐसे समय में हो रहा है, जब अमेरिका द्वारा प्रतिबंधों में ढील दिए जाने के बाद दोनों देशों के बीच सम्बंधों में गरमाहट आ गई है। अमेरिका ने प्रतिबंधों में यह ढील राष्ट्रपति यू थेन सेन की सरकार द्वारा शुरू किए गए लोकतांत्रिक सुधारों की प्रतिक्रिया में दी है। राष्ट्रपति थेन सेन ने 30 मार्च, 2011 को पदभार सम्भाला था।
समाचार एजेंसी सिन्हुआ के अनुसार शनिवार को शुरू हुए दक्षिण पूर्व एशियाई देशों- थाईलैंड, म्यांमार और कम्बोडिया- के अपने चार दिवसीय दौरे के हिस्से के रूप में ओबामा दौरे के प्रथम पड़ाव में थाईलैंड से म्यांमार पहुंचे।
ओबामा ने कहा कि म्यांमार सुधार के पथ पर है और उसे काफी आगे जाना है।
बीबीसी के मुताबिक उन्होंने कहा कि वह वहां दोस्ती का हाथ बढ़ाने के लिए गए हैं।
ओबामा ने सोमवार को विपक्षी पार्टी नेशनल लीग फॉर डेमोक्रैसी की नेता और सांसद आंग सान सू ची से उनके यांगून स्थित आवास पर मुलाकात की।
इससे पहले उन्होंने यांगून क्षेत्र संसद भवन में राष्ट्रपति यू थेन सेन से मुलाकात की।
नोबेल पुरस्कार विजेता सू ची ने कहा कि म्यांमार और अमेरिका की दोस्ती दीर्घकालिक है और उन्होंने उम्मीद जताई की अमेरिका म्यांमार में लोकतांत्रिक बदलाव का समर्थन करता रहेगा।
दोबारा राष्ट्रपति बनने के बाद ओबामा शनिवार को अपने पहले आधिकारिक विदेश दौरे पर निकले हैं। ओबामा और विदेश मंत्री हिलेरी क्लिंटन को लेकर एयर फोर्स वन विमान यांगून अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर उतरा।
म्यांमार के विदेश मंत्री यू वुन्ना मौंग ल्विंग, यांगून क्षेत्र के मुख्यमंत्री यू मिंट स्वे और म्यांमार में अमेरिकी राजदूत डेरेक माइकल ने हवाई अड्डे पर ओबामा की अगवानी की।
यांगून रीजनल पार्लियामेंट इमारत में पहुंचने पर ओबामा ने म्यांमार के राष्ट्रपति यू थेन सेन से मुलाकात की। राष्ट्रपति थेन सेन ओबामा का स्वागत करने के लिए एक दिन पहले ही नोम पेन्ह में आयोजित आसियान शिखर सम्मेलन से स्वदेश लौटे हैं।
ओबामा ने थेन सेन के साथ द्विपक्षीय सम्बंध और प्रजातांत्रिक सुधारों पर बात की।
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