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शामली में बुर्का न पहनने पर ट्रिपल मर्डर: चेहरा ना दिखे इसलिए नहीं बनवाया पत्नी का आधार कार्ड

संभल में पत्नी और दो बेटियों की हत्या के आरोप में गिरफ्तार किए गए फारूख ने कई सनसनीखेज खुलासे किए हैं. उसने बताया है कि पत्नी का आधार और राशन कार्ड इसलिए नहीं बनवाया, क्योंकि उस पर उसे अपनी पत्नी की फोटो लगानी पड़ेगी.

शामली में बुर्का न पहनने पर ट्रिपल मर्डर: चेहरा ना दिखे इसलिए नहीं बनवाया पत्नी का आधार कार्ड
संभल:

उत्तर प्रदेश के शामली में पत्नी और दो बेटियों की हत्या में इस्तेमाल किया गया हथियार बरामद कर लिया है. हत्यारोपी फारूख की निशानदेही पर यह बरामदगी की गई है. पुलिस ने आरोपी के पास से तीन 315 बोर के तमंचे, सात खोखे और 10 जिंदा  कारतूस बरामद किए हैं.फारूक धर्म के प्रति इतना कट्टरपंथी था कि 18 साल से उसने अपनी बीवी का आधार कार्ड भी नहीं बनवाया था. उसे लगता था कि आधार कार्ड और राशन कार्ड बनवाने पर उसकी बीवी की फोटो उस पर लगवानी पड़ेगी.आरोपी फारूख शादी-ब्याह में खाना बनाने का काम करता है.

शामली के पुलिस अधीक्षक ने बताया कि जांच में यह पता चला है कि वह 18 साल से अपनी बीवी को बुर्का और नकाब में रखता था.उन्होंने बताया कि अगर घर से बीवी को मायके जाना होता था तो वह कैब बुक कराकर देता था. इसके अलावा जब फारूक के ससुर उसके घर आते थे तो वह अपनी पत्नी को अपने पिता से भी मिलने नहीं देता था. उसके परिवार में पत्नी ताहिरा (32) के अलावा पांच बच्चे आफरीन (14), आसमीन (10), सहरीन (सात), बिलाल (नौ) और अरशद (पांच) शामिल हैं.उस पर पत्नी ताहिरा, बेटी आफरीन और सहरीन की हत्या का आरोप है.

कैसे खुला हत्या का राज

इस हत्याकांड के खुलासे से पहले फारूख की पत्नी और दो बेटियां छह दिन से लापता थीं.फारूख के पिता दाउद ने उससे कई बार पत्नी और बेटियों के बारे में पूछा, लेकिन वह टालमटोल करता रहा. उसने बताया कि उसने उन्हें शामली में किराए के मकान में रखा है. जब दाउद को संतोषजनक जवाब नहीं मिला, तो उन्होंने मंगलवार शाम पुलिस को सूचना दी और बेटे पर हत्या का शक जताया.पुलिस ने फारूख को हिरासत में लेकर पूछताछ की तो उसने सनसनीखेज खुलासा किया. फारूख ने बताया कि उसकी पत्नी अक्सर उससे झगड़ा करती थी और अपने तरीके से घर चलाना चाहती थी. इसके अलावा, एक माह पहले वह बिना बुर्का पहने मायके चली गई थी, इससे उसकी इज्जत खराब हो गई.इसी बात से नाराज होकर उसने 10 दिसंबर की रात करीब 12 बजे रसोई में ताहिरा को गोली मार दी.

हत्या के समय गोली की आवाज सुनकर उसकी बड़ी बेटी आफरीन जाग गई. जब वह मौके पर पहुंची तो फारूख ने उसे भी गोली मार दी. दूसरी बेटी सहरीन, जब वहां आई तो उसने उसका गला दबाकर हत्या कर दी. तीनों की हत्या के बाद फारूख ने शवों को आंगन में बने शौचालय के लिए खोदे गए नौ फीट गहरे गड्ढे में दबा दिया और ऊपर ईंटों का फर्श बिछा दिया था. 

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