विज्ञापन
This Article is From Jun 29, 2011

फेडरर हारे, सानिया को मिली दोहरी जीत

फेडरर विंबलडन के पुरुषों के एकल मुकाबलों के क्वार्टर फाइनल में चेक गणराज्य के खिलाड़ी थॉमस बेरडिक के हाथों हार गए।
क्या हमारी AI समरी आपके लिए उपयोगी रही?
हमें बताएं।
लंदन: विम्बलडन में बुधवार का दिन भारत के लिए सुखद रहा। भारत की स्टार टेनिस खिलाड़ी सानिया मिर्जा महिलाओं के युगल मुकाबले के सेमीफाइनल में पहुंच गई और मिश्रित मुकाबलों के अगले दौर में प्रवेश किया वहीं विश्व के तीसरी वरीयता प्राप्त स्विट्जरलैंड के टेनिस खिलाड़ी रोजर फेडरर को उलटफरे का शिकार होकर प्रतियोगिता से बाहर होना पड़ा। इस हार के साथ ही अमेरिका के पूर्व खिलाड़ी पीट सैम्प्रास के सात बार विम्बलडन खिताब जीतने की बराबरी करने का उनका सपना अधूरा ही रह गया। फ्रांस के टेनिस स्टार जो विल्फ्रेड सोंगा ने विम्बलडन-2011 का सबसे बड़ा उलटफेर करते हुए छह बार के विम्बलडन विजेता फेडरर को पराजित कर दिया और सात विम्बलडन जीतकर पीट सैम्प्रास के रिकार्ड की बराबरी करने के उनके सपने को चकनाचूर कर दिया। इस साल के विम्बलडन के अब तक के सबसे रोमांचक मुकाबले में सोंगा ने फेडरर को 3-6, 6-7 (3), 6-4, 6-4, 6-4 से पराजित किया। मजे की बात तो यह है कि फेडरर ने पहले दोनों सेट जीत लिए थे और ऐसा लग रहा था कि वह आसानी से सेमीफाइनल में जगह बना लेंगे लेकिन तीसरे सेट में सोंगा ने ऐसी जबरदस्त वापसी की उन्होंने फेडरर के लिए कोई मौका ही नहीं छोड़ा। सोंगा ने अंतिम के तीनों सेट 6-4, 6-4, 6-4 से जीत विम्बलडन में इतिहास बना दिया। सोंगा का विम्बलडन में इससे पहले का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन पिछले वर्ष रहा था, जहां उन्होंने क्र्वोटरफाइनल तक का सफर तय किया था। ब्रिटेन के महान खिलाड़ी विलियम रेनशॉ (1881-1889) और सैम्प्रास (1993-2000) ने इस प्रतिष्ठित खिताब पर अब तक सात-सात बार कब्जा जमाया है जबकि फेडरर ने अब तक छह बार विम्लबडन खिताब अपने नाम किया है। फेडरर ने इस खिताब को पहली बार 2003 में जीता था। इसके बाद उन्होंने 2004, 2005, 2006, 2007 और 2009 में विम्बलडन का एकल खिताब अपने नाम किया था। उल्लेखनीय है कि फेडरर को पिछले वर्ष आस्ट्रेलियन ओपन का खिताब जीतने के बाद मौजूदा वर्ष के पहले ग्रैंड स्लैम आस्ट्रेलियन ओपन और फ्रेंच ओपन में हार का सामना करना पड़ा है। 16 बार के ग्रैंड स्लैम विजेता फेडरर को हाल ही में विश्व के शीर्ष वरीयता प्राप्त स्पेनिश खिलाड़ी राफेल नडाल ने खिताबी मुकाबले में हरा दिया था। इससे पहले, वर्ष के पहले ग्रैंड स्लैम आस्ट्रेलियन ओपन के सेमीफाइनल में फेडरर को विश्व के दूसरी वरीयता प्राप्त सर्बिया के नोवाक जोकोविक ने शिकस्त दी थी। बुधवार को ही खेले गए पुरूषों के एक अन्य एकल मुकाबले में ब्रिटेन के एंडी मरे ने शानदार जीत के साथ सेमीफाइनल में जगह बनाई। वर्ष 2009 और 2010 में सेमीफाइनल में पहुंचकर खिताब से दो कदम दूर रहे चौथी वरीयता प्राप्त मरे ने इस बार क्वोर्टर फाइनल मुकाबले में स्पेन के फेलिसियानो लापेज को 6-3, 6-4, 6-4 से पराजित किया। 75 वर्षो से ब्रिटेन का ग्रैंड स्लैम का सूखा खत्म करने को आतुर दिख रहे ब्रिटेन के सबसे अच्छे टेनिस स्टार मरे ने चौथे दौर के मुकाबले में फ्रांस के रिचर्ड गास्क्वेट को 7-6, 6-3, 6-2 से पराजित किया था। स्पेन के राफेल नडाल और अमेरिका के मार्डी फिश के बीच बुधवार को खेले जा रहे अन्य क्वोर्टर फाइनल मुकाबले में जीतने वाले खिलाड़ी से मरे का सेमीफाइनल में मुकाबला होगा। सर्बिया के टेनिस स्टार नोवाक जोकोविक एकल मुकाबलों के सेमीफाइनल में पहुंच गए हैं। जोकोविक तीसरी बार सेमीफाइनल में पहुचे हैं। इससे पहले वह 2007 और 2010 में अंतिम-4 दौर में पहुंचे थे। जोकोविक ने क्वार्टर फाइनल मुकाबले में आस्ट्रेलिया के बनार्ड टोमिक को 6-2, 3-6, 6-3, 7-5 से पराजित किया। भारत की सानिया मिर्जा और रूस की एलेना वेसनीना की जोड़ी महिलाओं के युगल मुकाबलों के सेमीफाइनल में पहुंच गई है। फ्रेंच ओपन का फाइनल खेल चुकी सानिया-वेसनीना ने क्वार्टर फाइनल मुकाबले में स्पेन की एन. लागोस्तेरा वाइवेस और पारा सांतोन्जा की जोड़ी को 3-6, 6-4, 7-5 से पराजित किया। तीसरे दौर में इस जोड़ी ने मंगलवार को स्वोवाकिया की डेनिएला हंतुचोवा और पोलैंड की अगनिस्का रेडवांस्का की जोड़ी को हराया था। सानिया 2010 में युगल के दूसरे दौर में ही हार गई थीं। अगले दौर में सानिया और वेसनीना का सामना चीन की शुआई पेंग और जेई झेंग तथा चेक गणराज्य की क्वेता पेश्च्के और स्लोवाकिया की कैटरीना श्रेबोतनिक की जोड़ी के बीच होने वाले मुकाबले के विजेता से होगा। सानिया मिर्जा और सोमदेव देबवर्मन की जोड़ी मिश्रित मुकाबलों के तीसरे दौर में पहुंच गई। दूसरे दौर के मुकाबले में भारतीय जोड़ी ने ब्रिटेन के जेमी मरे और आस्ट्रेलिया की जर्मिला गजदोसोवा की जोड़ी को सीधे सेटों में 7-6, 6-2 से पराजित किया। भारतीय जोड़ी ने पहला सेट टाइ ब्रेकर में जीता और दूसरा सेट आसानी से अपने नाम कर अगले दोर में जगह बना ली। सानिया और बोपन्ना की जोड़ी का अगले दौर में चेक गणराज्य के मार्टिन डेम और रेनाटा वोरासोवा की जोड़ी से होगा।

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे:
विंबलडन, फेडरर, हार, 2011, Wimbledon, Fedrer
Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com