राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) की नवनियुक्त कार्यकारी अध्यक्ष सुप्रिया सुले ने अपने चचेरे भाई अजीत पवार के उनके पदोन्नति के बाद 'नाखुश' होने के दावों का खंडन किया और उन्हें 'अफवाह' करार दिया. 10 जून को एनसीपी स्थापना दिवस पर, पार्टी प्रमुख शरद पवार ने सुप्रिया सुले और वरिष्ठ नेता प्रफुल्ल पटेल को पार्टी का कार्यकारी अध्यक्ष नियुक्त किया. अध्यक्ष के रूप में काम करने के अलावा, सुश्री सुले को महाराष्ट्र का प्रभारी भी बनाया गया है, जिसे अजीत पवार संभाल रहे थे.
सुप्रिया सुले ने रविवार को एएनआई से बात करते हुए ने कहा, "कौन कहता है कि वह (अजीत पवार) खुश नहीं हैं, क्या किसी ने उनसे पूछा है? ये खबरें अफवाह हैं."
इससे पहले दिन में सुप्रिया सुले ने पुणे का दौरा किया और पार्टी के कई कार्यकर्ताओं से मुलाकात की. कार्यकर्ताओं ने उनका अभिनंदन भी किया. पार्टी का कार्यकारी अध्यक्ष नियुक्त किए जाने के बाद सुप्रिया सुले की पुणे की यह पहली यात्रा थी. सुप्रिया सुले ने रविवार दोपहर पुणे शहर के गांधी भवन में महात्मा गांधी की प्रतिमा पर भी श्रद्धांजलि अर्पित की.
इससे पहले शनिवार को अजित पवार ने भी अपने असंतोष की खबरों को खारिज करते हुए कहा था कि वह पार्टी के फैसले से खुश हैं. अजित पवार ने कहा, "कुछ मीडिया चैनल ने ऐसी खबरें चलाईं कि अजित पवार को कोई जिम्मेदारी नहीं मिली, मैं उन्हें बताना चाहता हूं कि मेरे पास महाराष्ट्र में नेता प्रतिपक्ष की जिम्मेदारी है." उन्होंने कहा कि वह स्वेच्छा से राज्य की राजनीति में सक्रिय हैं. महाराष्ट्र के पूर्व उपमुख्यमंत्री ने कहा, "पिछले कई वर्षों से, सुप्रिया दिल्ली में हैं. मैं राज्य की राजनीति में सक्रिय हूं. मेरे पास राज्य की जिम्मेदारी है, क्योंकि मैं यहां का विपक्ष का नेता हूं."
इस बीच, दिल्ली में कार्यक्रम के बाद शरद पवार ने उन अटकलों को खारिज किया कि सुले की नियुक्ति से उनके भतीजे अजित पवार नाखुश हैं. पवार ने कहा कि यह सुझाव उन्होंने (अजीत पवार) दिया था। तो उनके खुश या नाखुश होने का सवाल ही कहां है.
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