राम मंदिर निर्माण के बीच अयोध्या में भक्तों के सुगम आगमन को लेकर उत्तर प्रदेश सरकार ने मंदिर स्थल के लिए तीन मुख्य मार्गों को मंजूरी दी है. सरकारी अधिकारियों ने बताया कि इनमें से दो मार्गों को बनाने का काम पहले से ही चल रहा है. इन तीन मार्गों में से एक, जिसे राम पथ नाम दिया जाएगा, 13 किलोमीटर की दूरी तय करेगा और सहादतगंज को नया घाट से जोड़ेगा. जहां 400 करोड़ रुपये की लागत से सड़क का निर्माण होना है, वहीं टेंडर की प्रक्रिया पूरी कर ली गई है. सरकार से मंजूरी मिलने के बाद एक कमेटी ने मुख्य मार्ग का सर्वे भी किया है.
राम मंदिर तक जाने के लिए मुख्य मार्ग का निर्माण कार्य शुरू होने से पहले मार्ग पर स्थानीय लोगों, जिनके पास घर या दुकान या अन्य प्रतिष्ठान हैं, उनका पुनर्वास किया जाएगा.
दूसरा मार्ग, जिसे श्री राम जन्मभूमि पथ कहा जाएगा, बिड़ला धर्मशाला को सुग्रीव किले के माध्यम से श्री राम जन्मभूमि मंदिर से जोड़ेगा. इस मार्ग को बनाने का काम जोरों पर है. पहले जहां काम नवंबर तक पूरा होने का अनुमान था, वहीं अब अधिकारियों का कहना है कि काम दिसंबर तक चलेगा. अयोध्या मंडल के आयुक्त नवदीप रिनवा ने कहा, "इस साल दिसंबर तक हमारे पास मार्ग तैयार हो जाएगा."
तीसरा मार्ग श्रीराम जन्मभूमि मंदिर को हनुमानगढ़ी होते हुए सिंगार घाट से जोड़ेगा. अधिकारियों ने कहा कि इस मार्ग पर काम तेज गति से चल रहा है, इस मार्ग पर अधिकांश भूमि मालिकों को पहले ही मुआवजा दिया जा चुका है.
अयोध्या निवासी कमला प्रभात सिंह ने कहा, "कुछ अन्य क्षेत्रों को साफ करने के बाद, काम शुरू हो जाएगा. मार्ग एक बार तैयार होने के बाद मंदिर में और अधिक आगंतुकों को आकर्षित करने में मदद करेगा. राम जन्मभूमि पथ मार्ग न केवल भक्तों का समय बचाएगा, बल्कि उन्हें दर्शन करने में भी सुविधाजनक होगा. चल रहा काम टिकाऊ है और कम से कम कुछ समय के लिए मरम्मत करने की आवश्यकता नहीं होगी."
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं