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'बरेली FILES' के सूत्रधारों पर प्रहार, फुल एक्शन में योगी सरकार... 81 गिरफ्तार, 250 करोड़ की संपत्ति सील

बरेली में बवाल करने के अरमानों पर सीएम योगी के सख्त ने पानी फेर दिया. न सिर्फ पानी फेरा बल्कि हिंसा के सूत्रधारों को भी एक-एक करके कानून के कठघरे में खड़ा किया जा रहा है.

'बरेली FILES' के सूत्रधारों पर प्रहार, फुल एक्शन में योगी सरकार... 81 गिरफ्तार, 250 करोड़ की संपत्ति सील

बरेली में बवाल को 5 दिन बीत चुके हैं. सामने आ रही खबरों से पता लग रहा है कि शहर को हिंसा की आग में झोंकने के लिए किस कदर तैयारी की गई थी. लेकिन सीएम योगी आदित्यनाथ के सख्त रुख ने बवालियों के अरमानों पर पानी फेर दिया. न सिर्फ पानी फेरा बल्कि हिंसा के सूत्रधारों को भी एक-एक करके कानून के कठघरे में खड़ा किया जा रहा है. मौलाना तौकीर रजा समेत 81 गिरफ्तारियां हो चुकी हैं. 250 करोड़ रुपये से ज्यादा की संपत्तियों को सील किया जा चुका है. आरोपियों के अवैध निर्माणों पर बुलडोजर चल रहे हैं. 

बवाल की पहले से हो रही थी तैयारी

पुलिस से मिली जानकारियों से पता चलता है कि बरेली में बवाल के लिए काफी पहले से तैयारियां की जा रही थीं. 26 सितंबर को भीड़ इकट्ठी करने के लिए नमाज का समय बदल दिया गया था. बरेली में जुमे के दिन दोपहर 12.30 बजे से 3.30 बजे तक नमाज होती है, लेकिन उस दिन पूरे ज़िले में नमाज का वक्त दोपहर 1 बजे कर दिया गया ताकि भीड़ इकट्ठी की जा सके. जुमे वाले दिन भारी संख्या में भीड़ जुटाने के लिए 19 सितंबर से ही सोशल मीडिया के जरिए अभियान चलाया जा रहा था. मुंबई के रहने वाले सलमान अज़हरी के बयान सोशल मीडिया में वायरल किए गए. पुलिस का दावा है कि हिंसा वाले दिन कम से कम 20 लोगों के पास हथियार थे. कई लोगों के पास से हथियार बरामद भी हुए हैं.

मौलाना के करीबियों पर कस रहा शिकंजा

इस बवाल के मुख्य साजिशकर्ता मौलाना तौकीर रजा के करीबियों और आरोपियों पर एक-एक करके शिकंजा कसा जा रहा है. बवाल मामले में पुलिस ने शमशाद को भी गिरफ्तार किया है. शमशाद  इत्तेहाद मिल्लत कौंसिल का ज़िलाध्यक्ष है. आरोप है कि नदीम ख़ान और नफीस के साथ मिलकर उपद्रव करने की योजना बनाई गई थी. नफ़ीस और उसके बेटे फ़रमान को गिरफ़्तार करने के अलावा दो आरोपी एनकाउंटर के बाद गिरफ़्तार हुए हैं. पुलिस सूत्रों के मुताबिक, प्रशासन अब मौलाना तौकीर रजा के एक और करीबी फरहत पर फरहत पर नजर गड़ाए हुए है. फ़रहत के फाइक एनक्लेव के मकान में तौकीर रजा खुद छिपे हुए थे. फिलहाल कुछ संपत्तियां सील कर दी गई हैं. ऐसा कहा जा रहा है कि वहां भी जल्द ही बुलडोज़र चल सकता है. 

बुलडोजर चला, एक करोड़ का जुर्माना भी लगा

मंगलवार को मौलाना के करीबी के ई-रिक्शा चार्जिंग गोदाम पर बुलडोजर चलाया गया. बरेली के रज़ा चौक में मौजूद इस ई-रिक्शा चार्जिंग गोदाम के बारे में बताया गया है कि ये चोरी की बिजली से चल रहा था. बिजली कनेक्शन भी अवैध था. चोरी की बिजली से 70-80 ई-रिक्शा चार्ज किए जा रहे थे. इस मामले में तौकीर के क़रीबियों पर बिजली चोरी का मामला दर्ज किया है. एक करोड़ रुपए का जुर्माना ठोका गया है. पार्षद उस्मान रजा खान और मोहसिन रजा खान समेत तीन लोगों पर बिजली चोरी का मामला दर्ज हुआ है. हालांकि इस बुलडोजर एक्शन पर नदीम खान का कहना है कि ये संपत्ति हमारी थी, उनकी मां के नाम पर थी. उनका दावा है कि कार्रवाई से पहले उन्हें कोई नोटिस नहीं मिला. 

मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड बोला, गिरफ्तारी गलत

बरेली के बवाल और मौलाना तौकीर रजा की गिरफ्तारी पर सियासत भी गरमा रही है. मुस्लिम संगठनों ने गिरफ्तारी को गलत बताया है और सवाल भी उठाए हैं. मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड की ओर से कहा गया है कि मौलाना तौकीर रज़ा खान और अन्य लोगों की गिरफ़्तारी गलत है. ‘आई लव मुहम्मद' के नारे का इस्तेमाल करना या उसे बैनर पर प्रदर्शित करना न तो गैरकानूनी है और न ही असंवैधानिक है. बोर्ड ने आरोप लगाया कि यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के बयान उनकी पद की गरिमा के अनुकूल नहीं हैं. उन्हें याद रखना चाहिए कि वह किसी विशेष समुदाय के नेता नहीं, भारत के संविधान के तहत एक निर्वाचित मुख्यमंत्री हैं. वह राज्य के सभी नागरिकों का प्रतिनिधित्व करते हैं. 

बेगुनाहों को जेल भेजने का आरोप

बरेली में बवाल के बाद पुलिस कार्रवाई को लेकर खानदान-ए-आला हज़रत ने प्रेस बयान जारी करके आरोप लगाया कि बरेली के मुसलमानों को बेवजह सामूहिक सजा दी जा रही है. पुलिस झूठे मुकदमे बनाकर बेगुनाहों को जेल भेज रही है. मौलाना तौकीर रज़ा के बड़े भाई तौसीफ़ रज़ा ख़ान ने कहा कि पुलिस लगातार कार्रवाई कर रही है. बुलडोज़र ऐक्शन हो रहा है. इस पर खानदान-ए-आला हज़रत की ओर से आपत्ति दर्ज कराई गई है.

खानदान-ए-आला हज़रत ने रखी मांगें 

खानदान-ए-आला हज़रत की कुछ मांगें भी सामने रखी गई हैं. कहा गया है कि बेगुनाह मुसलमानों की गिरफ्तारी पर तत्काल रोक लगे, पुलिस की दबिश और ज्यादतियों को फौरन बंद किया जाए, झूठे मुकदमे वापस लेकर गिरफ्तार बेगुनाहों को रिहा किया जाए, बुलडोजर कार्रवाई रोकी जाए और दहशत का माहौल खत्म किया जाए. संयुक्त बयान में चेतावनी दी गई है कि अगर ये मांगे तुरंत स्वीकार नहीं की गईं तो आने वाले दिनों में ठोस फैसला लिया जाएगा.

ओवैसी ने सीएम पर उठाए सवाल

मुस्लिम संगठन भले ही आरोप लगा रहे हैं, लेकिन मुस्लिम समाज के कई तबकों की तरफ से ही आवाज़ उठ रही है कि कुछ कट्टरपंथी और राजनीतिक लोगों के चलते ये सब हो रहा है. गेहूं के साथ घुन भी पिस रहा है. इस मामले पर राजनीतिक बयानबाज़ी भी तेज हो गई है. AIMIM के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने यूपी सरकार पर दोहरे मापदंड अपनाने का आरोप लगाया है. ओवैसी ने सवाल किया कि सीएम योगी फतेहपुर क घटना पर चुप क्यों रहे, जहां दरगाह में शरारती तत्व घुस गए थे. 

धनुषधारी राम को पूजने का वक्त: गिरिराज सिंह

इधर केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने कहा है कि हम मर्यादा पुरुषोत्तम राम को पूजते रहे हैं, लेकिन अब समय आ गया है कि धनुषधारी राम को भी पूजें. श्री राम ने जंगलों में राक्षसों का खात्मा किया था. राक्षस धर्म विरुद्ध कार्य करते थे. संतों को यज्ञ नहीं करने देते थे. उन्होंने कहा कि आज के युवा धनुषधारी राम का अनुकरण करें और जो राक्षस रूप हैं, उनका नाश करें. बरेली की घटना के शैतानों को कानून सजा देगा.

माहौल नहीं बिगड़ने देंगेः संजय निषाद

यूपी सरकार में मंत्री संजय निषाद ने कहा कि उत्तर प्रदेश में अब इस तरह की हरकतों को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. जो लोग आतंक फैला रहे हैं, उन्हें सहन नहीं किया जाएगा. माहौल किसी भी सूरत में बिगड़ने नहीं देंगे. समाज मूल्यों से चलेगा, तलवार से नहीं. अगर कोई बाधा खड़ी करेगा तो जेल जाएगा. 

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