नई दिल्ली:
कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने सोमवार को कहा कि अगर विदेश मंत्री सुषमा स्वराज यह बता दें कि उन्हें ललित मोदी के खाते से कितना पैसा आया है तो संसद में जारी गतिरोध खत्म हो सकता है।
राहुल ने पत्रकारों से कहा, 'मैंने सुषमा जी से सीधा सवाल पूछा था कि ललित मोदी के खाते से कितना पैसा आया। सुषमा इस मुद्दे पर जवाब दे दें तो संसद चल जाएगी।'
उन्होंने आगे कहा, सुषमा ने एक अपराधी की मदद की है। वह यह स्पष्ट बताएं कि उनके परिवार के पास ललित मोदी की तरफ से कितना पैसा आया।
कांग्रेस उपाध्यक्ष ने कहा, हम इस बात से सहमत हैं कि संसद में कामकाज होना चाहिए। लेकिन हमने बुनियादी मुद्दा उठाया है। हमने कहा और तीन बार कहा है कि सुषमा स्वराज जी, मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री और राजस्थान के मुख्यमंत्री ने कुछ मामलों में अवैध काम किया है। मध्य प्रदेश में हत्याएं हुई हैं। लेकिन प्रधानमंत्री को यह जरूरी नहीं लगता है कि वे इसकी निंदा करें।
राहुल ने कहा, वह (पीएम मोदी) मुख्यमंत्रियों की सराहना करते हैं। वह इस बात को पूरी तरह से नजरंदाज करते हैं कि हजारों लोगों के भविष्य को उनके मुख्यमंत्री ने बर्बाद कर दिया। प्रधानमंत्री ने एक अपराधी और राजस्थान की उनकी मुख्यमंत्री के बीच व्यावसायिक संबंधों को पूरी तरह से नजरंदाज कर दिया।
दरअसल, मॉनसून सत्र के शुरू होने के साथ से ही कांग्रेस सुषमा स्वराज, शिवराज सिंह चौहान और वसुंधरा राजे के इस्तीफ़े की मांग कर रही है। वह लिहाजा, 21 जुलाई को शुरू हुए सत्र में कांग्रेस और विपक्ष के विरोध के चलते एक दिन भी कामकाज नहीं हो पाया है।
राहुल ने पत्रकारों से कहा, 'मैंने सुषमा जी से सीधा सवाल पूछा था कि ललित मोदी के खाते से कितना पैसा आया। सुषमा इस मुद्दे पर जवाब दे दें तो संसद चल जाएगी।'
उन्होंने आगे कहा, सुषमा ने एक अपराधी की मदद की है। वह यह स्पष्ट बताएं कि उनके परिवार के पास ललित मोदी की तरफ से कितना पैसा आया।
कांग्रेस उपाध्यक्ष ने कहा, हम इस बात से सहमत हैं कि संसद में कामकाज होना चाहिए। लेकिन हमने बुनियादी मुद्दा उठाया है। हमने कहा और तीन बार कहा है कि सुषमा स्वराज जी, मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री और राजस्थान के मुख्यमंत्री ने कुछ मामलों में अवैध काम किया है। मध्य प्रदेश में हत्याएं हुई हैं। लेकिन प्रधानमंत्री को यह जरूरी नहीं लगता है कि वे इसकी निंदा करें।
राहुल ने कहा, वह (पीएम मोदी) मुख्यमंत्रियों की सराहना करते हैं। वह इस बात को पूरी तरह से नजरंदाज करते हैं कि हजारों लोगों के भविष्य को उनके मुख्यमंत्री ने बर्बाद कर दिया। प्रधानमंत्री ने एक अपराधी और राजस्थान की उनकी मुख्यमंत्री के बीच व्यावसायिक संबंधों को पूरी तरह से नजरंदाज कर दिया।
दरअसल, मॉनसून सत्र के शुरू होने के साथ से ही कांग्रेस सुषमा स्वराज, शिवराज सिंह चौहान और वसुंधरा राजे के इस्तीफ़े की मांग कर रही है। वह लिहाजा, 21 जुलाई को शुरू हुए सत्र में कांग्रेस और विपक्ष के विरोध के चलते एक दिन भी कामकाज नहीं हो पाया है।
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