वाराणसी की ज्ञानवापी मस्जिद के सर्वे का काम आज सुबह 8 बजे से शुरू हुआ था. मस्जिद में 20 मिनट तक सर्वे किया गया है. जिलाधिकारी ज्ञानवापी मस्जिद परिसर से बाहर निकल चुके हैं. ये सर्वे मस्जिस्द के बेसमेंट में किया गया. मस्जिद पक्ष के वकील मोहम्मद तौहीद ने सर्वे के बाद कहा कि अंदर बेसमेंट में एक का ताला खुला लेकिन एक का ताला तोड़ना पड़ा. उन्होंने बताया कि अंदर कोई खास चीज नहीं देखने को मिली.
श्रृंगार गौरी के अस्तित्व पर भी मस्जिद पक्ष के वकील मोहम्मद तौहीद ने इनकार किया. साथ ही कहा कि जो मध्य में नक्काशी मिली है. उन्होंने ये भी बताया कि कल मस्जिस्द का सर्वे होगा. ज्ञानवापी मस्जिद और श्रृंगार गौरी मंदिर मामले में वाद दायर करने वाली 5 महिलाओं में एक सीता साहू से जब पूछा गया कि अंदर क्या मिला तो उन्होंने इस पर तो बहुत बात नहीं बताया लेकिन वो सर्वे की कार्रवाई से संतुष्ट दिखीं
मस्जिद में सर्वे के मद्देनजर जिला प्रशासन ने हिंदू और मुस्लिम पक्ष के लोगों के साथ बैठक कर सर्वे के दौरान शांति-व्यवस्था बनाए रखने की अपील की है. इससे पहले ज्ञानवापी मस्जिद के सर्वे का मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंच गया. अंजुमन ए इंतेजामिया मस्जिद कमेटी ने सर्वे को रोकने के लिए याचिका दायर की. वहीं सुप्रीम कोर्ट तुरंत रोक लगाने से इनकार कर दिया. चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया (सीजेआई) एनवी रमन्ना ने कहा है कि मैंने भी याचिका नहीं देखी है, मामले को देखूंगा.
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कोर्ट में दायर की गई याचिका में ज्ञानवापी मस्जिद में सर्वे पर रोक लगाने की मांग की गई है. कमेटी ने अपनी SLP में इलाहाबाद हाईकोर्ट के फैसले को चुनौती दी है. 21 अप्रैल को हाईकोर्ट ने वाराणसी की निचली अदालत के फैसले पर रोक लगाने से इनकार कर दिया था. निचली अदालत ने ज्ञानवापी मस्जिद में वीडियो सर्वे कराने के लिए कोर्ट कमिश्नर नियुक्त किया था. हाईकोर्ट ने मस्जिद कमेटी की अर्जी को खारिज कर दिया था. अब कमेटी ने सुप्रीम कोर्ट में अपील दाखिल की है.
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