
मुंबई:
गायिका सोना महापात्रा, 'फुकरे', 'खूबसूरत' और 'डेल्ही बैली' जैसी फिल्मों और विज्ञापनों के लिए अपनी आवाज़ देती आई हैं. शुक्रवार को उन्होंने फेसबुक पर प्रतिष्ठित संस्था आईआईटी मुबंई के नाम एक खुला पत्र लिखा जिसमें उन्होंने भारत के इस प्रतिष्ठित संस्था में होने वाले कॉलेज फेस्टिवल मूड इंडिगो के आयोजकों पर लैंगिक भेदभाव का आरोप लगाया है. उन्होंने इस पत्र में लिखा कि किस तरह देशभर में लोकप्रिय यह फेस्टिवल जिसकी कई दूसरे कॉलेज भी दाद देते हैं, दरअसल महिला कलाकारों के प्रति भेदभाव दिखाते हैं और शर्त रखते हैं कि उनके साथ एक पुरुष कलाकार का होना जरूरी है. यही नहीं उन्होंने आयोजकों पर यह आरोप भी लगाया कि पुरुषों की तुलना में महिला कलाकारों को कम फीस दी जाती है.
यहां पढ़े सोना माहापात्रा का पूरा पोस्ट
महापात्रा ने अपने ख़त में लिखा कि 'मूड इंडिगो खुद को एशिया का सबसे 'बड़े' सांस्कृतिक कार्यक्रम बताता है और दुनिया के सबसे बड़े और प्रतिष्ठित संस्था होने का दावा भी करता है. मुझे इन दावों पर हंसी आती है और मैं साफ तौर पर कहती हूं कि आप एक औसत दर्जे का ढेर हैं.'
हालांकि सोना के इस दावे को आईआईटी के प्रवक्ता द्वारा गलत बताया गया है. अंग्रेज़ी अख़बार डीएनए में छपी रिपोर्ट के मुताबिक मूड इंडिगो ने महापात्रा से संपर्क साधा था लेकिन उनकी बताई फीस बहुत ज्यादा थी और आयोजक के बजट के बाहर थी. प्रवक्ता ने कहा 'आईआईटी बॉम्बे आखिरी जगह होगी जहां लैंगिक भेदभाव देखा जाएगा. पिछले महीने ही तुलसी कुमार ने हमारे संस्था में सोलो (एकल) परफोर्मेंस दी थी. इसी साल के शुरूआत में आशा भोंसले आईं थीं और उनका कार्यक्रम हुआ था.'
इससे पहले सोना महापात्रा तब भी चर्चा में आई थीं जब इसी साल जून में उन्होंने सुपरस्टार सलमान खान द्वारा सुल्तान फिल्म के प्रमोशन के दौरान दिए गए विवादित बयान के खिलाफ अपनी राय रखी थी. सलमान ने कहा था कि फिल्म की शूटिंग इतनी थका देने वाली थी कि वह एक बलात्कार पीड़ित जैसा महसूस करते थे. इस पर सोना ने सलमान खान के समर्थकों पर तंज कसते हुए लिखा था कि काफी कुछ गलत कहने और करने के बावजूद सलमान खान देश के 'हीरो' हैं.
यहां पढ़े सोना माहापात्रा का पूरा पोस्ट
महापात्रा ने अपने ख़त में लिखा कि 'मूड इंडिगो खुद को एशिया का सबसे 'बड़े' सांस्कृतिक कार्यक्रम बताता है और दुनिया के सबसे बड़े और प्रतिष्ठित संस्था होने का दावा भी करता है. मुझे इन दावों पर हंसी आती है और मैं साफ तौर पर कहती हूं कि आप एक औसत दर्जे का ढेर हैं.'
हालांकि सोना के इस दावे को आईआईटी के प्रवक्ता द्वारा गलत बताया गया है. अंग्रेज़ी अख़बार डीएनए में छपी रिपोर्ट के मुताबिक मूड इंडिगो ने महापात्रा से संपर्क साधा था लेकिन उनकी बताई फीस बहुत ज्यादा थी और आयोजक के बजट के बाहर थी. प्रवक्ता ने कहा 'आईआईटी बॉम्बे आखिरी जगह होगी जहां लैंगिक भेदभाव देखा जाएगा. पिछले महीने ही तुलसी कुमार ने हमारे संस्था में सोलो (एकल) परफोर्मेंस दी थी. इसी साल के शुरूआत में आशा भोंसले आईं थीं और उनका कार्यक्रम हुआ था.'
इससे पहले सोना महापात्रा तब भी चर्चा में आई थीं जब इसी साल जून में उन्होंने सुपरस्टार सलमान खान द्वारा सुल्तान फिल्म के प्रमोशन के दौरान दिए गए विवादित बयान के खिलाफ अपनी राय रखी थी. सलमान ने कहा था कि फिल्म की शूटिंग इतनी थका देने वाली थी कि वह एक बलात्कार पीड़ित जैसा महसूस करते थे. इस पर सोना ने सलमान खान के समर्थकों पर तंज कसते हुए लिखा था कि काफी कुछ गलत कहने और करने के बावजूद सलमान खान देश के 'हीरो' हैं.
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