
- प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हर बैठक में सभी सदस्यों की राय को समान महत्व देते हैं: अश्विनी वैष्णव
- मोदी ने राजनीति में स्व-हित भूलकर समाज के हित को प्राथमिकता देने की नई लकीर खींची है : रेल मंत्री
- रेल मंत्री ने कहा कि पीए मोदी का लक्ष्य है कि भारत को 2047 तक एक विकसित राष्ट्र बनाया जाए
रेलवे, सूचना प्रसारण और आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने एक खास इंटरव्यू में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की कार्यशैली और विज़न पर खुलकर बातें कीं. उन्होंने कहा कि मोदी जी की सबसे बड़ी खासियत यह है कि वे हर बात बहुत ध्यान से सुनते हैं और हर सुझाव को गंभीरता से लेते हैं. “अगर आठ लोग किसी बैठक में बैठे हों तो मोदी जी सबकी राय को समान महत्व देते हैं. यहां यह मायने नहीं रखता कि कौन सीनियर है और कौन जूनियर.”
वैष्णव के मुताबिक, मोदी जी ने राजनीति में एक नई लकीर खींची है. “स्व को भूलकर समाज को सामने रखने की प्रेरणा”. उनका मानना है कि हर नीति बनाते समय सबसे पहले एक साधारण परिवार के बारे में सोचना चाहिए और उसी को ध्यान में रखकर फैसले लेने चाहिए. उन्होंने कहा, “माइंड सबके पास है, लेकिन असली फर्क माइंडसेट से पड़ता है.”
भारत को 2047 तक विकसित राष्ट्र बनाने का लक्ष्य
वैष्णव ने कहा कि 1947 के बाद से कई तरह के नेतृत्व आए, लेकिन किसी ने यह लक्ष्य नहीं रखा कि भारत को 2047 तक विकसित देश बनाना है. “मोदी जी ने यह सपना देखा और देश को एक दिशा दी. यह बड़ी बात है कि 18वीं शताब्दी तक जो भारत दुनिया की बड़ी अर्थव्यवस्था था, उसकी समृद्धि वापस लाने का लक्ष्य उन्होंने रखा है.”
राजनीति में परफॉर्मेंस का नया पैमाना तय हुआ
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने “Politics of Performance” को केंद्र में रखा है. “आज आपकी परफॉर्मेंस मैटर करती है. इसका बड़ा उदाहरण है भारत में फाइव जी का सबसे तेज़ रोलआउट, और रक्षा क्षेत्र में भारत का आयातक से निर्यातक बनना.”अश्विनी वैष्णव ने कहा कि पहले भी एनडीए की सरकार थी और अब भी है, लेकिन मोदी जी सबको साथ लेकर चलते हैं. “इतना बड़ा नेतृत्व दुर्लभ है, जो सबकी बात सुनकर निर्णय करे.”
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