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अपने दो नौसैनिकों को भारत भेजने के लिए इटली के राजी होने के बाद सरकार ने शुक्रवार को कहा कि इस मामले में इटली के साथ कोई ‘सौदेबाजी’ नहीं हुई और कानूनी सलाह के आधार पर राजनयिक चैनलों के जरिये सावधानीपूर्वक एवं सतत संवाद से मुद्दे का समाधान निकाला गया।
विदेशमंत्री सलमान खुर्शीद ने कहा कि इटली के साथ संवाद को सावधानीपूर्वक जारी रखा गया और राष्ट्रीय हितों और विभिन्न वर्गो की आकांक्षाओं को ध्यान में रखते हुए प्रक्रिया को आगे बढ़ाया गया।
भारतीय महिला प्रेस कॉर्प (आईडब्ल्यूपीसी) में संवाददाताओं से बातचीत के दौरान खुर्शीद ने कहा कि संवाद की प्रक्रिया के दौरान भारत ने इटली को लिखित में आश्वासन दिया है कि यदि मरीन उच्चतम न्यायालय द्वारा तय समय सीमा के भीतर लौट आते हैं, तो उन्हें मौत की सजा नहीं होगी और गिरफ्तार नहीं किया जाएगा।
दोनों मरीन को मुकदमे का सामना करने के लिए वापस भारत भेजने का ऐलान करने के बाद विदेश मंत्री ने स्पष्ट किया कि इटली द्वारा मौत की सजा पर स्पष्टीकरण मांगने के बाद भारत ने लिखित में उक्त आश्वासन दिया।
खुर्शीद ने इस बात पर खुशी जतायी कि मामला अब संतोषजनक निष्कर्ष पर पहुंच गया है और उच्चतम न्यायालय के निर्देशों के अनुरूप मुकदमे की कार्यवाही आगे बढ़ेगी।
गौरतलब है कि दोनों मरीनों पर पिछले साल फरवरी में दो भारतीय मछुआरों की गोली मारकर हत्या करने का मामला चल रहा है।
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