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This Article is From Jul 19, 2022

उद्धव ठाकरे को झटका, स्पीकर ने एकनाथ शिंदे गुट के सांसद राहुल शेवाले को लोकसभा में शिवसेना नेता के रूप में मान्यता दी

लोकसभा (Lok Sabha) में एकनाथ शिंदे गुट को एक बड़ी जीत मिली है. लोकसभा स्पीकर ओम बिड़ला ने शिवसेना के शिंदे गुट के सांसद राहुल शेवाले (Rahul Shewale) को लोकसभा में शिवसेना के नेता (Shiv Sena leader) के रूप में मान्यता दे दी है.

एकनाथ शिंदे गुट के सांसद राहुल शेवाले लोकसभा में शिवसेना नेता बन गए हैं.

नई दिल्‍ली:

शिवसेना में वर्चस्व की लड़ाई में एकनाथ शिंदे गुट को एक बड़ी जीत मिली है और उद्धव ठाकरे कैंप को झटका लगा है. दरअसल, लोकसभा स्पीकर ओम बिड़ला ने शिंदे गुट के सांसद राहुल शेवाले (Rahul Shewale) को लोकसभा में शिवसेना के नेता (Shiv Sena leader) के रूप में मान्यता दे दी है. मंगलवार को एकनाथ शिंदे गुट के 12 शिवसेना सांसदों ने लोकसभा स्पीकर से मुलाकात कर राहुल सेवाले को लोकसभा में शिवसेना के नेता के रूप में मान्यता देने को लेकर पत्र सौंपा था. इसके बाद यह फैसला लिया गया है. शिवसेना से बगावत के बाद अब बागी नेता और महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे शिवसेना सांसदों को अपने गुट में शामिल कर रहे हैं. बहुत हद तक वो ऐसा करने में कामयाब भी दिखाई दे रहे हैं. मंगलवार को सीएम एकनाथ शिंदे की अगुवाई में शिवसेना के 19 सांसदों में से 12 सांसदों ने एकनाथ शिंदे के साथ पीएम मोदी से मुलाकात की है.

इस बात से कयास लगाए जा रहे हैं कि एकनाथ शिंदे अब विधायकों के बाद सांसदों को अपने गुट में शामिल करना चाहते हैं. साथ ही लोकसभा में अपने गुट का चीफ व्हिप चाहते हैं, जो जिस पर वह कामयाब हो गये हैं. अब एकनाथ शिंदे गुट खुद को शिवसेना बताता है. मंगलवार को शिवसेना के सांसद राहुल शेवाले को लोकसभा में शिवसेना गुट का नेता बनाने के लिए लोकसभा स्पीकर को एकनाथ शिंदे गुट ने पक्ष लिखा है. एकनाथ शिंदे ग्रुप के सांसद हेमंत गोडसे ने NDTV से कहा कि शिंदे साहब ने भी पहले कहा है कि हम लोग शिवसेना प्रमुख हिंदू हृदय सम्राट बाला साहेब के जो विचार हैं, उनको आगे बढ़ाना चाहते हैं. 

एकनाथ शिंदे गुट हो सकता है शिवसेना नहीं
वहीं शिवसेना में उद्धव ठाकरे गुट के नेता संजय राउत ने कहा कि एकनाथ गुट पार्टी में एक अलग गुट हो सकता है, लेकिन वह पार्टी नहीं है. असली शिवसेना उद्धव ठाकरे हैं. इसलिए ठाकरे गुट पार्टी से जुड़े को निर्णय नहीं ले सकता है. साथ ही उन्होंन कहा कि शिवसेना के 12 विधायकों की सदस्यता खतरे में है. इसको लेकर सुप्रीम कोर्ट में केस चल रहा है.  

उत्तर भारतीय महासंघ ठाकरे को दिया समर्थन 
इस बीच, शिवसेना से जुड़े उत्तर भारतीय महासंघ के मुंबई के पदाधिकारियों ने शिवसेना भवन में उद्धव ठाकरे से मुलाकात की और उनको अपना समर्थन दिया. उद्धव के करीबी और शिवसेना के वरिष्ठ नेता संजय राउत ने कहा है कि पार्टी अपने चुनाव चिह्न और संगठन पर नियंत्रण की खातिर लड़ाई के लिए तैयार है. राउत ने मंगलवार को संवाददाताओं से बातचीत करते हुए यह भी दावा किया कि भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) महाराष्ट्र को तीन हिस्सों में बांटने की कोशिश कर रही है और शिवसेना में विभाजन कराना भाजपा की साजिश का हिस्सा है.

एकनाथ शिंदे पर बोला हमला
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे पर भी निशाना साधा और आरोप लगाया कि शिंदे ने शिवसेना संसदीय दल को ऐसे समय पर तोड़ने की कोशिश की जब राज्य कुछ हिस्सों में भारी बाढ़ से निपटने के लिए प्रयास कर रहा था. संजय राउत ने कहा, "हम किसी भी लड़ाई के लिए तैयार हैं, चाहे यह चुनाव चिन्ह के लिए हो या पार्टी संगठन के लिए. कुछ एक सांसद और विधायक हमें छोड़ सकते हैं लेकिन अकेले विधायक और सांसद शिवसेना नहीं बना सकते हैं." उन्होंने कहा कि शिवसैनिक विद्रोहियों के लिए भविष्य में कोई भी चुनाव जीतना मुश्किल बना देंगे.

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