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'DM को फोन कर हारते हुए प्रत्याशी को जिताया?' वायरल वीडियो पर जीतन राम मांझी ने तोड़ी चुप्पी, बताया पूरा सच

केंद्रीय मंत्री जीतन राम मांझी ने 2020 के बिहार विधानसभा चुनाव से जुड़े एक वायरल वीडियो पर अपनी चुप्पी तोड़ दी है. वीडियो में कथित तौर पर DM की मदद से चुनाव जीतने के दावे को मांझी ने सिरे से खारिज करते हुए इसे 'गलत वीडियो' बताया है.

'DM को फोन कर हारते हुए प्रत्याशी को जिताया?' वायरल वीडियो पर जीतन राम मांझी ने तोड़ी चुप्पी, बताया पूरा सच
जीतन राम मांझी ने 2020 चुनाव विवाद पर तोड़ी चुप्पी: "DM से केवल रिकाउंटिंग के आंकड़े मांगे थे, मदद नहीं" (फाइल फोटो)
X@jitanrmanjhi

Bihar News: केंद्रीय मंत्री और हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा (HAM) के संरक्षक जीतन राम मांझी (Jitan Ram Manjhi) एक बार फिर चर्चा में हैं. सोशल मीडिया पर साल 2020 के विधानसभा चुनाव से जुड़ा एक वीडियो वायरल हो रहा है, जिसमें दावा किया जा रहा है कि मांझी ने प्रशासनिक मदद (DM से बात कर) से अपने हारते हुए उम्मीदवार को जीत दिलाई थी. अब इस गंभीर आरोप पर खुद मांझी ने सामने आकर सफाई दी है और वीडियो को गलत संदर्भ में पेश करने का आरोप लगाया है.

क्या है वायरल वीडियो का पूरा मामला?

सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे वीडियो में मांझी कथित तौर पर यह कहते सुने जा रहे हैं कि 2020 के चुनाव में उन्होंने जिलाधिकारी (DM) से बात की, जिसके बाद उनके उम्मीदवार की जीत सुनिश्चित हुई. इस वीडियो के सामने आने के बाद विपक्ष ने चुनावी निष्पक्षता पर सवाल उठाने शुरू कर दिए थे.

जीतन राम मांझी अपनी सफाई में क्या?

पटना में 20 दिसंबर को मीडिया से बात करते हुए केंद्रीय मंत्री ने स्पष्ट किया कि उनकी बातों का गलत अर्थ निकाला गया है. मांझी ने कहा, 'यह एक गलत वीडियो है. साल 2020 में टिकारी विधानसभा सीट पर हमारे उम्मीदवार अनिल कुमार चुनाव लड़ रहे थे. मतगणना के दौरान स्थिति काफी करीबी थी. मेरा कहने का मतलब यह था कि हमारे प्रत्याशी को मतगणना केंद्र छोड़कर भागना नहीं चाहिए था, बल्कि डटे रहकर पुनर्मतगणना (Recalculation) करवानी चाहिए थी.'

DM से बातचीत पर क्या बोले मांझी?

DM को फोन करने के आरोप पर मांझी ने तकनीकी पक्ष रखते हुए कहा कि उन्होंने तत्कालीन DM अभिषेक सिंह से केवल आंकड़े मांगे थे. मांझी के अनुसार, उन्होंने प्रशासनिक अधिकारियों से रिकाउंटिंग के लिए आंकड़े देने का अनुरोध किया था. प्रशासन ने नियमानुसार आंकड़े उपलब्ध कराए. रिकाउंटिंग की प्रक्रिया पूरी होने के बाद ही HAM प्रत्याशी की जीत हुई थी.

क्या था 2020 का टिकारी चुनाव परिणाम?

2020 के बिहार विधानसभा चुनाव में गया जिले की टिकारी सीट पर मुकाबला बेहद दिलचस्प था. HAM (S) के अनिल कुमार ने कड़े मुकाबले में जीत दर्ज की थी. मांझी का तर्क है कि रिकाउंटिंग एक वैध संवैधानिक प्रक्रिया है और उन्होंने केवल उसी का पालन सुनिश्चित करने की बात कही थी.

विपक्ष ने लगाए थे गंभीर आरोप

विपक्षी दल राजद ने आरोप लगाया था कि मोदी ने निर्वाचन आयोग की मदद से हालिया चुनाव में हमारे नेता तेजस्वी यादव की राजनीतिक हत्या का असफल प्रयास किया. वहीं, बिहार कांग्रेस प्रवक्ता आसित नाथ तिवारी ने भी इसी तरह की भावना दोहराते हुए आरोप लगाया, 'हाल में संसद के भीतर वोट चोरी के आरोपों पर प्रतिक्रिया देते हुए केंद्रीय गृहमंत्री बेहद आक्रामक थे. अब उनके ही मंत्रिमंडल सहयोगी की कथित स्वीकारोक्ति से संकेत मिलता है कि यह वोट चोरी नहीं, बल्कि वोट डकैती है.'

'मांझी अब एक ब्रांड बन चुका है'

तब मांझी ने ‘एक्स' पर तीखी प्रतिक्रिया देते हुए कहा था, 'मेरा एक वीडियो छेड़छाड़ करके सोशल मीडिया पर पोस्ट किया गया है. ऐसे लोग यह सोचते हैं कि वे एक मुसहर (महादलित समुदाय) के बेटे को बदनाम कर सकते हैं. मैं ऐसे सभी लोगों को बताना चाहता हूं कि मांझी अब एक ब्रांड बन चुका है. वह किसी से डरने वाला नहीं है.'

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