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क्या अचानक बढ़ रहे हार्ट अटैक के मामलों के लिए कोरोना वैक्सीन है ज़िम्मेदार? जानें

जब आप ज्यादा नमक खाते हैं तो आपके खून में सोडियम का स्तर बढ़ जाता है. हमारा शरीर जब सोडियम के स्तर को संतुलित रखने की कोशिश करता है तो ऐसा करने के लिए उसे ज्यादा पानी खींचना पड़ता है. जब खून की कोशिकाओं में पानी की मात्रा बढ़ने से खून की मात्रा बढ़ने लगती है तो हमारे दिल को भी पम्प करने के लिए ज्यादा मेहनत करनी पड़ती है और इस लजह से आपका ब्लड प्रेशर बढ़ता है और हाई ब्लड प्रेशर से अचानक हार्ट अटैक का खतरा भी बढ़ जाता है.

प्रतीकात्मक तस्वीर

  • पिछले एक साल में भारत में अचानक हार्ट अटैक से 158 मौतें हुईं, जिनमें अधिकांश लोगों को दिल की कोई पूर्व बीमारी नहीं थी
  • दिल्ली एम्स और ICMR की स्टडी में कोरोना वैक्सीन को हार्ट अटैक का कारण नहीं माना गया, मौतों के पीछे खराब लाइफस्टाइल और खान-पान थे
  • भारत में औसतन लोग WHO की सलाह से दोगुना नमक का सेवन करते हैं, जिससे हार्ट अटैक, हाई ब्लड प्रेशर और दिल की बीमारियों का खतरा बढ़ता है
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नई दिल्ली:

हमारे देश में आजकल ऐसी खबरें आम हो गई हैं, जिनमें लोगों को नाचते-गाते, खेलते-कूदते या Gym में Exercise करते हुए साइलेंट हार्ट अटैक आता है और उस शख्स की मौत हो जाती है. जब हमने गूगल पर ऐसी खबरों को सर्च किया तो सिर्फ पिछले एक साल में ऐसे 158 मामले मिले, जिनमें अचानक हार्ट अटैक आने से लोगों की जान गई. ऐसी मौतें देखकर डर भी लगता है और जब ये पता चलता है कि मरने वाले व्यक्ति को दिल की कोई बीमारी नहीं थी तो घबराहट और बढ़ जाती है. लोगों को ये सवाल काफी परेशान करता है और यहीं से कई तरह की गुत्थियां उलझनी शुरू होती हैं और सीधा शक कोरोना की वैक्सीन पर जाता है लेकिन आज बड़ा सवाल ये है कि क्या वाकई में अचानक हार्ट अटैक के मामलों के लिए कोरोना की वैक्सीन ज़िम्मेदार है या इसके पीछे कोई और वजह है, जो आपकी आंखों के सामने होते हुए भी नज़र नहीं आ रही है. आज हम इस वजह के बारे में आपको विस्तार से बताएंगे लेकिन सबसे पहले आप ये देखिए कि वैक्सीन से हार्ट अटैक के दावों का असली सच क्या है?

वैक्सीन से हार्ट अटैक का सच क्या?

अब तक इस मुद्दे पर तीन बड़ी स्टडी हो चुकी हैं और किसी भी स्टडी में ये साबित नहीं हुआ है कि वैक्सीन लगवाने से अचानक हार्ट अटैक आ सकता है. सबसे नया शोध दिल्ली के एम्स अस्पताल और Indian Council of Medical Research ने किया है. इसमें भी यही बताया गया है कि भारत में कोरोना की वैक्सीन से हार्ट अटैक के सबूत नहीं मिले हैं. इसमें 18 से 45 साल के उन 300 लोगों की मौत की वजह को खंगाला गया, जिन्हें अचानक हार्ट अटैक आया था और जिन्होंने कोरोना की वैक्सीन लगवाई थी. जांच हुई तो पता चला कि ये सारी की सारी मौतें वैक्सीन से नहीं बल्कि खराब Lifestyle, गलत खान-पान और कोई पुरानी बीमारी की वजह से हुई थीं. इसका मतलब ये है कि आप एक बड़ी गलती कर रहे हैं. आप असली खतरे को नज़रअंदाज़ कर रहे हैं और वैक्सीन पर बेवजह शक कर रहे हैं.

असली खतरे में क्या?

अब असली खतरा है, आपकी लाइफस्टाइल और आपका गलत खान-पान, जिसके बारे में आप कभी गंभीरता से नहीं सोचते. आप खुद से ये सच कहना ही नहीं चाहते कि आप जो दिनभर मोबाइल फोन चलाते हैं, Fast Food और Junk Food खाते हैं, तनाव में रहते हैं और अपनी नींद को सीरियसली नहीं लेते, उसके कारण हार्ट अटैक का खतरा 15 फीसदी तक बढ़ जाता है. इनमें भी हार्ट अटैक में सबसे बड़ा रोल नमक का होता है और ज्यादा नमक खाने से मौत नज़दीक आने लगती है.

नमक पर नई रिपोर्ट क्या कहती है

इस पर एक नई रिपोर्ट आई है, जिसे ICMR के एक इंस्टीट्यूट ने जारी किया है. इसमें बताया गया है कि भारत के लोग नमक खाने का नया रिकॉर्ड बना रहे हैं. शहरों के लोग हर दिन 9.2 ग्राम नमक खा रहे हैं जबकि गांवों के लोग 5.6 ग्राम नमक खा रहे हैं. ये वही आंकड़े हैं, जिन्हें लेकर ब्रिटेन के भी एक मेडिकल जर्नल ने चेतावनी दी थी. उसने बताया था कि भारत में लोग हर दिन औसतन 8 से 12 ग्राम तक नमक खाते हैं. महिलाएं हर दिन 7.1 ग्राम नमक खाती हैं जबकि पुरुष हर दिन औसतन 8.9 ग्राम नमक खाते हैं. जबकि WHO कहता है कि 18 साल से ऊपर के पुरुषों और महिलाओं को एक दिन में 5 ग्राम या उससे कम नमक ही खाना चाहिए.

इस हिसाब से देखें तो भारत के करोड़ों लोग इस समय हर दिन तय मात्रा से दोगुना नमक खा रहे हैं और यही नमक अचानक हार्ट अटैक, दिल की बीमारियों, High Blood Pressure और Heart Stroke का खतरा लगातार बढ़ रहा है. जिन लोगों को मोटापे और High Blood Pressure की शिकायत है, वो लोग भी ज़रूरत से बहुत ज्यादा नमक खा रहे हैं. जिन लोगों को मोटापे की समस्या है, ऐसे लोग हर दिन 9.2 ग्राम नमक खा रहे हैं, जबकि ऐसे लोगों को 5 ग्राम से कम नमक ही खाना चाहिए. जिन लोगों को High Blood Pressure की शिकायत है, ऐसे लोग भी हर दिन साढ़े 8 ग्राम नमक खाते हैं जबकि सिगरेट पीने वाले लोग हर दिन 8.3 ग्राम नमक खाते हैं और नमक की ये मात्रा ही भारत के करोड़ों लोगों के दिलों को कमज़ोर बना रहा है.

दुनिया में तय मात्रा से ज्यादा नमक खाने के कारण हर साल 70 लाख और अकेले भारत में 1 लाख 75 हज़ार लोगों की मौतें होती हैं और हार्ट अटैक के मामलों में सबसे बड़ा कारण भी कई बार ज़रूर से ज्यादा नमक का सेवन ही होता है लेकिन इसके बावजूद हमारे घरों में खाने के साथ नमक की शीशियां रखी जाती हैं और लोग दबाकर नमक खाते हैं.

WHO के मुताबिक ब्रिटेन में हर व्यक्ति प्रति दिन 7.1 ग्राम नमक खाता है, फ्रांस में 7.6, अमेरिका में 8.9, पाकिस्तान और बांग्लादेश में भी 8.9 और अफगानिस्तान में भी हर व्यक्ति प्रति दिन सिर्फ 6.4 ग्राम नमक खाता है लेकिन भारत के लोग 9 ग्राम नमक खाते हैं. गांवों में ये आंकड़ा 6 ग्राम से कम है इसलिए गांवों में अचानक हार्ट अटैक से मौतों के वीडियो नहीं आते. ये सारे वीडियो शहरों से होते हैं और शहरों में बहुत सारे लोगों को पता ही नहीं है कि वो जिन चीज़ों को खा रहे हैं, उनमें कितना नमक होता है. 

एक समोसे में करीब 1 ग्राम, एक कचौड़ी और आलू की सब्ज़ी में 1.2 ग्राम, 5 पकौड़ों में 2 ग्राम, छोले भठूरों में 3 ग्राम और जो 10 रुपये की आलू भुजिया का पैकेट आप दुकान से खरीद कर खाते हैं, उसमें भी 0.5 से 1 ग्राम तक नमक होता है. इसके अलावा उत्तर भारत के लोग SNACKS को चखने के नाम पर खाते हैं लेकिन इस चखने में ही तय मात्रा से ज्यादा नमक होता है, जो जानलेवा बन सकता है.

लोगों से गलती क्या हो रही है?

लोगों से गलती ये हो रही है कि उन्होंने नमक को स्वाद अनुसार खाना बंद कर दिया है और बहुत सारी चीज़ें तो ऐसी हैं, जिन्हें खाते वक्त आप सोचते भी नहीं हैं कि उनमें कितना ज्यादा नमक हो सकता है. अगर आपके परिवार में आपके माता-पिता, दादा-दादी, नाना-नानी, चाचा-चाची या किसी रिश्तेदार और जान पहचान वाले को हाई ब्लड प्रेशर की शिकायत है तो उससे आप पूछिएगा कि क्या डॉक्टर ने उन्हें कम नमक खाने की सलाह दी है और वो आपको हां में ही इसका जवाब देंगे. असल में बहुत सारे लोगों को पता नहीं होता कि ज्यादा नमक खाने से दिल पर क्या असर पड़ता है लेकिन आज हम आपको इसका विज्ञान समझाना चाहते हैं ताकि आप ज्यादा नमक के सेवन से सावधान हो सकें.

नमक से हार्ट अटैक कैसे?

जब आप ज्यादा नमक खाते हैं तो आपके खून में सोडियम का स्तर बढ़ जाता है. हमारा शरीर जब सोडियम के स्तर को संतुलित रखने की कोशिश करता है तो ऐसा करने के लिए उसे ज्यादा पानी खींचना पड़ता है. जब खून की कोशिकाओं में पानी की मात्रा बढ़ने से खून की मात्रा बढ़ने लगती है तो हमारे दिल को भी पम्प करने के लिए ज्यादा मेहनत करनी पड़ती है और इस लजह से आपका ब्लड प्रेशर बढ़ता है और हाई ब्लड प्रेशर से अचानक हार्ट अटैक का खतरा भी बढ़ जाता है. सोचिए जब आप चटपटा खाना खाते हैं या अपने खाने में नमक ज्यादा डालते हैं तो क्या आप सोचते हैं कि ये नमक आपके दिल पर कैसे सीधा हमला करता है.

हम ये नहीं कह रहे कि नमक मत खाओ

हम ये नहीं कह रहे कि आपको नमक नहीं खाना चाहिए. नमक आपके शरीर के लिए ज़रूरी होता है. इसमें Sodium और Potassium दोनों होते हैं और Sodium की पर्याप्त मात्रा शरीर के लिए बहुत ज़रूरी होती है क्योंकि शरीर में पानी का सही स्तर बना रहता है. हम बस ये कह रहे हैं कि आप ज्यादा नमक खाना छोड़ दीजिए. हम आपको पता भी नहीं होगा कि भारत के लोग कभी अपने खाने में ऊपर से नमक नहीं डालते थे. ये सब अंग्रेज़ों को देखकर हमने शुरू किया था. यूरोप में बिना नमक और मसालों का खाना खाया जाता था, जिसके कारण वहां लोग स्वाद के लिए ऊपर से नमक डालने लगे लेकिन भारत में तो हमेशा से खाने बनाते वक्त ही उसमें नमक और मसाले डाल दिए जाते हैं इसलिए हमें ऊपर से खाने में नमक डालने की ज़रूरत नहीं है. आप इस बात को याद रखिए कि हार्ट अगर एक जख्म है, जिस पर आप ज़रूरत से ज्यादा नमक लगाकर बहुत बड़ी गलती कर रहे हैं.

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