हरियाणा के पानीपत की एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी मनीषा चौधरी (Panipat's SP Manisha Choudhary) के खिलाफ बीजेपी के वरिष्ठ नेता और पूर्व पार्षद हरीश शर्मा (BJP Leader Harish Sharma) को खुदकुशी के लिए उकसाने के आरोप में केस दर्ज किया गया है. राज्य के गृहमंत्री ने बीजेपी नेता की खुदकुशी के बाद इस मामले में जांच के आदेश दिए थे, हालांकि, उप-मुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने पुलिस अधिकारी का बचाव किया है, जिसके बाद मामला राजनीतिक हो गया है.
सूत्रों का कहना है कि विज ने सोमवार को राज्य के पुलिस चीफ मनोज गुप्ता को बुलाया था और मामले में कोई एक्शन न लेने के लिए फटकारा था. हालांकि, दुष्यंत चौटाला ने मनीषा चौधरी का बचाव करते हुए उनके खिलाफ दाखिल किए गए एफआईआर पर सवाल उठाए थे. उन्होंने सिरसा में मीडिया को संबोधित करते हुए कहा था कि 'अगर इस तरह एक एसपी के खिलाफ केस दर्ज किया जा सकता है तो फिर राज्य में किसी भी अपराध के लिए सीधे डीजीपी के खिलाफ केस दर्ज किया जाना चाहिए.'
बता दें कि 52 साल के पूर्व पार्षद हरीश शर्मा ने 19 नवंबर को कथित रूप से एक नहर में कूदकर जान दे दी थी. उनके परिवार ने पुलिस पर शोषण करने का आरोप लगाया था. उनका शव रविवार को मिला था. उनके एक दोस्त ने उन्हें बचाने की कोशिश की थी और वो खुद डूब गया था.
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दरअसल, दिक्कत दीवाली पर पटाखा बैन होने से शुरू हुई थी. पुलिस यहां पर पटाखों पर बैन के ऑर्डर को लागू करने के लिए मुहिम चला रही थी. उसी दौरान शर्मा ने लोगों का समर्थन किया था. उनकी दीवाली की रात पुलिस से बहस भी हो गई थी. बाद में उनके, उनकी बेटी अंजली शर्मा जो अब उन्हीं की जगह पर तहसील कैंप में पार्षद हैं, और आठ अन्य लोगों पर आईपीसी की 11 धाराओं के तहत केस दर्ज किया गया था. परिवार ने कहा था कि इससे वो बहुत परेशान हो गए थे. गुरुवार को वो अपने दोस्त के पास रुके हुए थे और वहीं से उन्होंने अपने भाई को फोन कॉल करके अपने खुदकुशी के इरादे से वाकिफ कराया था.
अंजली शर्मा ने पिछले हफ्ते घटना के बाद मीडिया के सामने कहा था, 'मेरे पिता पुलिस की वजह से बहुत परेशान थे क्योंकि वो लोग उनसे ऐसे पेश आ रहे थे, जैसे कि वो कोई आतंकवादी हों. एफआईआर फाइल करने के बाद, पुलिसवाले उन्हें धमकी दे रहे थे, जिसके चलते उन्होंने खुदकुशी कर ली.'
मनीषा चौधरी 2011 बैच की आईपीएस ऑफिसर हैं. फिलहाल वो पानीपत की एसपी हैं. वो जल्द ही चंडीगढ़ की सीनियर एसपी (ट्रैफिक) बनने वाली थीं. यह पद संभालने वाली वो पहली महिला होतीं लेकिन अब इस केस के चलते उनकी जॉइनिंग टाल दी गई है.
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