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अब महाराष्ट्र के अहिल्यानगर पहुंचा आई लव मोहम्मद का विवाद, सड़क पर बना दी रंगोली

पर्व के समय कुछ लोग माहौल बिगाड़ने का प्रयास कर रहे हैं. आई लव मोहम्मद का विवाद अब महाराष्ट्र के अहिल्यानगर तक पहुंच गया है. जानिए पूरा मामला...

अब महाराष्ट्र के अहिल्यानगर पहुंचा आई लव मोहम्मद का विवाद, सड़क पर बना दी रंगोली
अहिल्यानगर में सड़क पर बनी रंगोली.
  • अहिल्यानगर के मालीवाड़ा इलाके में आई लव पैगंबर मोहम्मद की रंगोली बनाने से इलाके में तनाव और प्रदर्शन हुए.
  • NCP नेता संग्राम जगताप ने उकसाने वाली सामग्री न होने और बोर्ड हटाने में प्रशासन की चूक पर सवाल उठाए.
  • मुख्यमंत्री फडणवीस ने मामले की साजिश की जांच की बात कही और सामाजिक सौहार्द्र बनाए रखने पर जोर दिया.
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अहिल्यानगर शहर के मालीवाड़ा इलाके में ज़मीन पर कुछ शरारती तत्वों ने आई लव पैगंबर मोहम्मद की रंगोली बना दी. इससे इलाके में तनाव हो गया. शहर के कोतवाली थाने के सामने मुस्लिम समुदाय के सैकड़ों लोग इकट्ठा हो गए. शिकायत की. इसके बाद रोड जाम कर प्रदर्शन करने लगे. मामला हाथ से निकलता देख पुलिस ने हल्का लाठीचार्ज कर दिया. इसके बाद रंगोली बनाने के मामले में एक आरोपी को पुलिस ने गिरफ्तार किया है. एहतियात के तौर पर पुलिस ने सुरक्षा बढ़ा दी है. साथ ही पुलिस ने किसी भी अफवाह पर ध्यान न देने की अपील की है.  गिरफ्तारी की जानकारी देने के बाद भी प्रदर्शनकारी चक्काजाम करने सड़कों पर इकट्ठा रहे. अब इस पर सीएम फडणवीस सहित अजित पवार की पार्टी का भी बयान आया है.

अजित पवार पार्टी के नेता क्या बोले

अहिल्यानगर लाठीचार्ज मामले पर स्थानीय NCP(अजित पवार गुट) एमएलए संग्राम जगताप ने कहा कि त्योहार मनाना ठीक है, पर किसी भी पक्ष से उकसाने वाली सामग्री नहीं होनी चाहिए. हमें कुछ बोर्ड देखने को मिलते हैं, उस बोर्ड पर यह लिखा है कि "मेरा घर जला दो, कोई शिकवा न होगा, मुझे क़त्ल कर दो, बदला न होगा. मगर, शान-ए-मोहम्मद पर कोई बात आई तो सिर्फ तलवार उठेगी, समझौता न होगा." तलवार उठाना यह संविधान में कहीं भी मान्य नहीं होता है पर अगर कोई इस तरह की कोई चुनौती देता है, वह भी पुलिस स्टेशन में और पुलिस स्टेशन के गेट के बाहर ऐसे बोर्ड के ज़रिए तो इन्हें हटाने के लिए भी पुलिस-प्रशासन के कर्मचारी होंगे.

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संग्राम जगताप ने कहा कि महानगरपालिका के कर्मचारी होंगे. वे वहां गए भी थे. फिर भी ये बोर्ड हटाए नहीं गए. क्यों नहीं हटाए गए? किसकी वजह से नहीं हटाए गए? किसका फ़ोन आया? क्या हुआ? ये सब बातें भी जनता के सामने आनी चाहिए.  जो संदिग्ध है, उसे पुलिस ने सुबह के समय ही हिरासत में ले लिया. हिरासत में लेने के बाद भी रास्ता रोकने की कोई ज़रूरत नहीं थी.  पुणे से छत्रपति संभाजीनगर जाने वाला राष्ट्रीय हाईवे जाम करना, पुलिस प्रशासन को बंधक बनाना, पुलिस प्रशासन के साथ धक्का-मुक्की करना ये सब ग़लत है.  इसलिए मेरा आवाहन होगा अहमदनगर(अहिल्यानगर) वासियों से कि आप सभी शांति बनाए रखें. 

सीएम फड़णवीस क्या बोले

मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा, "मैं यात्रा कर रहा था, इसलिए मुझे ठीक से पता नहीं है कि क्या हुआ था, लेकिन मैं यह ज़रूर कहना चाहूंगा कि जिस तरह से ऐसे बोर्ड लगाए गए हैं और जो कुछ हो रहा है, हमें यह देखना होगा कि क्या इसके पीछे कोई साज़िश है... क्या कोई हमारे सामाजिक सौहार्द्र को बिगाड़ने की कोशिश कर रहा है? क्या ऐसा करने की कोई साज़िश है... लोकसभा चुनाव के दौरान जिस तरह से ध्रुवीकरण की कोशिशें की गईं... हमें इसकी भी जांच करनी होगी. हर किसी को अपने धर्म का पालन करने का अधिकार है, लेकिन अगर इसके बाद लोगों में तनाव पैदा हो रहा है, तो यह ठीक नहीं है..."

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