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This Article is From May 23, 2023

CM ममता ने केंद्र के अध्यादेश के खिलाफ लड़ाई में अरविंद केजरीवाल को समर्थन का आश्वासन दिया

विवाद का मुद्दा राष्ट्रीय राजधानी सिविल सेवा प्राधिकरण की स्थापना के संबंध में केंद्र के अध्यादेश है जिसने उच्चतम न्यायालय के आदेश को उलट दिया है.

CM ममता ने केंद्र के अध्यादेश के खिलाफ लड़ाई में अरविंद केजरीवाल को समर्थन का आश्वासन दिया
ममता बनर्जी ने अरविंद केजरीवाल के समर्थन में कही ये बात
नई दिल्ली:

पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने मंगलवार को दिल्ली के अपने समकक्ष अरविंद केजरीवाल को आश्वासन दिया कि नौकरशाहों की नियुक्तियों और तबादलों पर नियंत्रण के लिए केंद्र के अध्यादेश के खिलाफ लड़ाई में तृणमूल कांग्रेस आम आदमी पार्टी का समर्थन करेगी. सीएम बनर्जी ने यहां एक घंटे की बैठक के बाद पत्रकारों से कहा कि दिल्ली में सेवाओं के नियंत्रण पर केंद्र के अध्यादेश को कानून में बदलने के लिए राज्यसभा में आगामी मतदान 2024 के चुनावों से पहले सेमीफाइनल होगा.

"गैर-भाजपा सरकारों को परेशान किया जा रहा है"

अपनी लड़ाई को लेकर समर्थन जुटाने के लिए राष्ट्रव्यापी दौरे के तहत पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान के संग कोलकाता आए सीएम केजरीवाल ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के खिलाफ भी हमला बोला. उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा पश्चिम बंगाल और पंजाब जैसी गैर-भाजपा सरकारों को परेशान करने के लिए राज्यपालों का इस्तेमाल करती है. केजरीवाल ने यह भी आरोप लगाया कि भाजपा विधायकों की खरीद-फरोख्त के लिए विपक्षी दलों की सरकारों को गिराने की कोशिश में केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (CBI), प्रवर्तन निदेशालय (ED) का इस्तेमाल करती है.

केंद्र के अध्यादेश ने SC के फैसले को पलटा

सीएम बनर्जी ने पत्रकारों से कहा कि हम केंद्र के अध्यादेश के खिलाफ लड़ाई में आम आदमी पार्टी का समर्थन करते हैं. सभी दलों से अनुरोध है कि भाजपा के कानून (दिल्ली में नियुक्तियों को नियंत्रित करने) के लिए वोट न करें. विवाद का मुद्दा राष्ट्रीय राजधानी सिविल सेवा प्राधिकरण की स्थापना के संबंध में केंद्र के अध्यादेश है जिसने उच्चतम न्यायालय के आदेश को उलट दिया है. न्यायालय ने पुलिस,सार्वजनिक व्यवस्था और भूमि से संबंधित सेवाओं को छोड़कर, दिल्ली की निर्वाचित सरकार को सेवाओं का नियंत्रण दिया था.

नए अध्यादेश में दिल्ली सरकार से इन शक्तियों को वापस लेकर उन्हें एक समिति को देने का प्रावधान है जिसे प्रभावी रूप से केंद्र द्वारा नियंत्रित किया जाएगा. आम आदमी पार्टी (आप) ने पहले ही सभी गैर-भाजपा दलों का समर्थन मांगते हुए कहा है कि यह विपक्षी दलों के लिए अग्नि परीक्षा का समय है, और अगर वे देश के लोकतंत्र और संविधान को बचाना चाहते हैं तो उन्हें एक साथ आना चाहिए.

बिहार के सीएम का भी मिला था साथ

इससे पहले, अध्यादेश के मुद्दे पर केजरीवाल की बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से भी मुलाकात हो चुकी है. सीएम नीतीश ने इस मामले पर आम आदमी पार्टी को पूरा समर्थन दिया है. आप प्रमुख के बुधवार को मुंबई में शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) नेता उद्धव ठाकरे और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) नेता शरद पवार से भी मुलाकात करने की संभावना है.अध्यादेश को छह महीने के भीतर संसद द्वारा अनुमोदित किया जाना है. इसके लिए केंद्र को संसद के दोनों सदनों में विधेयक को पारित कराना होगा.

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