पश्चिम बंगाल में शुक्रवार को हर व्यक्ति की जुबान पर एक ही सवाल था कि क्या तृणमूल कांग्रेस नेता मुकुल रॉय सीबीआई दफ्तर में पूछताछ के बाद वापस अपने घर जा पाएंगे, और सभी के दिमाग में एक ही खयाल - घर वापसी या जेल... लेकिन मुकुल रॉय घर लौट आए हैं, और उन्होंने कहा कि वह जांच में सीबीआई को पूरा सहयोग देंगे, और जब भी सीबीआई बुलाएगी, वह उसके सामने हाज़िर होंगे।
दरअसल, इससे पहले जब भी तृणमूल कांग्रेस का कोई वरिष्ठ नेता सीबीआई दफ्तर गया, चाहे वह मदन मित्र रहे हों या कुणाल बोस, पूछताछ के बाद सीबीआई ने पार्टी सांसदों समेत सभी आधा दर्जन नेताओं को जेल का रास्ता ही दिखाया है। लेकिन इस बार पूछताछ के बाद मुकुल रॉय की घर वापसी हो गई।
वैसे, सूत्रों के मुताबिक, मुकुल रॉय के खिलाफ सीबीआई के पास मदन मित्र की तुलना में कहीं ज़्यादा सबूत हैं, लेकिन सीबीआई ने उन्हें गिरफ्तार क्यों नहीं किया है, यह जानकारी अभी नहीं मिली है।
शनिवार को तृणमूल कांग्रेस प्रमुख ममता बनर्जी के घर होने वाली बैठक काफी अहम मानी जा रही है, क्योंकि मुकुल रॉय सीबीआई पूछताछ के बाद जब बाहर निकले तो उन्होंने एक बार भी मां, माटी, मानुष का नाम नहीं लिया और बार बार यही बात कही कि वह भविष्य में भी मामले की जांच में सीबीआई का सहयोग करते रहेंगे। इससे इस बात का कयास लगाया जा रहा है कि कहीं ऐसा तो नहीं कि मुकुल रॉय ने सीबीआई के सामने सारदा घोटाले से जुड़े कुछ अहम खुलासे किए हैं।
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