उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री और बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने केंद्र सरकार के उस फैसले का स्वागत किया है जिसके मुताबिक एक साल नई योजनाओं में पैसा खर्च नहीं किया जाएगा. केवल पीएम गरीब कल्याण पैकेज और आत्मनिर्भर भारत अभियान पैकेज पर ही खर्च किया जाएगा. बीएसपी सुप्रीमो ने कहा कि यह कदम स्वागतयोग्य है लेकिन इसका लाभ गरीबों, मजदूरों और बेरोजगारों को मिलना चाहिए जो कि नहीं रहा है. न्यूज एजेंसी ANI के मुताबिक मायावती ने कहा कि जब प्रवासी मज़दूर आ रहे थे तब खासकर उत्तर प्रदेश सरकार ने इस बात पर जोर दिया था कि प्रवासी लोगों का उनकी योग्यता के हिसाब से रजिस्ट्रेशन होना चाहिए और इन्होंने रजिस्ट्रेशन कराया भी. उन्होंने कहा, 'लेकिन उसके बावजूद भी देखने को मिल रहा है कि जो लोग बड़ी-बड़ी डिग्री लेकर प्रदेश में आए हैं आज वो मनरेगा के तहत गड्डे खोद रहे हैं. सरकार को सोचना चाहिए कि जब लोग बड़ी-बड़ी डिग्री लेकर गड्डे खोदेंगे तो इसका शिक्षा पर कितना बुरा प्रभाव पड़ेगा'
Central Government said there will be no further expenditure on new schemes, except PM Gareeb Kalyan Package & Aatma Nirbhar Bharat Abhiyan Package. It's a welcome step but its benefit should go to poor, labourers & unemployed people, which isn't happening: Mayawati, BSP Chief pic.twitter.com/KUHlT16axv
— ANI UP (@ANINewsUP) June 6, 2020
गौरतलब है कि कोरोना वायरस (Coronavirus) संकट और लॉकडाउन (Lockdown) के वित्तीय असर से जूझ रहे वित्त मंत्रालय के डिपार्टमेंट ऑफ़ एक्सपेंडीचर ने शुक्रवार को एक अप्रत्याशित आदेश जारी कर दिया. पीएम गरीब कल्याण पैकेज और आत्मनिर्भर भारत योजना के तहत ऐलान की गई योजनाओं को छोड़कर सभी नई योजनाओं के ख़र्च पर एक साल के लिए रोक लगा दी गई है. शुक्रवार को जारी मंत्रालय के आदेश में कहा गया है कि कोविड महामारी की वजह से पब्लिक फाइनेंसियल रिसोर्सेज पर अप्रत्याशित दबाव बढ़ गया है जिसके मद्देनज़र ये फैसला लेना पड़ा है.
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