
- बिहार में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण के जरिए चुनाव चोरी की साजिश का आरोप राहुल गांधी ने लगाया है.
- राहुल गांधी ने महाराष्ट्र और कर्नाटक में भी वोट चोरी के कई संदिग्ध मामलों को लेकर चुनाव आयोग पर सवाल उठाए हैं.
- CEC ज्ञानेश कुमार ने वोट चोरी के आरोपों को मिथ्या बताया और राहुल गांधी से सात दिन में एफिडेविट मांगा है.
Rahul Gandhi Vs Election Commission: बिहार SIR से शुरू हुए चुनाव आयोग और विपक्षी दलों की लड़ाई अब सड़क तक पहुंच चुकी है. बिहार के सासाराम से राहुल गांधी, तेजस्वी यादव सहित अन्य विपक्षी दलों के नेताओं की 'वोटर अधिकार यात्रा' शुरू हो चुकी है. दूसरी ओर रविवार को नई दिल्ली में भारत के मुख्य निर्वाचन आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने प्रेस कॉफ्रेंस कर विपक्ष के वोट चोरी के आरोपों पर अपना जवाब दिया. चुनाव आयुक्त ने वोट चोरी के आरोपों को मिथ्या बताया है. उन्होंने राहुल गांधी से 7 दिन के भीतर एफिडेविट देने या फिर पूरे देश से माफी मांगने को कहा है. वोट चोरी के आरोपों से शुरू हुई यह लड़ाई अब माफीनामे की मांग तक पहुंच चुकी है.
चुनाव आयोग Vs विपक्ष की लड़ाई में राहुल गांधी 'विपक्ष के कप्तान'
इसमें एक तरह चुनाव आयोग है तो दूसरी ओर इंडिया गठबंधन के नेता. लेकिन इस लड़ाई के चेहरा राहुल गांधी हैं. राहुल गांधी वोट चोरी के आरोपों पर लगतार मुखर हैं. बिहार SIR के साथ-साथ उन्होंने महाराष्ट्र और कर्नाटक तक में वोट चोरी के आरोप लगाए हैं. आइए समझते हैं चुनाव आयोग Vs राहुल गांधी के तनातनी की पूरी कहानी.
बिहार में चोरी नहीं चलेगी 🔥#VoterAdhikarYatra pic.twitter.com/xk4S5vp7tF
— Bihar Congress (@INCBihar) August 17, 2025
SIR के जरिए बिहार में चुनाव चोरी की साजिशः राहुल गांधी
बिहार में 'वोटर आधिकार यात्रा' शुरू की शुरुआत के समय राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (SIR) के जरिए बिहार में चुनाव चोरी करने की साजिश की जा रही है, लेकिन विपक्ष इसे सफल नहीं होने देगा. उन्होंने यह दावा भी किया कि अब सबको पता चल गया है कि चुनाव आयोग भारतीय जनता पार्टी के साथ मिलकर पूरे देश में वोट की चोरी कर रहा है.
महाराष्ट्र में कैसे बढ़े वोटर?
राहुल गांधी ने कहा कि यह संविधान को बचाने की लड़ाई है. उन्होंने आरोप लगाया कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ और भाजपा संविधान को मिटाने की कोशिश कर रहे हैं. उन्होंने महाराष्ट्र में मतदाताओं की संख्या बढ़ने का फिर से हवाला दिया और दावा किया कि सारे नए मतदाताओं के वोट भाजपा को मिले.
महाराष्ट्र में वोट चोरी के आरोप पर राहुल गांधी ने कहा था, "महाराष्ट्र में 40 लाख से ज्यादा संदिग्ध वोटर थे. चुनाव आयोग इन लोगों को क्यों बचा रहा है. फर्जी तरीके से वोटिंग हो रही थी. चुनाव आयोग और बीजेपी की मिलीभगत है. चुनाव आयोग वोटिंग के इलेक्ट्रॉनिक डेटा क्यों नहीं देता."
सच सबके सामने है!
— Bihar Congress (@INCBihar) August 17, 2025
RSS - भाजपा का वोट चोरी का खेला अब नहीं चलेगा देश समझ चुका है!
: श्री @RahulGandhi जी
नेता प्रतिपक्ष, लोकसभा #VoterAdhikarYatra pic.twitter.com/P3MXNX4I1d
बेंगलुरु की महादेवपुरा सीट पर भी वोट धांधली के आरोप
राहुल गांधी ने कहा कि इसके बाद बेंगलुरु की महादेवपुरा सीट पर मतदाता सूची के बारे में जानकारी एकत्र की गई. मालूम हो कि राहुल गांधी ने 31 जुलाई को एक संवाददाता सम्मेलन के दौरान प्रस्तुति के माध्यम से 2024 के लोकसभा चुनाव के आंकड़ों का हवाला देते हुए दावा किया था कि कर्नाटक के महादेवपुरा विधानसभा क्षेत्र में एक लाख सेअधिक वोट ‘‘चोरी'' हुए थे.
राहुल ने पूछा- भाजपा के लोगों से हलफनामा क्यों नहीं मांगा जा रहा
रविवार को राहुल गांधी ने सासाराम में कहा, “जब कुछ दिन पहले मैने संवाददाता सम्मेलन को संबोधित किया तो निर्वाचन आयोग ने मुझसे हलफनामा मांग. जब कुछ दिन पहले भाजपा के लोगों ने संवाददाता सम्मलेन को संबोधित किया तो उनसे कोई हलफनामा नहीं मांगा गया.”
उनका कहना था, “चुनाव आयोग कहता है- आप हलफनामा दें कि आपका डेटा सही है. ये डेटा तो चुनाव आयोग का है, मुझसे हलफनामा क्यों मांगा जा रहा है? भाजपा के लोगों से कोई हलफनामा नहीं मांगा गया.” उन्होंने आरोप लगाया कि अब इनकी आखिरी साजिश यह न कि एसआईआर के जरिए मतदाता सूची में नाम जोड़कर और नाम काटकर बिहार में चुनाव की चोरी की जाए, लेकिन ऐसा नहीं होने दिया जाएगा.
अब जानिए चुनाव आयोग का पक्ष:
आयोग के कंधे पर बंदूक रखकर चला रहे हैं कुछ दलः CEC
राहुल गांधी सहित अन्य विपक्षी नेताओं के इन आरोपों पर मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने रविवार को नई दिल्ली में प्रेस कॉफ्रेंस कर अपनी बातें रखी. मुख्य निर्वाचन आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने रविवार को कहा कि मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) का उद्देश्य मतदाता सूचियों में सभी त्रुटियों को दूर करना है और यह गंभीर चिंता का विषय है कि कुछ दल इसके बारे में गलत सूचना फैला रहे हैं. उन्होंने कहा कुछ दल ‘‘आयोग के कंधे पर रखकर बंदूक चला रहे हैं.''
बिहार में जल्दबाजी में किया गया SIR, यह मिथकः CEC
विपक्ष द्वारा बिहार में एसआईआर के समय पर सवाल उठाए जाने पर कुमार ने कहा कि यह एक मिथक है कि एसआईआर जल्दबाजी में किया गया है. उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि प्रत्येक चुनाव से पहले मतदाता सूची को सही करना निर्वाचन आयोग का कानूनी कर्तव्य है. उन्होंने कहा, ‘‘यह गंभीर चिंता का विषय है कि कुछ दल और उनके नेता बिहार में SIR के बारे में गलत सूचना फैला रहे हैं. निर्वाचन आयोग सभी राजनीतिक दलों से बिहार में मसौदा मतदाता सूची पर दावे और आपत्तियां दर्ज करने का आग्रह करता है... अभी 15 दिन बाकी हैं.''
Delhi: Chief Election Commissioner Gyanesh Kumar says, "Some voters have alleged instances of double voting. However, when evidence was sought, no response was given. Such false allegations neither intimidate the Election Commission nor any voter..." pic.twitter.com/onHgdvVSzH
— IANS (@ians_india) August 17, 2025
'हमारे लिए पक्ष, विपक्ष सभी दल एक समान'
ज्ञानेश कुमार ने कहा, ‘‘निर्वाचन आयोग के दरवाजे सभी के लिए खुले हैं तथा बूथ स्तर के अधिकारी और एजेंट पारदर्शी तरीके से मिलकर काम कर रहे हैं.'' कुमार ने कहा कि निर्वाचन आयोग राजनीतिक दलों के बीच भेदभाव नहीं कर सकता तथा सत्तारूढ़ और विपक्षी दल, दोनों ही चुनाव प्राधिकार के लिए समान हैं.
'भारत के संविधान का अपमान'
उन्होंने कहा, ‘‘अगर चुनाव याचिकाएं 45 दिन के भीतर दायर नहीं की जातीं, लेकिन वोट चोरी के आरोप लगाए जाते हैं, तो यह भारतीय संविधान का अपमान है.'' कुमार ने कहा कि न तो आयोग और न ही मतदाता दोहरे मतदान और ‘वोट चोरी' के ‘‘निराधार आरोपों'' से डरते हैं. उन्होंने कहा कि आयोग कुछ लोगों द्वारा खेली जा रही राजनीति की परवाह किए बिना सभी वर्गों के मतदाताओं के प्रति दृढ़ रहेगा.
7 दिन में शपथपत्र दें राहुल गांधी या फिर उनके दावे निराधार माने जाएंगेः CEC
मुख्य निर्वाचन आयुक्त (CEC) ज्ञानेश कुमार ने रविवार को कहा कि कांग्रेस नेता राहुल गांधी को मतदाता सूची में अनियमितताओं के अपने आरोपों पर सात दिन के भीतर शपथपत्र देना चाहिए, अन्यथा उनके ‘वोट चोरी' के दावे ‘‘निराधार और अमान्य'' माने जाएंगे.
महाराष्ट्र में 'वोट चोरी' के आरोप पर CEC ने पूछा समय रहते आपत्ति क्यों नहीं की गई?
#WATCH | Delhi: Chief Election Commissioner Gyanesh Kumar says, "Allegations were made that the voter list in Maharashtra had increased. When there was a draft list, why were the claims and objections not submitted on time? When the results came, then it was said that this was… pic.twitter.com/YoA44q3uOO
— ANI (@ANI) August 17, 2025
उन्होंने कहा कि यदि कोई व्यक्ति किसी निर्वाचन क्षेत्र का मतदाता नहीं है और शिकायत दर्ज कराना चाहता है तो वह केवल शपथ लेकर गवाह के रूप में ही ऐसा कर सकता है.
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