सीएम देवेंद्र फडणवीस...(फाइल फोटो)
मुंबई:
महाराष्ट्र का प्रशासनिक मुख्यालय मंगलवार को तब हक्काबक्का रह गया जब यहां एक के बाद एक तीन खुदखुशी की कोशिशें हुई। इसमें भी चौंकनेवाली बात यह है कि यह सारी वारदातें महज आधे घंटे के भीतर मुख्यमंत्री देवेन्द्र फडणवीस के दफ़्तर के बाहर हुई हैं।
किसान ने की आत्महत्या की कोशिश
सबसे पहले, दिलीप मोरे नाम के किसान ने पारिवारिक कारणों के चलते जहर पीकर आत्महत्या की कोशिश की। मोरे औरंगाबाद से मुंबई आए थे। वे अपने भाई की हत्या की जांच करवाना चाहते हैं। साथ ही उन्हें अपने खेत में कुंआ खुदवाने के लिए वित्तीय सहायता की जरूरत है। मोरे को इलाज के GT अस्पताल में दाखिल कराया गया है। साथ ही मुख्यमंत्री ने मामले में जांच के आदेश दिए हैं।
घर के मामले को लेकर था परेशान
जबकि दूसरे मामले में मुंबई के मुलुंड में रहनेवाले दिनेश पड़ाया ने आत्महत्या की कोशिश की। जांच में सामने आया कि दिनेश इसलिए घर से कुछ दवाएं खाकर आया था क्योंकि वह घर के पुनर्निमाण से जुड़ी समस्याओं से परेशान था। पुलिस ने इलाज के लिए दिनेश को सेंट जॉर्ज अस्पताल में दाखिल कराया है।
छात्र ने चौथी मंजिल से कूदकर की जान देने की कोशिश
इसी के बाद जलगांव के छात्र हीरालाल ढाकणे ने मंत्रालय की चौथी मंजिल से कूदकर जान देने की कोशिश की। लेकिन उसे समय पर बचा लिया गया। BMM की पढ़ाई कर रहा हीरालाल स्कॉलरशिप के लिए मंत्रालय के चक्कर काट रहा था। इसमें सकारात्मक बात बस इतनी है कि तीनों घटनाओं में पीड़ित को बचाने में सरकारी अमले को सफलता मिली।
किसान ने की आत्महत्या की कोशिश
सबसे पहले, दिलीप मोरे नाम के किसान ने पारिवारिक कारणों के चलते जहर पीकर आत्महत्या की कोशिश की। मोरे औरंगाबाद से मुंबई आए थे। वे अपने भाई की हत्या की जांच करवाना चाहते हैं। साथ ही उन्हें अपने खेत में कुंआ खुदवाने के लिए वित्तीय सहायता की जरूरत है। मोरे को इलाज के GT अस्पताल में दाखिल कराया गया है। साथ ही मुख्यमंत्री ने मामले में जांच के आदेश दिए हैं।
घर के मामले को लेकर था परेशान
जबकि दूसरे मामले में मुंबई के मुलुंड में रहनेवाले दिनेश पड़ाया ने आत्महत्या की कोशिश की। जांच में सामने आया कि दिनेश इसलिए घर से कुछ दवाएं खाकर आया था क्योंकि वह घर के पुनर्निमाण से जुड़ी समस्याओं से परेशान था। पुलिस ने इलाज के लिए दिनेश को सेंट जॉर्ज अस्पताल में दाखिल कराया है।
छात्र ने चौथी मंजिल से कूदकर की जान देने की कोशिश
इसी के बाद जलगांव के छात्र हीरालाल ढाकणे ने मंत्रालय की चौथी मंजिल से कूदकर जान देने की कोशिश की। लेकिन उसे समय पर बचा लिया गया। BMM की पढ़ाई कर रहा हीरालाल स्कॉलरशिप के लिए मंत्रालय के चक्कर काट रहा था। इसमें सकारात्मक बात बस इतनी है कि तीनों घटनाओं में पीड़ित को बचाने में सरकारी अमले को सफलता मिली।
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