
ताजमहल का फाइल फोटो...
Quick Take
Summary is AI generated, newsroom reviewed.
अब हर स्मारक के 300 मीटर के दायरे में पॉलिथीन के इस्तेमाल पर रोक लग जाएगी
आगे चलकर कानून के ज़रिये पेनाल्टी भी लगाने का फैसला लिया जा सकता है
ऐतिहासिक स्मारकों से सटे 100 मीटर की जिम्मेदारी एएसआई की होती है
ऐतिहासिक स्मारकों से सटे 100 मीटर की जिम्मेदारी एएसआई की होती है और उसके बाद राज्य सरकारों की. लिहाजा फौरन अमल के लिहाज से संस्कृति सचिव ने सभी राज्यों के मुख्य सचिवों और शहरी विकास सचिवों को
एडवायजरी जारी कर एएसआई के सभी ऐतिहासिक स्मारकों के अगले 200 मीटर के दायरे को पॉलीथिन फ्री जोन बनाने के लिए राज्य सरकार से पहल करने को कहा है.
लेकिन इस अहम फैसले को लागू करना आसान नहीं होगा. एनडीटीवी की टीम जब दिल्ली के मशहूर और ऐतिहासिक पुराना किला पहुंची तो मेन गेट पर ही पॉलिथीन बैग पड़े मिले. पर्यटकों ने बताया कि स्मारक के भीतर का हाल भी कमोबेश ऐसा ही है.
ज़ाहिर है...सरकार इस फैसले के ज़रिये स्वच्छता का संदेश उन करोड़ों आम लोगों तक पहुंचाना चाहती है जो हर साल इन ऐतिहासिक स्मारक पहुंचते हैं. पहले चरण में ये संदेश जनचेतना के ज़रिये लोगों तक पहुंचाई जाएगी. आगे तैयारी कानून के ज़रिये इसे सख्ती से लागू करने की है.
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं
भारत, ऐतिहासिक इमारतें, ताजमहल, लाल किला, आर्कियोलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया, पॉलिथीन, महेश शर्मा, India, Historical Monuments, Taj Mahal, Lal Quila, Archaeological Survey Of India, Polythene, Polythene Ban