'एक समय था जब देश में ऑडिट को भय और आशंका के साथ देखा जाता था."सीएजी बनाम सरकार"... यह हमारी व्यवस्था की एक सामान्य सोच बन गई थी.कभी-कभी यह देखा जाता है बाबू ऐसे हैं, सीएजी वाले वैसे हैं.आज इस मानसिकता को बदला गया है.आज ऑडिट को वैल्यू एडिशन का अहम हिस्सा माना जा रहा है.' यह विचार पीएम नरेंद्र मोदी ने आज कंट्रोलर एंड ऑडिटर जनरल (CAG)के कार्यक्रम में व्यक्त किए.उन्होंने कहा कि मिनिमम गवर्नमेंट,मैक्सिमम गवर्नेंस के तहत Contactless customs, Automatic Renewals, Faceless Assessments, इन सब ने सरकार के गैरजरूरी दखल को खत्म किया है. पहले देश के बैंकिंग सेक्टर में पादर्शिता (transparency) की कमी के चलते तरह तरह की चीजें (practices) चलती थीं. परिणाम ये हुआ कि बैंको के NPAs बढ़ते गए.NPAs को कार्पेट के नीचे कवर करने का जो कार्य पहले के समय किया गया, वो आप भली-भांति जानते हैं.लेकिन हमने पूरी ईमानदारी के साथ पिछली सरकारों का सच देश के सामने रखा. हम समस्याओं को पहचानेंगे तभी तो समाधान तलाश कर पाएंगे.
उन्होंने कहा कि Contactless customs, automatic renewals, faceless assessments, service delivery के लिए online applications,इन सारे सुधारों (reforms) के जरिये हमने सरकार के गैर-जरूरी दखल को खत्म किया है:पीएम ने कहा, 'आज हम ऐसी व्यवस्था बना रहे हैं जिसमें ‘सरकार सर्वम्' की सोच, सरकार का दखल भी कम हो रहा है और आपका काम भी आसान हो रहा है. पुराने समय में information, stories के जरिए प्रसारित होती थीं. कहानियों के जरिए ही इतिहास लिखा जाता था. लेकिन आज 21वीं सदी में, डेटाही जानकारी (information) है, और आने वाले समय में हमारा इतिहास (history) भी data के जरिए देखा और समझा जाएगा.'
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पीएम ने कहा, 'दशकों तक हमारे देश में CAG की पहचान, सरकारी फाइलों और बहीखातों के बीच माथापच्ची करने वाली संस्था के तौर पर रही है.CAG से जुड़े लोगों की यही इमेज बन गई थी. इसका ज़िक्र मैंने 2019 में भी आपसे किया था.मुझे खुशी है कि आप तेजी के साथ परिवर्तन ला रहे हैं, प्रक्रियाओं को आधुनिक बना रहे हैं.आज आप advanced analytics tools इस्तेमाल कर रहे हैं, Geo-spatial data और satellite imagery का इस्तेमाल कर रहे हैं.'
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