बीजेपी ने महाराष्ट्र से राज्यसभा उपचुनाव के लिए पूर्व पत्रकार को मौका दिया है। कांग्रेस नेता मुरली देवड़ा के निधन के बाद रिक्त हुए पद के लिए मंगलवार को आखिरी दिन अमर साबले ने बीजेपी उम्मीदवार के रूप में पर्चा भरा। साबले के अकेले नामांकन के चलते उनका चुनाव निर्विरोध माना जा रहा है, जिसका आधिकारिक ऐलान बाद में होगा। इस से बीजेपी की राज्यसभा में ताकत एक सीट बढ़ेगी। साबले शुरुआती दिनों में अखबारों के लिए पुणे में पत्रकारिता करते थे।
हालांकि, पत्रकारिता के साथ संघ कार्यकर्ता और फिर बीजेपी के अनुसूचित जनजाति मोर्चा के राज्य अध्यक्ष के साथ प्रदेश कार्यकारिणी में सचिव पद का जिम्मा भी उन्होंने संभाला। इस उम्मीदवारी के बहाने बीजेपी ने एनसीपी मुखिया शरद पवार के इलाके बारामती में ही उन्हें चुनौती दी है। अमर साबले मूलतः बारामती से हैं और वह लंबे समय से पवार के गढ़ पुणे, बारामती और पिम्परी-चिंचवड में कार्यरत हैं।
साबले की उम्मीदवारी के बहाने पार्टी ने जातीय समीकरण को भी ध्यान में रखा है। राज्य की सरकार का मुखिया ब्राह्मण होने पर बाकी के चुनावों में गैर-ब्राह्मण नेताओं को मौका दिया जा रहा है। इस राज्यसभा उपचुनाव के लिए पार्टी के नेता विनय सहस्त्रबुद्धे और विजया राहटकर के साथ शायना एनसी भी इच्छुक बताए जा रहे थे, लेकिन पार्टी ने इस पद के लिए पुराने कार्यकर्ता को मौका दिया।
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