वैंकैया नायडू (फाइल फोटो)
नई दिल्ली:
भूमि अधिग्रहण नीति पर कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी को आड़े हाथों लेते हुए शहरी विकास मंत्री एम वेंकैया नायडू ने मंगलवार को कहा कि संप्रग सरकार ने अपने शासन के दौरान सामाजिक प्रभाव का अध्ययन किए बिना और चार गुना मुआवजा दिए बिना कई लाख एकड़ जमीन अधिग्रहीत की। उसे किसानों के नाम पर घड़ियाली आंसू बहाने का कोई नौतिक अधिकार नहीं है।
राहुल गांधी को लिया आड़े हाथ
वेंकैया नायडू ने यहां एक कार्यक्रम से इतर कहा कि प्रधानमंत्री को कांग्रेस उपाध्यक्ष के प्रमाणपत्र की जरूरत नहीं है, जिनकी लोकप्रियता दिन प्रतिदिन बढ़ती जा रही है। उन्होंने कहा, ‘ जब आप सत्ता में थे तब आपने किसानों की मर्जी के बिना उनकी कई लाख एकड़ जमीन अधिग्रहीत की और इसके लिए न तो चार गुना मुआवजा दिया और न ही सामाजिक प्रभावों का मूल्यांकन किया।’ उन्होंने कहा, ‘ कांग्रेस उपाध्यक्ष कह रहे हैं कि वह किसानों की एक इंच जमीन नहीं अधिग्रहीत करने देंगे। मैं जानना चाहता हूं कि उनके इंच का पैमाना क्या है ? आपने पहले ही कई लाख एकड़ जमीन अधिग्रहीत की है। इस संदर्भ में हरियाणा, आंध्रप्रदेश का उदाहरण हमारे समक्ष है। अब आप कह रहे हैं कि आप भूमि अधिग्रहीत नहीं होने देंगे।’
भूमि विधेयक को लेकर भ्रम फैलाने का आरोप
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि भूमि अधिग्रहण का मुद्दा उस मुहावरे को पूरी तरह से साबित करता है कि ‘सौ चूहे खाकर बिल्ली हज को चली’। वेंकैया नायडू ने कहा कि कांग्रेस को किसानों के नाम पर घड़ियाली आंसू नहीं बहाने चाहिए। कांग्रेस को कृषि नीति पर प्रधानमंत्री की आलोचना करने का कोई नैतिक अधिकार नहीं है। वेंकैया नायडू ने कहा, ‘ सरकार एक भूमि विधेयक लेकर आई और आप लोगों में भ्रम फैला रहे हैं। इसलिए मैं लोगों को वास्तविकता से अवगत करना चाहता हूं। हमने उदाहरण दिया है कि हरियाणा में कितनी जमीन अधिग्रहीत की गई। अब हम बताएंगे कि आंध्रप्रदेश में कितनी भूमि अधिग्रहीत हुई और राजस्थान में भी बिना सामाजिक प्रभावों का अध्ययन किए कितनी जमीन ली गई।’
कृषि के मोर्चे पर सरकार का रिकार्ड काफी अच्छा
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि बिना रोजगार दिए, उन्होंने कई लाख एकड़ जमीन अधिग्रहीत की। मोदी सरकार को किसान समर्थक बताते हुए उन्होंने कहा, ‘सरकार के मन में किसानों का हित सर्वोपरि है। प्रधानमंत्री ने मुआवजा बढ़ाया है। दूसरों की तुलना में कृषि के मोर्चे पर हमारा रिकार्ड काफी अच्छा है। कांग्रेस ने किसानों की आजीविका को लूटने का काम किया है और उसे प्रधानमंत्री की आलोचना करने का कोई नैतिक अधिकार नहीं है।’’
प्रधानमंत्री की लोकप्रियता घटने के राहुल के कल के बयान के बारे में पूछने पर वेंकैया ने कहा, ‘ वह प्रधानमंत्री की लोकप्रियता से चिंतित हैं। प्रधानमंत्री की लोकप्रियता के मुद्दे पर कांग्रेस उपाध्यक्ष या उसके किसी नेता के प्रमाणपत्र की जरूरत नहीं है।’ उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री की लोकप्रियता दिन प्रतिदिन बढ़ रही है और अंतरराष्ट्रीय एजेंसियों ने उन्हें 87 प्रतिशत दिया है। यहां तक कि कांग्रेस के नेता भी उन्हें उच्च दर्जा दे रहे हैं। यह बात वास्तविकता बयां करती है।
राहुल गांधी को लिया आड़े हाथ
वेंकैया नायडू ने यहां एक कार्यक्रम से इतर कहा कि प्रधानमंत्री को कांग्रेस उपाध्यक्ष के प्रमाणपत्र की जरूरत नहीं है, जिनकी लोकप्रियता दिन प्रतिदिन बढ़ती जा रही है। उन्होंने कहा, ‘ जब आप सत्ता में थे तब आपने किसानों की मर्जी के बिना उनकी कई लाख एकड़ जमीन अधिग्रहीत की और इसके लिए न तो चार गुना मुआवजा दिया और न ही सामाजिक प्रभावों का मूल्यांकन किया।’ उन्होंने कहा, ‘ कांग्रेस उपाध्यक्ष कह रहे हैं कि वह किसानों की एक इंच जमीन नहीं अधिग्रहीत करने देंगे। मैं जानना चाहता हूं कि उनके इंच का पैमाना क्या है ? आपने पहले ही कई लाख एकड़ जमीन अधिग्रहीत की है। इस संदर्भ में हरियाणा, आंध्रप्रदेश का उदाहरण हमारे समक्ष है। अब आप कह रहे हैं कि आप भूमि अधिग्रहीत नहीं होने देंगे।’
भूमि विधेयक को लेकर भ्रम फैलाने का आरोप
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि भूमि अधिग्रहण का मुद्दा उस मुहावरे को पूरी तरह से साबित करता है कि ‘सौ चूहे खाकर बिल्ली हज को चली’। वेंकैया नायडू ने कहा कि कांग्रेस को किसानों के नाम पर घड़ियाली आंसू नहीं बहाने चाहिए। कांग्रेस को कृषि नीति पर प्रधानमंत्री की आलोचना करने का कोई नैतिक अधिकार नहीं है। वेंकैया नायडू ने कहा, ‘ सरकार एक भूमि विधेयक लेकर आई और आप लोगों में भ्रम फैला रहे हैं। इसलिए मैं लोगों को वास्तविकता से अवगत करना चाहता हूं। हमने उदाहरण दिया है कि हरियाणा में कितनी जमीन अधिग्रहीत की गई। अब हम बताएंगे कि आंध्रप्रदेश में कितनी भूमि अधिग्रहीत हुई और राजस्थान में भी बिना सामाजिक प्रभावों का अध्ययन किए कितनी जमीन ली गई।’
कृषि के मोर्चे पर सरकार का रिकार्ड काफी अच्छा
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि बिना रोजगार दिए, उन्होंने कई लाख एकड़ जमीन अधिग्रहीत की। मोदी सरकार को किसान समर्थक बताते हुए उन्होंने कहा, ‘सरकार के मन में किसानों का हित सर्वोपरि है। प्रधानमंत्री ने मुआवजा बढ़ाया है। दूसरों की तुलना में कृषि के मोर्चे पर हमारा रिकार्ड काफी अच्छा है। कांग्रेस ने किसानों की आजीविका को लूटने का काम किया है और उसे प्रधानमंत्री की आलोचना करने का कोई नैतिक अधिकार नहीं है।’’
प्रधानमंत्री की लोकप्रियता घटने के राहुल के कल के बयान के बारे में पूछने पर वेंकैया ने कहा, ‘ वह प्रधानमंत्री की लोकप्रियता से चिंतित हैं। प्रधानमंत्री की लोकप्रियता के मुद्दे पर कांग्रेस उपाध्यक्ष या उसके किसी नेता के प्रमाणपत्र की जरूरत नहीं है।’ उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री की लोकप्रियता दिन प्रतिदिन बढ़ रही है और अंतरराष्ट्रीय एजेंसियों ने उन्हें 87 प्रतिशत दिया है। यहां तक कि कांग्रेस के नेता भी उन्हें उच्च दर्जा दे रहे हैं। यह बात वास्तविकता बयां करती है।
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