पीडीपी अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती.
श्रीनगर:
भारतीय राजनीति में शायद यह पहली बार हुआ होगा कि किसी पार्टी ने सोशल मीडिया के जरिए सरकार बनाने का दावा पेश किया. जम्मू-कश्मीर में पीडीपी अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती ने सरकार बनाने का दावा बुधवार रात टि्वटर के जरिए किया. मुफ्ती ने पहले राज्यपाल को फैक्स के जरिए दावा सौंपने की कोशिश की, लेकिन उनका फैक्स राजभवन तक नहीं पहुंच पाया. इसके बाद मुफ्ती ने वह लेटर ट्वीट करते हुए कहा, 'यह लेटर राजभवन फैक्स करने की कोशिश की गई. लेकिन हैरान करने वाली बात है कि राजभवन तक फैक्स नहीं पहुंचा. फिर राज्यपाल से फोन पर बात करने की कोशिश की. लेकिन फोन पर भी उनसे संपर्क नहीं हो पाया.' इस ट्वीट में राज्यपाल को टैग करते हुए उन्होंने कहा कि उम्मीद है कि आप इस पर संज्ञान लेंगे. इसके कुछ मिनट बाद ही इस पर चुटकी लेते हुए नेशनल कॉन्फ्रेंस नेता उमर अब्दुल्ला ने ट्वीट किया, 'जम्मू-कश्मीर राजभवन में नई फैक्स मशीन की तुरंत जरूरत है.'
वहीं दूसरी ओर मुफ्ती के राजनीतिक प्रतिद्वंदी सज्जाद लोन भी सरकार बनाने का दावा राजभवन भेजने में सफल नहीं हो पाए. उन्होंने भाजपा और 18 अन्य विधायकों के समर्थन के साथ सरकार बनाने का दावा किया था. हालांकि, उन्होंने राज्यपाल को अपना दावा पेश करने के लिए दूसरा रास्ता अपनाया. उन्होंने ट्वीट किया, 'हमने सरकार बनाने के दावे का लेटर राज्यपाल को भेज दिया है. फैक्स मशीन काम नहीं कर रही है. हमने यह खत राज्यपाल के पीए को व्हॉट्सएप कर दिया है.'
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हालांकि, राज्यपाल की फैक्स मशीन और फोन काम नहीं कर रहा है तो इसमें प्रशासनिक क्षमता पर सवाल नहीं उठाए जा सकते. मुफ्ती और लोन के सरकार बनाने का दावा पेश करने के कुछ मिनट बाद ही जम्मू-कश्मीर की विधानसभा को भंग कर दिया गया.
राजभवन से विधानसभा भंग करने का आदेश जारी होने के कुछ मिनट बाद ही अब्दुल्ला ने ट्वीट किया, 'नेशनल कॉन्फ्रेंस पिछले पांच महीने से विधानसभा भंग करने की मांग कर रही है. यह कोई संयोग नहीं हो सकता कि मुफ्ती के सरकार बनाने का दावा पेश करने के कुछ मिनट बाद ही विधानसभा भंग करने का आदेश जारी किया गया.'
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वहीं दूसरी ओर मुफ्ती ने राज्यपाल के आदेश के लिए जिस गैजेट का इस्तेमाल किया गया, उसके लिए हैरानी जताई. उन्होंने ट्वीट किया, 'आज तकनीक के जमाने में बहुत हैरानी की बात है कि राजभवन की फैक्स मशीन को हमारा फैक्स नहीं मिलता है, लेकिन विधानसभा भंग का आदेश आसानी से जारी हो गया.'
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जम्मू कश्मीर विधानसभा भंग
वहीं दूसरी ओर मुफ्ती के राजनीतिक प्रतिद्वंदी सज्जाद लोन भी सरकार बनाने का दावा राजभवन भेजने में सफल नहीं हो पाए. उन्होंने भाजपा और 18 अन्य विधायकों के समर्थन के साथ सरकार बनाने का दावा किया था. हालांकि, उन्होंने राज्यपाल को अपना दावा पेश करने के लिए दूसरा रास्ता अपनाया. उन्होंने ट्वीट किया, 'हमने सरकार बनाने के दावे का लेटर राज्यपाल को भेज दिया है. फैक्स मशीन काम नहीं कर रही है. हमने यह खत राज्यपाल के पीए को व्हॉट्सएप कर दिया है.'
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हालांकि, राज्यपाल की फैक्स मशीन और फोन काम नहीं कर रहा है तो इसमें प्रशासनिक क्षमता पर सवाल नहीं उठाए जा सकते. मुफ्ती और लोन के सरकार बनाने का दावा पेश करने के कुछ मिनट बाद ही जम्मू-कश्मीर की विधानसभा को भंग कर दिया गया.
J&K Raj Bhavan needs a new fax machine urgently.
— Omar Abdullah (@OmarAbdullah) November 21, 2018
राजभवन से विधानसभा भंग करने का आदेश जारी होने के कुछ मिनट बाद ही अब्दुल्ला ने ट्वीट किया, 'नेशनल कॉन्फ्रेंस पिछले पांच महीने से विधानसभा भंग करने की मांग कर रही है. यह कोई संयोग नहीं हो सकता कि मुफ्ती के सरकार बनाने का दावा पेश करने के कुछ मिनट बाद ही विधानसभा भंग करने का आदेश जारी किया गया.'
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वहीं दूसरी ओर मुफ्ती ने राज्यपाल के आदेश के लिए जिस गैजेट का इस्तेमाल किया गया, उसके लिए हैरानी जताई. उन्होंने ट्वीट किया, 'आज तकनीक के जमाने में बहुत हैरानी की बात है कि राजभवन की फैक्स मशीन को हमारा फैक्स नहीं मिलता है, लेकिन विधानसभा भंग का आदेश आसानी से जारी हो गया.'
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