विश्व के इस सबसे बड़े सौर ऊर्जा संयंत्र की बिजली डीएमआरसी सहित तीन कंपनियों को बेची जाएगी. (फाइल फोटो)
भोपाल:
मध्यप्रदेश में लगने वाले 750 मेगावाट क्षमता के विश्व के सबसे बड़े सौर ऊर्जा संयंत्र की बिजली दिल्ली मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन (डीएमआरसी) सहित तीन कंपनियों को बेची जाएगी. इसके लिए यहां 17 अप्रैल को समझौता किया जाएगा.
मध्यप्रदेश शासन के नवीन एवं नवकरणीय ऊर्जा विभाग के प्रमुख सचिव मनु श्रीवास्तव ने बताया, 'डीएमआरसी सहित तीन कंपनियों के साथ बिजली बेचने का समझौता यहां 17 अप्रैल को किया जाएगा. इस अवसर पर मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल और वैंकेया नायडू भी मौजूद रहेंगे'.
उन्होंने बताया कि मध्यप्रदेश ऊर्जा विकास निगम और सोलर एनर्जी कापरेरेशन ऑफ इंडिया के बराबर हिस्सेदारी वाला संयुक्त उपक्रम रीवा अल्ट्रा मेगा सोलर पॉवर प्रोजेक्ट, (आरयूएमएस) रीवा जिले की गूढ़ तहसील में स्थापित किया जा रहा है. इस उपक्रम से बनने वाली बिजली डीएमआरसी द्वारा भी खरीदी जाएगी.
उन्होंने कहा कि आरयूएमएस प्रोजेक्ट से उत्पादित बिजली का 24 फीसद भाग डीएमआरसी को बेचा जाएगा. शेष बिजली मध्यप्रदेश को दी जाएगी.
श्रीवास्तव ने बताया कि रीवा जिले में बनने वाले 750 मेगावाट क्षमता वाले इस सौर ऊर्जा संयंत्र में 250 मेगावाट क्षमता की तीन ईकाइयां होंगी तथा यह संयंत्र 18 माह में उत्पादन शुरू कर देगा.
उन्होंने बताया कि 4500 करोड़ रुपये की लागत का यह संयंत्र रीवा जिले की गूढ़ तहसील के बंधवार इलाके में लगभग 1500 हेक्टयर जमीन पर स्थापित किया जा रहा है.
खबरों के अनुसार, फिलहाल विश्व का सबसे बड़ा 392 मेगावाट क्षमता का इवानपाह सौर ऊर्जा संयंत्र संयुक्त राज्य अमेरिका के कैलिफोर्निया राज्य के मोजावे रेगिस्तान में काम कर रहा है.
मध्यप्रदेश शासन के नवीन एवं नवकरणीय ऊर्जा विभाग के प्रमुख सचिव मनु श्रीवास्तव ने बताया, 'डीएमआरसी सहित तीन कंपनियों के साथ बिजली बेचने का समझौता यहां 17 अप्रैल को किया जाएगा. इस अवसर पर मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल और वैंकेया नायडू भी मौजूद रहेंगे'.
उन्होंने बताया कि मध्यप्रदेश ऊर्जा विकास निगम और सोलर एनर्जी कापरेरेशन ऑफ इंडिया के बराबर हिस्सेदारी वाला संयुक्त उपक्रम रीवा अल्ट्रा मेगा सोलर पॉवर प्रोजेक्ट, (आरयूएमएस) रीवा जिले की गूढ़ तहसील में स्थापित किया जा रहा है. इस उपक्रम से बनने वाली बिजली डीएमआरसी द्वारा भी खरीदी जाएगी.
उन्होंने कहा कि आरयूएमएस प्रोजेक्ट से उत्पादित बिजली का 24 फीसद भाग डीएमआरसी को बेचा जाएगा. शेष बिजली मध्यप्रदेश को दी जाएगी.
श्रीवास्तव ने बताया कि रीवा जिले में बनने वाले 750 मेगावाट क्षमता वाले इस सौर ऊर्जा संयंत्र में 250 मेगावाट क्षमता की तीन ईकाइयां होंगी तथा यह संयंत्र 18 माह में उत्पादन शुरू कर देगा.
उन्होंने बताया कि 4500 करोड़ रुपये की लागत का यह संयंत्र रीवा जिले की गूढ़ तहसील के बंधवार इलाके में लगभग 1500 हेक्टयर जमीन पर स्थापित किया जा रहा है.
खबरों के अनुसार, फिलहाल विश्व का सबसे बड़ा 392 मेगावाट क्षमता का इवानपाह सौर ऊर्जा संयंत्र संयुक्त राज्य अमेरिका के कैलिफोर्निया राज्य के मोजावे रेगिस्तान में काम कर रहा है.
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