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This Article is From Nov 21, 2017

कैबिनेट मंत्री को मिलते हैं 5 चपरासी, 1975 में जारी हुआ था शासनादेश

आरटीआई में दी गई सूचना के अनुसार, कैबिनेट मंत्री को कार्यालय के कार्यो के लिए 1 वरिष्ठ चपरासी और 4 चपरासी यानी कुल 5 लोग मिलते हैं.

कैबिनेट मंत्री को मिलते हैं 5 चपरासी, 1975 में जारी हुआ था शासनादेश
आरटीआई से हुआ खुलासा एक केन्‍द्रीय कैबिनेट मंत्री को मिलते हैं पांच चपरासी (फाइल फोटो)
लखनऊ: केंद्र सरकार के कैबिनेट मंत्री को कार्यालय के कार्यो के लिए 5 चपरासी मिलते हैं. यह व्यवस्था 25 अक्टूबर, 1975 को जारी शासनादेश के अनुसार है. भारत सरकार के कैबिनेट सचिवालय ने यह जानकारी सामाजिक कार्यकर्ता डॉ. नूतन ठाकुर को आरटीआई के तहत दी है.

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डॉ. ठाकुर ने बताया कि आरटीआई में दी गई सूचना के अनुसार, कैबिनेट मंत्री को कार्यालय के कार्यो के लिए 1 वरिष्ठ चपरासी और 4 चपरासी यानी कुल 5 लोग मिलते हैं.

राज्यमंत्री को 1 वरिष्ठ चपरासी और 3 चपरासी यानी 4 लोग तथा उपमंत्री को 1 वरिष्ठ चपरासी तथा 1 चपरासी यानी 2 लोग कार्यालय में सहायता के लिए दिए जाते हैं.

डॉ. ठाकुर ने बताया कि सूचना के मुताबिक, अफसरों में सचिव से ले कर संयुक्त सचिव स्तर के अफसरों को मात्र 1 चपरासी अनुमन्य है, जबकि उपसचिव तथा अनुसचिव स्तर के अफसरों को 2 अफसर पर 1 चपरासी अनुमन्य है.

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इसी आरटीआई सूचना के अनुसार, सचिव स्तर के अधिकारी को 3 स्टेनोग्राफर तथा 1 व्यक्तिगत सहायक, अतिरिक्त तथा संयुक्त सचिव स्तर पर 2 स्टेनोग्राफर तथा 1 निजी सहायक एवं निदेशक स्तर पर 1 स्टेनोग्राफर दिया जाता है. (इनपुट आईएनएस)

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