
राजस्थान (Rajasthan) में ग्राम पंचायत और पंचायत समिति स्तरों पर सेवा केंद्रों को अब अटल सेवा केंद्र (Atal Seva Kendras) नहीं, बल्कि राजीव गांधी सेवा केंद्र (Rajiv Gandhi Seva Kendras) के नाम से जाना जाएगा. राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) ने कहा कि, 'हम इसका नाम राजीव गांधी अटल सेवा केंद्र रखना चाहते थे, लेकिन हाईकोर्ट के आदेश पर इसका नाम राजीव गांधी सेवा केंद्र ही रखा जाएगा.' मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने पूर्ववर्ती योजनाओं का नाम बदलने की भाजपा सरकार की नीतियों पर वार करते हुए कहा कि भारतीय जनता पार्टी को इसका परिणाम भुगतान ही पड़ेगा. भाजपा राजस्थान में इसका परिणाम भी भुगत चुकी है और अब देश की बारी है.
Rajasthan CM Ashok Gehlot states Seva Kendras at village panchayat&panchayat samiti levels will be again known as Rajiv Gandhi Seva Kendras, not Atal Seva Kendras; says, "we wanted to name it Rajiv Gandhi Atal Seva Kendra but on HC's order it'll be named Rajiv Gandhi Seva Kendra" pic.twitter.com/5gI2zNqvoT
— ANI (@ANI) January 21, 2019
विधानसभा के बाहर संवाददाताओं से गहलोत ने कहा, 'राजीव गांधी सेवा केंद्रों का नाम बदलकर इन लोगों (गत भाजपा सरकार) ने अटल सेवा केंद्र कर दिया, जबकि पूरे देश में, सब राज्यों में इनका नाम राजीव गांधी सेवा केंद्र ही है. नाम बदलने की अपनी सोच के चलते इन्होंने केंद्र और राज्यों में कोई कसर नहीं छोड़ी. हर योजना का नाम बदला गया. अगर आप कोई नई योजना बनाते और उसका नाम दीनदयाल उपाध्याय या कुछ और रखते तो किसी को ऐतराज नहीं होता. जो योजना चल रही है उसी का नाम बदलकर आप आगे बढना चाहें तो उसमें कटुता पैदा होती है, माहौल खराब होता है. इन्हें इसका अहसास नहीं था अब इन्हें भुगतान ही पड़ेगा. राजस्थान में भुगत लिया अब देश की बारी है.'
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अशोक गहलोत ने कहा कि चूंकि राजीव गांधी एवं अटल बिहारी वाजपेयी दोनों ही भारत रत्न हैं इसलिए हम चाहते थे कि योजना में दोनों का नाम रहे क्योंकि हमारी सोच भाजपा जैसी नहीं है. हम चाहते थे कि इनका नाम राजीव गांधी अटल सेवा केंद्र हो. अटल का मतलब अटल भी होगा. मुख्यमंत्री के अनुसार, 'लेकिन चूंकि उच्च न्यायालय ने भारत सरकार के कानून के हवाले से कहा है कि योजना में कोई शब्द हटाया या जोड़ा नहीं जा सकता और उस कानून में नाम राजीव गांधी सेवा केंद्र ही है. इसलिए इसका नाम राजीव गांधी सेवा केंद्र ही रखना पड़ेगा. हमने इस बारे में कार्रवाई के लिए मुख्य सचिव को कहा है.'
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इसके साथ ही गहलोत ने पिछली भाजपा सरकार पर शराब व बजरी के क्षेत्र में भारी धांधली करने तथा पूरी प्रणाली को भ्रष्टाचार करने का आरोप लगाया. उन्होंने कहा कि 'हम गत सरकार के ऐसे कारनामों को ठीक करने में हम लगे हुए हैं.' बता दें कि इससे पहले सदन में चर्चा के दौरान कांग्रेस के विधायक संयम लोढ़ा ने इस मुद्दे को उठाया. इस दौरान भी हस्तक्षेप करते हुए गहलोत ने कहा कि सरकार इन केंद्रों का नाम फिर राजीव गांधी सेवा केंद्र करने के लिए उचित कार्रवाई करेगी.
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(इनपुट: भाषा)
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