Vertigo: ऑस्ट्रेलियाई क्रिकेटर स्टीव स्मिथ को तीसरे ऐशेज टेस्ट की सुबह अचानक टीम से बाहर कर दिया गया. क्रिकेट ऑस्ट्रेलिया ने बताया कि स्मिथ को वर्टिगो जैसे लक्षण महसूस हो रहे थे, जिनमें चक्कर आना और मतली शामिल है. बोर्ड के अनुसार, स्मिथ को संभावित वेस्टीब्युलर समस्या है, जिससे वह पहले भी कभी-कभी प्रभावित हो चुके हैं और फिलहाल उनका इलाज किया जा रहा है.
स्टीव स्मिथ की स्थिति एक बार फिर से वर्टिगो को लेकर चर्चा में आ गई है. आइए समझते हैं कि वर्टिगो क्या है, इसके लक्षण क्या होते हैं और यह कितना गंभीर हो सकता है.
- वर्टिगो क्या होता है.
- वर्टिगो के मुख्य लक्षण.
- वर्टिगो के कारण.
- वर्टिगो कैसे होता है?
- किन लोगों को ज्यादा खतरा?
- डॉक्टर को कब दिखाएं?
- वर्टिगो का इलाज क्या है?
- क्या खतरे वाली बात है?
वर्टिगो क्या होता है? (What Is Vertigo)
सिर का चक्कर जिसे मेडिकल भाषा में वर्टिगो के नाम से भी जाना जाता है. इसकी वजह से मतली जैसा महसूस हो सकता है, ऐसा लगता है कि चारों तरफ सब घूम रहा है, जमीन घूम रही है और आपकी शरीर खुद बा खुद हिल रहा है. अमूमन लोग इसे चक्कर आना कहते हैं. लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि आखिर ऐसा होता क्यों है? Cleveland Clinic आपको बता दें कि वर्टिगो यानि की चक्कर आना कोई बीमारी नहीं है बल्कि ये एक संकेत होता है जो आपको आपका शरीर देता है कि आपके अंदर कोई गड़बड़ी या कमी हो रही है.
यूएस नेशनल लाइब्रेरी ऑफ मेडिसिन (NIH)ने नोट किया है कि चक्कर आना और हल्की चक्कर आना एक ही बात नहीं है. वर्टिगो से पीड़ित लोग महसूस करते हैं कि जैसे वे वास्तव में घूम रहे हैं या चल रहे हैं, या दुनिया उनके आसपास घूम रही है. जिस व्यक्ति को भी चक्कर (Vertigo) आता है उसे ऐसा लगता है कि कमरे की दीवारें घूम रही हैं. शरीर खुद बा खुद हवा में झूल रहा है और आपका बैलेंस बिगड़ गया है और आंखों के सामने कुछ सेकेंड के लिए अंधेरा सा छा जाता है. लेकिन असल में ऐसा नहीं होता है. बता दें कि ये समस्या आपके कान से जुड़ी हुई होती है. जब आपके कान के अंदर पाया जाने वाले बैलेंस सिस्टम में कुछ गड़बड़ी होती है तो चक्कर आना जैसी समस्या हो सकती है.
वर्टिगो का दौरा कुछ सेकंड से लेकर कई घंटों तक रह सकता है. गंभीर मामलों में यह समस्या कई दिनों या महीनों तक भी बनी रह सकती है.
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वर्टिगो के मुख्य लक्षण (Vertigo Symptoms)
वर्टिगो के दौरान व्यक्ति को कई तरह के लक्षण महसूस हो सकते हैं. इनमें प्रमुख हैं—
- सिर घूमना या चक्कर आना
- खड़े होने या चलने में बैलेंस बिगड़ना
- उल्टी और मतली जैसा फील होना
- अचानक से पसीना आना
- कानों में घंटी या सीटी जैसी आवाज (टिनिटस)
- सिरदर्द
- आंखों के सामने चीजें घूमती हुई सी दिखना
- सुनने में दिक्कत होना
- मोशन सिकनेस
- कुछ गंभीर मामलों में आंखों का तेजी से दाएं-बाएं हिलना (निस्टैगमस) भी देखा जाता है.
वर्टिगो के कारण? ( Vertigo Cause)
वर्टिगो के पीछे कई कारण हो सकते हैं और यह हर व्यक्ति में अलग-अलग हो सकता है.
1. कान से जुड़ी समस्याएं (सबसे आम)
2. दिमाग से जुड़ी समस्याएं
माइग्रेन
सिर में चोट लगना
स्ट्रोक
3. इसकी कुछ अन्य वजह भी हो सकती हैं-
- बहुत देर तक भूखा रहना
- शरीर में पानी की कमी
- बीपी लो होना
- कुछ दवाओं के साइड इफेक्ट
वर्टिगो कैसे होता है? ( Cause Of Vertigo)
हमारे शरीर का हर अंग एक-दूसरे से कनेक्टेड है. हमारे कान के अंदर एक बैलेंस सिस्टम होता है जो हमारे दिमाग को संकेत देता है कि हमारा शरीर किस पोजीशन में है. लेकिन जब ये संकेत सही तरीके से नहीं मिलता है तो शरीर घूमने लगता है और तभी चक्कर आना (वर्टिगो) महसूस होता है.
किन लोगों को ज्यादा खतरा?
- 40 साल से ज्यादा उम्र के लोगों को इसका खतरा ज्यादा होता है.
- जिन लोगों को माइग्रेन की समस्या होती है.
- हाई बीपी के मरीज
- डायबिटीज के मरीज
- लंबे समय तक फोन चलाना या स्क्रीन टाइम का ज्यादा होना
- स्ट्रेसफुल लाइफस्टाइल
- जिनकों कान से जुड़ी कोई बीमारी हो
डॉक्टर को कब दिखाएं?
अगर आपको वर्टिगो व्यक्ति की आम जिंदगी और कामकाज को बुरी तरह प्रभावित कर सकता है. इससे गिरने का खतरा बढ़ जाता है, जो गंभीर चोट का कारण भी बन सकता है. एक्सपर्ट के अनुसार, इलाज बीमारी के कारण पर निर्भर करता है. इसमें विशेष व्यायाम, दवाएं, वेस्टीब्युलर रिहैबिलिटेशन थेरेपी और कुछ मामलों में सर्जरी तक की जरूरत पड़ सकती है. डॉक्टरों की सलाह है कि अगर आपको चक्कर आने की समस्या लगातार हो रही है और इसके साथ ही बोलने में दिक्कत होना, हाथ-पैर सुन्न होना, तेज सिरदर्द के साथ बेहोशी भी होती है तो आपको तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए. आप इसके लिए ENT एक्सपर्ट या न्यूरोलॉजिस्ट की सलाह जरूर लें, ताकि स्थिति को गंभीर होने से रोका जा सके.
वर्टिगो का इलाज क्या है? ( What is Vertigo Treatment)
बता दें कि इस समस्या का इलाज बीमारी के कारण पर निर्भर करता है-
- चक्कर रोकने और मतली रोकने वाली दवाओं का सेवन भी इस समस्या में फायदेमंद हो सकता है.
- अपने रूटीन में एक्सरसाइज को शामिल करें. जिन लोगों को समस्या ज्यादा है वो फिजियोथेरेपी भी करा सकते हैं.
- इसके साथ ही अपनी लाइफस्टाइल को बेहतर बनाएं जैसे-
- पर्याप्त मात्रा में पानी पिएं और बॉडी को हाइड्रेटेड रखें
- पूरी नींद लें
- स्ट्रेस कम लें
क्या खतरे वाली बात है?
आपको बता दें कि वर्टिगो को हल्के में लेना या इग्नोकर करना सही नहीं है. यह डराने वाला हो सकता है, लेकिन सही समय पर इसकी पहचान करना, इसका इलाज और कुछ सावधानियां बरत करें इसे कंट्रोल किया जा सकता है.
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(अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)
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