कैंसर पहले से ही एक घातक बीमारी है. कैंसर और इसके उपचार से शरीर का इम्यून सिस्टम प्रभावित होता है. इम्यून सिस्टम हमारे शरीर को कोरोना वायरस जैसी बीमारी से बचाने में अहम भूमिका निभाता है. कैंसर से पीड़ित मरीजों व कैंसर के उपचार से गुजरने वाले मरीजों का इम्युन सिस्टम सामान्य लोगों की तुलना में कमजोर होता है. कैंसर के मरीजों को दी जाने वाली कीमोथैरेपी और रेडिएशन का प्रभाव भी शरीर के इन्यून सिस्टम पर पड़ता है. इस इलाज के चलते कई कैंसर मरीजों की रोक प्रतिरोधक क्षमता काफी कम हो जाती है. आज हम आपको बताएंगे कि कोविड-19 संक्रमण से बचाव के लिए कैंसर मरीजों को किन बातों का ध्यान रखना चाहिए ताकि वे अपना बचाव कर सकें.
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अलार्मिंग साइन्स
बुखार आना, खांसी, गले में खराश, सांस लेने में तकलीफ, अत्याधिक थकान, दस्त, उल्टी, पेट में ऐंठन और मितली. घबराहट महसूस होना या कोई भी गंध न आना, खतरनाक लक्षण हो सकते हैं. कोई भी कैंसर का मरीज जिसका इलाज हो चुका हो या इलाज जारी हो को इस संबंध में सावधानियां बरतनी चाहिए. इस प्रकार के लक्षण को गंभीरता से लेते हुए तुरंत डॉक्टर की सलाह लेनी चाहिए.
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किन बातों का रखें ध्यान
कैंसर के मरीज के लिए भी सावधानियां वही हैं जो किसी भी साधारण व्यक्ति के लिए होती है. चूंकि कैंसर रोगी का इम्यूनिट सिस्टम एक स्वस्थ्य व्यक्ति की तुलना में कमजोर हो जाता है, इसलिए कैंसर से पीड़ित व्यक्ति को इन प्रिकॉशंस का पालन बेहतर ढंग से करना चाहिए. हाथों की सफाई इस मामले से सबसे अहम् है.
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खासतौर पर खांसी या छींकने के बाद, बाहर से आने के बाद, टॉयलेट का उपयोग करने के बाद, खाना बनाने और खाने के पहले, पालतू जानवर के संपर्क में आने पर. अगर साबुन और पानी उपलब्ध नहीं है, तो हैंड सैनिटाइज़र (कम से कम 60% अल्कोहल युक्त) ले जाएं. यदि हाथ स्पष्ट रूप से गंदे हैं, तो साबुन से हाथ धोना ज्यादा ठीक रहेगा. अपने चेहरे, नाक या आंखों को छूने से बचें, मास्क पहनें, जो लोग बीमार हैं उन्हें यह सुनिश्चित करने के लिए मास्क पहनना चाहिए कि वे वायरस को फैला नहीं रहे हैं.
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कैंसर पेशेंट्स की कमजोर इन्यूनिटी को देखते हुए बेहतर है कि जब भी बाहर निकलें या परिवार के बाहर के लोगों के साथ बातचीत करें तो मास्क पहनें. इसके अलावा घर पर रहें और आवश्यक स्थितियों को छोड़कर यात्रा न करें. सामाजिक मिलना जुलना कम करें. आस-पास की सतहों को छूने से बचें. अगर बाहर से घर वापस आ रहे हैं, तो सुनिश्चित करें कि आपके हाथ साफ हैं और कपड़े बदल लें. बाकी फैमली मेम्बर्स को भी ऐसा ही करना चाहिए. ऐसे लोगों से ने मिले जो बीमार हैं. अगर किसी को खांसी है, तो कम से कम 6 फीट की दूरी बनाए रखें और उन्हें मास्क पहनने की सलाह दें.
डॉक्टर की सलाह कब लें
कोरोना वायरस से संबंधित कोई भी लक्षण होने पर तुरंत डॉक्टर की सलाह लें. किसी संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आने पर या किसी संक्रमण प्रभावित क्षेत्र से लौटने के बाद अपने डॉक्टर या राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन सेवाओं से संपर्क जरूर करें. हालांकि बेहतर होगा कि संक्रमण से बचने के लिए बुखार या अन्य लक्षण होने पर सीधे डॉक्टर, क्लिनिक या अस्पताल न जाएं. पहले फोन पर डॉक्टर या मेडिकल एक्सपर्ट से बात कर लें और जरूरी होने पर ही क्लिनिक जाएं. क्योंकि ऐसे में बाहर जाना बीमारियों को दावत देने जैसा है, इसलिए जितना हो सके लोगों के संपर्क में आने से बचें.
अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.
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