उस्ताद नुसरत फतेह अली ख़ान के नाम गूगल डूडल
अपने अनोखे गूगल डूडल से दुनिया भर की अहम हस्तियों और तारीखों को सलाम करने की कड़ी में आज नुसरत फतेह अली ख़ान की बारी है। मंगलवार को पाकिस्तान के रहने वाले दिवंगत सूफी गायक उस्ताद नुसरत फतेह अली खान की 67वीं जयंती पर सर्च इंजन गूगल ने उनका डूडल बनाकर श्रद्धांजलि दी।
सूफी शैली के प्रसिद्ध कव्वाल नुसरत ने कव्वाली को पाकिस्तान की सरहदों से बाहर निकालकर अतंर्राष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाई है। इस डूडल में नुसरत को उनकी मंडली के साथ पारंपरिक वेशभूषा और उनकी चिर परिचित भाव-भंगिमाओं के साथ कव्वाली गाते दिखाया गया है।
पाकिस्तान के इस प्रसिद्ध कव्वाल का जन्म 13 अक्टूबर, 1948 को फैसलाबाद में हुआ था। नुसरत ने न केवल पाकिस्तान में बल्कि हिदुस्तान में भी अपनी प्रतिभा का लोहा मनवाया है। विश्व के प्रसिद्ध सूफी गायक का 16 अगस्त, 1997 को दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया। उस वक्त वह 49 वर्ष के थे। नुसरत के सूफी गाने आज भी लोगों की ज़ुबान पर हैं।
सूफी शैली के प्रसिद्ध कव्वाल नुसरत ने कव्वाली को पाकिस्तान की सरहदों से बाहर निकालकर अतंर्राष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाई है। इस डूडल में नुसरत को उनकी मंडली के साथ पारंपरिक वेशभूषा और उनकी चिर परिचित भाव-भंगिमाओं के साथ कव्वाली गाते दिखाया गया है।
पाकिस्तान के इस प्रसिद्ध कव्वाल का जन्म 13 अक्टूबर, 1948 को फैसलाबाद में हुआ था। नुसरत ने न केवल पाकिस्तान में बल्कि हिदुस्तान में भी अपनी प्रतिभा का लोहा मनवाया है। विश्व के प्रसिद्ध सूफी गायक का 16 अगस्त, 1997 को दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया। उस वक्त वह 49 वर्ष के थे। नुसरत के सूफी गाने आज भी लोगों की ज़ुबान पर हैं।
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