
Lord Vishnu : पुत्रदा एकादशी का व्रत संतान प्राप्ति के लिए रखा जाता है.
खास बातें
- इस व्रत को अगर आप शुभ मुहूर्त में खोलें तो ज्यादा अच्छा होता है.
- पुत्रदा एकादशी में भगवान विष्णु की पूजा अर्चना की जाती है.
- पंचांग के अनुसार पुत्रदा एकादशी का व्रत साल में दो बार रखा जाता है.
Putrada Ekadashi 2022: पंचांग के अनुसार पुत्रदा एकादशी का व्रत साल में दो बार रखा जाता है. एक पौष माह में और दूसरा सावन के महीने में. पहली वाली शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को और दूसरी सावन माह की पुत्रदा एकादशी को. यह व्रत विशेष रूप से संतान प्राप्ति और सुख शांति के लिए किया जाता है. इस व्रत में भगवान विष्णु (lord Vishnu) की पूजा की जाती है. सावन महीने की पुत्रदा एकादशी का व्रत इस बार शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि यानी 08 अगस्त को रखा जाएगा.
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पुत्रदा एकादशी शुभ मुहूर्त | Putrada Ekadashi shubh muhurat
सावन महीने की पुत्रदा एकादशी का शुभ मुहूर्त 7 अगस्त 2022 दिन रविवार को 11 बजकर 50 मिनट पर शुरू होगा और समापन 08 अगस्त दिन सोमवार को रात 9 बजे होगा.
पूजा विधि | Putrada Ekadashi puja vidhi
पुत्रदा एकादशी में भगवान विष्णु की पूजा अर्चना की जाती है. इसमें विष्णु भगवान की प्रतिमा के सामने दीपक जलाकर व्रत का संकल्प लिया जाता है. उसके बाद कलश स्थापना करते हैं. फिर कलश को लाल वस्त्र से बांध दीजिए. इसके बाद उनको धूप बत्ती दिखाएं और उनकी आरती करें. इस व्रत में भगवान विष्णु को फल फूल, नारियल, पान, सुपारी, लौंग, बेर, आंवला आदि का भोग लगाया जाता है. इस उपवास को करने से संतान की प्राप्ति होती है. इस दिन व्रती लोगों को दान दक्षिणा भी करना चाहिए. इससे भगवान खुश होते हैं.
पारण | Putrada Ekadashi paran
एकादशी के व्रत में पारण का विशेष महत्व होता है. इस व्रत को अगर आप शुभ मुहूर्त में खोलें तो ज्यादा अच्छा होता है. पंचांग के मुताबिक सावन पुत्रदा एकादशी के पारण के लिए शुभ समय 9 अगस्त 2022 दिन मंगलवार को 5:46 से 8:26 तक है.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. एनडीटीवी इसकी पुष्टि नहीं करता है.)
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