
- दिल्ली विश्वविद्यालय छात्रसंघ चुनाव में पहली बार AAP का छात्र संगठन एसैप चुनाव मैदान में ताल ठोकेगा.
- AAP ने आरोप लगाया कि छात्र राजनीति लंबे समय से कुछ रसूखदारों और गुंडागर्दी वाले संगठनों के कब्जे में है.
- पार्टी ने कहा कि चुनाव टिकट अब पैसे, जाति और बाहुबल के आधार पर बंटते हैं, जबकि असली मुद्दों पर चुप्पी है.
दिल्ली विश्वविद्यालय छात्रसंघ चुनाव में पहली बार आम आदमी पार्टी का छात्र संगठन भी ताल ठोकने जा रहा है. शुक्रवार को पार्टी ने एसैप (Association of Students for Alternative Politics) के चुनाव लड़ने का ऐलान किया है. आम आदमी पार्टी ने कहा कि एसैप, एबीवीपी और एनएसयूआई की गुंडागर्दी वाली राजनीति को सीधी चुनौती देगा. साथ ही आरोप लगाया कि दिल्ली यूनिवर्सिटी की छात्र राजनीति लंबे समय से कुछ रसूखदारों, राजनीतिक दलों और गुंडागर्दी करने वाले संगठनों के कब्जे में रही है. पार्टी ने कहा कि इस बार यह चुनाव सिर्फ एक पद के लिए नहीं, एक नई राजनीति के लिए लड़ा जाएगा.
साथ ही पार्टी ने आरोप लगाया कि चुनाव टिकट अब मुद्दों पर नहीं, बल्कि पैसे, जाति और बाहुबल के आधार पर बंटते हैं, जिन सवालों पर छात्र राजनीति की नींव होनी चाहिए, जैसे फीस वृद्धि, हॉस्टल और लैब की कमी, महिला सुरक्षा और भेदभाव उन पर सालों से चुप्पी छाई रही है. साथ ही कहा कि एबीवीपी और एनएसयूआई ने कैंपस को सालों तक एक निजी ठेके की तरह चलाया, जहां पर सेटिंग करके बारी-बारी से डूसू छात्रसंघ पर कब्जा जमाए बैठे रहे.
अब यह चक्र टूटेगा: AAP
उन्होंने कहा कि अब यह चक्र टूटेगा, क्योंकि इस बार आम आदमी पार्टी का छात्र संगठन एसैप डूसू छात्र संघ चुनाव लड़ेगा. पार्टी ने कहा कि नेतृत्व उस छात्र के हाथ में होना चाहिए, जो पढ़ाई में अच्छा है, मेहनती है, ईमानदार है और अपने कॉलेज और विश्वविद्यालय को बेहतर बनाना चाहता है.
ऐसे बन सकते हैं उम्मीवार
जो भी छात्र डूसू या कॉलेज यूनियन का चुनाव लड़ना चाहता है, उसे सिर्फ तीन आसान स्टेप पूरे करने होते हैं.
- पंजीकरण फॉर्म भरना होगा, जिसकी आखिरी तारीख 25 अगस्त है.
- एक मिनट का वीडियो या ऑडियो जिसमें वह अपने मुद्दों को साफ-साफ रखे.
- 200-500 शब्दों में अपना एजेंडा बताए.
उम्मीदवारी की ये है योग्यता
कॉलेज यूनियन के लिए कम से कम 5 अलग-अलग सेक्शन से 10 छात्रों का समर्थन जुटाना होगा और डूसू के लिए 5 कॉलेजों से 50 छात्रों का, जिनके नाम, स्टूडेंट ID और मोबाइल नंबर अनिवार्य हैं. उम्मीदवार के पास पूरी कक्षा उपस्थिति होनी चाहिए, कोई बैकलॉग नहीं,( और न ही कोई अनुशासनात्मक या आपराधिक रिकॉर्ड हो.
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