मुस्ताफिजुर रहमान और अजीत तेंदुलकर... आप चौंक तो नहीं गए। चलिए हम आपको इस खास रिश्ते के बारे में बता देते हैं।
अजीत तेंदुलकर के बारे में तो आपको पता ही है, सचिन तेंदुलकर के बड़े भाई। सचिन की क्रिकेट प्रतिभा को सबसे पहले अजीत तेंदुलकर ने ही पहचाना था और सचिन को एक बेमिसाल क्रिकेटर बनाने में अजीत ने अपना पूरा जीवन लगा दिया।
ठीक उसी तरह का रोल मुस्ताफिजुर रहमान के जीवन में मोगलेशुर रहमान ने निभाया है। मोगलेशुर ने सबसे पहले अपने भाई को क्रिकेटर बनाने का फ़ैसला लिया। ये कोई चार साल पहले की बात है, लेकिन बांग्लादेश के पंचागढ़ जिले के उनके छोटे से गांव में कोई क्रिकेट क्लब ही नहीं था।
मोगलेशुर ने हिम्मत नहीं हारी और अपने घर से 40 किलोमीटर दूर सतखेड़ा जि़ले के क्लब में भाई का दाखिला करवा दिया। क्लब में अभ्यास के लिए मोगलेशुर रहमान हर दिन अपने स्कूटर पर बिठाकर मुस्ताफिजुर रहमान को वहां लाते और फिर वापस लाते। किसी आम परिवार के लिए ये बड़ी चुनौती से कम नहीं, लेकिन रहमान भाईयों का सपना अब बांग्लादेशी टीम तक पहुंचने का हो चला था।
एक साल पहले सतखेड़ा जिले में इंटर स्टेट पेसर हंट नाम का कंपीटिशन हुआ और मोगलेशुर रहमान ने अपने भाई को इस हंट में हिस्सा लेने को कहा। उसके बाद ही मुस्ताफिजुर ने बांग्लादेश में फर्स्ट क्लास क्रिकेट खेलना शुरू किया।
वनडे क्रिकेट में शानदार डेब्यू करने के बाद उन्होंने अपने भाई के योगदान पर कहा, "मेरे भाई ने मेरे लिए जो कुछ किया है, उसके लिए तो मैं उनका केवल धन्यवाद ही कर सकता हूं।"
बाएं हाथ का ये गेंदबाज़ भारत के खिलाफ मैदान में जितना आक्रामक दिखा, निजी जीवन में उतना ही कूल है। मीरपुर में 'कैप्टन कूल' कहलाने वाले महेंद्र सिंह धोनी ने अपना आपा खोते हुए उन्हें धक्का भी दिया। धोनी के रवैये की सोशल मीडिया पर आलोचना भी हो रही है, लेकिन मुस्ताफिजुर ने खुद इस मसले को तूल नहीं दिया है।
उन्होंने मैच के बाद कहा, "मैं उनकी लाइन में आ गया था। बाद में हमारी बात हो गई थी और मामला खत्म हो गया था।" लेकिन मुस्ताफिजुर ने इस धक्के का बदला मैच में पांच विकेट झटक कर ले लिया। इस प्रदर्शन के साथ ही वे बांग्लादेश के सुपर स्टार बनकर उभरे हैं। उन्होंने कहा, "भारत के खिलाफ वनडे खेलना ही मुझे रोमांचित करने वाला था और मैंने इसमें पांच विकेट भी ले लिया। इससे ज़्यादा खुशी की बात क्या होगी।"
वैसे मुस्ताफिजुर की जिस ऑफ कटर गेंदों ने भारतीय बल्लेबाज़ों को परेशान किया, उसे उन्होंने बांग्लादेश के क्रिकेटर अनामुल हक से सीखा। उन्होंने इस बारे में बताया, "अंडर-19 क्रिकेट में मैं गेंद को केवल स्विंग कराता था। एक दिन अनामुल हक भाई ने मुझे कहा तू गेंद को कट करा सकता है। मैंने कोशिश की और पहली ही गेंद पर उनका विकेट मिल गया।" मुस्ताफिजुर रहमान पाकिस्तानी तेज गेंदबाज़ मोहम्मद आमिर के भी फ़ैन हैं।
अजीत तेंदुलकर के बारे में तो आपको पता ही है, सचिन तेंदुलकर के बड़े भाई। सचिन की क्रिकेट प्रतिभा को सबसे पहले अजीत तेंदुलकर ने ही पहचाना था और सचिन को एक बेमिसाल क्रिकेटर बनाने में अजीत ने अपना पूरा जीवन लगा दिया।
ठीक उसी तरह का रोल मुस्ताफिजुर रहमान के जीवन में मोगलेशुर रहमान ने निभाया है। मोगलेशुर ने सबसे पहले अपने भाई को क्रिकेटर बनाने का फ़ैसला लिया। ये कोई चार साल पहले की बात है, लेकिन बांग्लादेश के पंचागढ़ जिले के उनके छोटे से गांव में कोई क्रिकेट क्लब ही नहीं था।
मोगलेशुर ने हिम्मत नहीं हारी और अपने घर से 40 किलोमीटर दूर सतखेड़ा जि़ले के क्लब में भाई का दाखिला करवा दिया। क्लब में अभ्यास के लिए मोगलेशुर रहमान हर दिन अपने स्कूटर पर बिठाकर मुस्ताफिजुर रहमान को वहां लाते और फिर वापस लाते। किसी आम परिवार के लिए ये बड़ी चुनौती से कम नहीं, लेकिन रहमान भाईयों का सपना अब बांग्लादेशी टीम तक पहुंचने का हो चला था।
एक साल पहले सतखेड़ा जिले में इंटर स्टेट पेसर हंट नाम का कंपीटिशन हुआ और मोगलेशुर रहमान ने अपने भाई को इस हंट में हिस्सा लेने को कहा। उसके बाद ही मुस्ताफिजुर ने बांग्लादेश में फर्स्ट क्लास क्रिकेट खेलना शुरू किया।
वनडे क्रिकेट में शानदार डेब्यू करने के बाद उन्होंने अपने भाई के योगदान पर कहा, "मेरे भाई ने मेरे लिए जो कुछ किया है, उसके लिए तो मैं उनका केवल धन्यवाद ही कर सकता हूं।"
बाएं हाथ का ये गेंदबाज़ भारत के खिलाफ मैदान में जितना आक्रामक दिखा, निजी जीवन में उतना ही कूल है। मीरपुर में 'कैप्टन कूल' कहलाने वाले महेंद्र सिंह धोनी ने अपना आपा खोते हुए उन्हें धक्का भी दिया। धोनी के रवैये की सोशल मीडिया पर आलोचना भी हो रही है, लेकिन मुस्ताफिजुर ने खुद इस मसले को तूल नहीं दिया है।
उन्होंने मैच के बाद कहा, "मैं उनकी लाइन में आ गया था। बाद में हमारी बात हो गई थी और मामला खत्म हो गया था।" लेकिन मुस्ताफिजुर ने इस धक्के का बदला मैच में पांच विकेट झटक कर ले लिया। इस प्रदर्शन के साथ ही वे बांग्लादेश के सुपर स्टार बनकर उभरे हैं। उन्होंने कहा, "भारत के खिलाफ वनडे खेलना ही मुझे रोमांचित करने वाला था और मैंने इसमें पांच विकेट भी ले लिया। इससे ज़्यादा खुशी की बात क्या होगी।"
वैसे मुस्ताफिजुर की जिस ऑफ कटर गेंदों ने भारतीय बल्लेबाज़ों को परेशान किया, उसे उन्होंने बांग्लादेश के क्रिकेटर अनामुल हक से सीखा। उन्होंने इस बारे में बताया, "अंडर-19 क्रिकेट में मैं गेंद को केवल स्विंग कराता था। एक दिन अनामुल हक भाई ने मुझे कहा तू गेंद को कट करा सकता है। मैंने कोशिश की और पहली ही गेंद पर उनका विकेट मिल गया।" मुस्ताफिजुर रहमान पाकिस्तानी तेज गेंदबाज़ मोहम्मद आमिर के भी फ़ैन हैं।
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